राज्य उपभोक्ता विवाद प्रतितोष आयोग, उ0प्र0, लखनऊ।
(सुरक्षित)
अपील संख्या :418/1996
(जिला मंच, शाहजहॉपुर द्धारा परिवाद सं0-248/1995 में पारित निर्णय/ आदेश दिनांक 05.02.1996 के विरूद्ध)
1 Unit Trust of India, 13, Sir Vithaldas Thackersey Marg, New Marine Lines, Bombay-400020.
2 Datamatics Limited, State Bank of India Building, Bank Street, Bombay-400023.
Both represented by Unit Trust of India, Regency Plaza, 5 Park Road, Lucknow-226001
........... Appellants/Opp. Parties
Versus
Veena R. Gupta, J-11, Judges Residence, D.M. Compound, Shahjahanpur (U.P.) 242001.
……..…. Respondent/Complainant.
समक्ष :-
मा0 श्री जितेन्द्र नाथ सिन्हा, पीठासीन सदस्य
मा0 श्रीमती बाल कुमारी, सदस्य
अपीलार्थी के अधिवक्ता : श्री उमेश कुमार श्रीवास्तव
प्रत्यर्थी के अधिवक्ता : कोई नहीं।
दिनांक :03.01.2017
मा0 श्री जे0एन0 सिन्हा, पीठासीन सदस्य द्वारा उदघोषित
निर्णय
परिवाद सं0-248/1995 श्रीमती वीना आर गुप्ता बनाम एस0ए0 दवे, चेयरमैन व अन्य में पारित आदेश दिनांक 05.02.1996, जिसके माध्यम से जिला मंच, शाहजहॉपुर द्वारा विपक्षीगण को आदेशित किया गया कि वह आदेश के एक माह के अन्दर परिवादिनी द्वारा प्रेषित शेयर पत्र परिवादिनी के नाम हस्तान्तरण कर दें एवं क्षतिपूर्ति के रूप में रू0 3,000.00 तथा वाद व्यय के रूप में रू0 500.00 भी परिवादिनी को अदा करें, से क्षुब्ध होकर विपक्षीगण/अपीलार्थी पक्ष की ओर से वर्तमान अपील योजित की गई है।
अपीलार्थी की ओर से विद्वान अधिवक्ता श्री उमेश कुमार श्रीवास्तव उपस्थित आये। प्रत्यर्थी की ओर से कोई उपस्थित नहीं आया। प्रत्यर्थी को अभिवचित पते पर पुन: नोटिस भेजा गया, जो बिना तामीला
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वापस आया है, पूर्व में भेजी गई नोटिस इस टिप्पणी के साथ वापस आई है कि प्रश्नगत पते पर प्रत्यर्थी उपलब्ध नहीं है, अत: प्रत्यर्थी पर नोटिस का तामीला पर्याप्त स्वीकार किया जाता है। यह अपील वर्ष-1996 से विचाराधीन है, अत: अपीलार्थी के विद्वान अधिवक्ता को सुना गया तथा पत्रावली पर उपलब्ध अभिलेखों का परिशीलन किया गया ।
परिवाद पत्र के अनुसार परिवादिनी ने 25.00 रू0 प्रति शेयर के हिसाब से 500 शेयर कुल 12500.00 में क्रय किये थे, जब शेयर ट्रान्सफर होकर प्राप्त नहीं हुये तो पंजीकृत डाक रसीद नं0-4627 दिनांकित 04.10.1993, पंजीकृत नोटिस नं0-2218 दिनांकित 22.12.1993 एवं यू.टी.आई. के चेयरमैन श्री दवे को नोटिस पंजीकृत क्रमांक नं0-1485 दिनांकित 30.01.1995 को भिजवाये एवं कानूनी नोटिस अधिवक्ता के माध्यम से दिनांक 27.01.1995 को यू.टी.आई. चैयरमैन व रजिस्ट्रार, एजेण्ट डेटामिटिक्स के पते पर भी भिजवाये एवं कोई कार्यवाही न होने पर सेवी मुम्बई को भी शिकायत की गई एवं यू.टी.आई. के ब्रांच आफिस लखनऊ को भी शिकायती पत्र दिनांक 27.4.1995 को भेजा गया। समस्त कार्यवाही किये जाने के उपरांत प्रथम बार विपक्षीगण ने अपने पत्र दिनांकित 26.4.1995 के द्वारा उत्तर दिया कि दिनांक 15.5.1995 तक कार्यवाही कर दी जायेगी, परन्तु अभी तक कोई सर्टिफिकेट वापस नहीं भिजवाये गये, जिससे परिवादिनी को काफी मानसिक व आर्थिक कष्ट हुआ एवं विपक्षीगण ने अपनी सेवाओं में घोर लापरवाही की है, अत: परिवादिनी द्वारा विपक्षीगण से शेयर सर्टिफिकेट अपने नाम से हस्तांतरण कराये जाने एवं क्षतिपूर्ति का अनुतोष दिलाये जाने हेतु जिला मंच के समक्ष परिवाद प्रस्तुत किया गया है।
विपक्षीगण की ओर से जिला मंच के समक्ष अपना लिखित कथन प्रस्तुत कर यह अभिवचित किया गया है कि उन्होंने दिनांक 12.4.1994 को हस्तांतरित शेयर प्रमाण पत्र परिवादिनी को भेजे दिये थे, जो विपक्षी को वापस प्राप्त नहीं हुए एवं विपक्षी इस प्रभाव में रहे कि परिवादिनी को शेयर प्रमाण पत्र प्राप्त हो चुके है तथा जब प्रमाण पत्र प्राप्त न होने की जानकारी हुई तो उसने दिनांक 13.4.1995 को एक पत्र के माध्यम
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से डुप्लीकेट प्रमाण पत्र निर्गत करने हेतु सूचित किया था, जो विपक्षीगण को अभी तक प्राप्त नहीं हुआ है।
उभय पक्ष के अभिवचन और अभिलेखों पर विचार करते हुए जिला मंच द्वारा उपरोक्त वर्णित आदेश पारित किया गया है, जिससे क्षुब्ध होकर विपक्षीगण/अपीलार्थी पक्ष की ओर से वर्तमान अपील योजित की गई है।
वर्तमान प्रकरण में यह पाया जाता है कि परिवादिनी प्रश्नगत शेयर की बावत प्रमाण पत्र प्राप्त करने की अधिकारिणी है और इस संदर्भ में जिला मंच द्वारा दिये गये निष्कर्ष में किसी प्रकार की त्रुटि होना नहीं पायी जाती है। जिला मंच द्वारा रू0 3,000.00 क्षतिपूर्ति हेतु जो आदेश पारित किया गया है, वह मुकदमें की सम्पूर्ण परिस्थितियों को देखते हुए विधि सम्मत नहीं पाया जाता है, अत: प्रस्तुत अपील अंशत: स्वीकार करने हुए रू0 3,000.00 क्षतिपूर्ति की बावत पारित आदेश अपास्त किये जाने योग्य है।
आदेश
प्रस्तुत अपील अंशत: स्वीकार करते हुए जिला मंच, शाहजहॉपुर द्वारा परिवाद सं0-248/1995 श्रीमती वीना आर गुप्ता बनाम एस0ए0 दवे, चेयरमैन व अन्य में पारित आदेश दिनांक 05.02.1996 में रू0 3,000.00 क्षतिपूर्ति की बावत पारित आदेश अपास्त किया जाता है तथा निर्णय/आदेश के शेष भाग की पुष्टि की जाती है।
(जे0एन0 सिन्हा) (बाल कुमारी)
पीठासीन सदस्य सदस्य
हरीश आशु.,
कोर्ट सं0-1