Uttar Pradesh

Lucknow-I

CC/255/2009

Santosh Kumari - Complainant(s)

Versus

The New India Ins. Co. Ltd. - Opp.Party(s)

31 Oct 2020

ORDER

Heading1
Heading2
 
Complaint Case No. CC/255/2009
( Date of Filing : 09 Mar 2009 )
 
1. Santosh Kumari
Lucknow
...........Complainant(s)
Versus
1. The New India Ins. Co. Ltd.
Lucknow
............Opp.Party(s)
 
BEFORE: 
  ARVIND KUMAR PRESIDENT
  SMT SNEH TRIPATHI MEMBER
  Ashok Kumar Singh MEMBER
 
PRESENT:
 
Dated : 31 Oct 2020
Final Order / Judgement

जिला उपभोक्‍ता विवाद प्रतितोष आयोग, प्रथम, लखनऊ।

            परिवाद संख्‍या-255/2009                                             उपस्थित:-श्री अरविन्‍द कुमार, अध्‍यक्ष।

          श्रीमती स्‍नेह त्रिपाठी, सदस्‍य।

                                                        श्री अशोक कुमार सिंह, सदस्‍य।                                          

परिवाद प्रस्‍तुत करने की तारीख:-09/03/2009

परिवाद के निर्णय की तारीख:-28/09/2020

श्रीमती सन्‍तोष कुमारी आयु लगभग 30 साल पत्‍नी स्‍व0 अंगदनिवासिनी-ग्राम बलसिंहखेड़ापोस्‍ट-करोराथाना-नगरामतहसील मोहनलालगंजजनपद-लखनऊ।

                                               ..............परिवादिनी।

                           बनाम

1-दि न्‍यू इंडिया इन्‍श्‍योरेंस कं0 लि0 नवल किशोर रोडलखनऊ।

2-श्रीमान् जिलाधिकारी महोदय, जनपद लखनऊ।

3-श्रीमान् तहसीलदारतहसील मोहनलालगंजजनपद लखनऊ।

                                                        ..............विपक्षीगण।                                                                                                                    

आदेश द्वारा-श्री अरविन्‍द कुमार, अध्‍यक्ष।

                           निर्णय

परिवादिनी ने प्रस्‍तुत परिवाद विपक्षी संख्‍या-01 को आदेशित किये जाने कि उ0प्र0 शासन द्वारा जारी शासनादेश के तहत वांछित बीमा धनराशि 1,00,000/-रूपये,  विपक्षीगण से वाद व्‍यय 5,000/-रूपये,  दावे की क्षतिपूर्ति राशि पर 10% ब्‍याज की दर से आदेश तिथि से भुगतान की तिथि तक दिलाये जाने की प्रार्थना के साथ प्रस्‍तुत किया है।

संक्षेप में परिवाद के कथन इस प्रकार हैं कि परिवादिनी के पति स्‍व0 अंगद पुत्र नन्‍हकू निवासी ग्राम बलसिंहखेड़ा,  पोस्‍ट-करोरा थाना-नगराम,  तहसील मोहनलालगंज, जनपद-लखनऊ विपक्षी के विधिक उपभोक्‍ता थे।

परिवादिनी के पति स्‍व0 अंगद पुत्र नन्‍हकू पेशे से किसान थे जिनकी दिनॉंक-27/07/2006 को सर्पदंश से आकस्मिक मृत्‍यु  हो गयी थी। उ0प्र0 सरकार द्वारा जारी शासनादेश के अनुसार उ0प्र0 के समस्‍त खातेदार/किसानों (जिनकी आयु 12 वर्ष से 70 वर्ष के बीच हो) का एक वर्ष यानी दिनॉंक-16/09/2005 से 15/09/2006 तक के लिये दि न्‍यू इण्डिया इंश्‍योरेंस कम्‍पनी

 

लिमिटेड विपक्षी से बीमा किया गया था।उ0प्र0 सरकार द्वारा बीमे के प्रीमियम की धनराशि एकमुश्‍त अदा कर दी गयी थी। परिवादिनी द्वारा अपने स्‍व0 पति अंगद की आकस्मिक मृत्‍यु के संबंध में समस्‍त औपचारिकताऍं पूर्ण करते हुए समयसीमा के अन्‍दर विपक्षी संख्‍या-02 व 03 के माध्‍यम से विपक्षी संख्‍या-01 को वांछित बीमा धनराशि प्राप्‍त करने हेतु आवेदन प्रेषित किया गया था। परन्‍तु विपक्षी द्वारा बीमित धनराशि का भुगतान आज तक नहीं किया गया,  जो विपक्षी द्वारा सेवा में की गयी घोर लापरवाही को प्रदर्शित करता है। परिवादिनी द्वारा बीमित धनराशि प्राप्‍त करने हेतु भेजे गये आवेदन पत्र पर बिना किसी उचित कारण के विपक्षी द्वारा बीमित धनराशि का भुगतान परिवादिनी को नहीं किया गया। विपक्षी के कार्यालय के चक्‍कर लगाने पर विपक्षी द्वारा कोई न कोई बहाना बनाकर परिवादिनी को टाला जाता रहा तथा अन्‍त में जरिए अधिवक्‍ता विपक्षी संख्‍या-02 से प्राप्‍त लिखित सूचना दिनॉंकित-24/02/2009 के माध्‍यम से परिवादिनी को पता चला कि उसका आवेदन निरस्‍त कर दिया गया है।

विपक्षी संख्‍या-01 ने अपना उत्‍तर पत्र प्रस्‍तुत करते हुए परिवाद पत्र के अधिकांश कथनों से इनकार करते हुए अतिरिक्‍त कथन किया कि परिवादिनी विपक्षी का उपभोक्‍ता नहीं है,  इस कारण परिवाद सव्‍यय निरस्‍त होने योग्‍य है। परिवादिनी का यह कथन कि उसके पति की मृत्‍यु सर्पदंश से हुई है, अत: इस कारण मामला संदिग्‍ध है,  क्‍योंकि पी0एम0आर0 आदि रिकार्ड पर नहीं है। विपक्षी को धमकाने व ब्‍लैकमेल करने की नियत से उक्‍त परिवाद लाया गया है। इस कारण परिवाद निरस्‍त होने योग्‍य है।

विपक्षी संख्‍या-02 एवं 03 के विरूद्ध वाद की कार्यवाही एकपक्षीय चल रही है।

उभयपक्ष ने अपने कथन का समर्थन शपथ पर किया है।  विपक्षी का यह कथन है कि परिवादिनी उपभोक्‍ता नहीं है। अत: वाद इस आयोग के समक्ष नहीं चल सकता है। परिवादिनी के अधिवक्‍ता का कथन है कि उत्‍तर प्रदेश सरकार ने उत्‍तर प्रदेश के सभी कृषकों का बीमा विपक्षी से कराया था और उसके लिये सभी किसानों की ओर से उत्‍तर प्रदेश सरकार ने धनराशि का भुगतान विपक्षी संख्‍या-01 को किया था। परिवादिनी लाभार्थी की श्रेणी में आती है,  क्‍योंकि वह मृतक अंगद की पत्‍नी है। अत: परिवादिनी उपभोक्‍ता की परिभाषा में आती है, और वह विपक्षी संख्‍या-01 की कानूनन उपभोक्‍ता होगी।

विपक्षी ने अपने उत्‍तर पत्र में यह कहीं भी अंकित नहीं किया है कि परिवाद पत्र समय से बाधित है,  अत: बहस के समय इस तथ्‍य को विपक्षी इंगित नहीं कर सकता है। यद्यपि रेपुडिएशन लेटर में यह तथ्‍य नहीं कहा गया है। रेपुडिएशन लेटर में दो तथ्‍य अंकित हैं,  प्रथम कि कृषक की मृत्‍यु के संबंध में कोई प्राथमिकी दर्ज नहीं करायी गयी थी और मृतक का पोस्‍टमार्टम नहीं कराया गया था। द्वितीय यह भी अंकित किया गया है कि मृतक सूची के अनुसार मृतक की आयु 70 वर्ष से अधिक है।  इन्‍हीं दोनों कारणों पर परिवादिनी का दावा नो क्‍लेम किया गया है। परिवादिनी की ओर से सूचना के अधिकार के तहत यह पूछा गया कि क्‍या परिवादिनी को बीमा राशि का भुगतान हो चुका है। इस पर उसे वर्ष 2009 में बताया गया कि बीमा कम्‍पनी ने परिवादिनी का दावा अस्‍वीकार कर दिया है, जिससे प्रतीत होता है कि परिवादी को वर्ष 2009 में इसकी जानकारी प्राप्‍त हुई कि उसका दावा बीमा कम्‍पनी द्वारा अस्‍वीकृत कर दिया गया है। परिवादिनी की ओर से खतौनी दाखिल की गयी है,  जिससे प्रतीत होता है कि मृतक अंगद एक कृषक था। ग्राम प्रधान बलसिंह खेड़ा के हस्‍ताक्षर से युक्‍त पंचनामा दाखिल किया गया है,  जिससे प्रतीत होता है कि अंगद पुत्र नन्‍हकू की मृत्‍यु दिनॉंक-27/07/2006 को सुबह करीब पॉंच बजे सॉप काटने से हो गयी। उस पर पॉच व्‍यक्तियों जिसमें ग्राम प्रधान भी शामिल हैं के हस्‍ताक्षर हैं।  परिवादिनी की ओर से परिवार रजिस्‍टर की छायाप्रति दाखिल की गयी है,  जिसमें अंगद पुत्र नन्‍हकू के जन्‍म का वर्ष 1977 अंकित है और मृत्‍यु की तिथि 27/07/2006 अंकित है। परिवार रजिस्‍टर के अनुसार अंगद की मृत्‍यु करीब 30 वर्ष की उम्र में हुई थी। ग्राम प्रधान बलसिंह खेड़ा ने भी मृत्‍यु प्रमाण पत्र निर्गत किया है, जिसमें मृत्‍यु की तिथि 27/07/2006 दाखिल किया है। अंगद की मृत्‍यु के प्रमाण पत्र के संबंध में उत्‍तर प्रदेश शासन द्वारा निर्गत प्रमाण पत्र की छायाप्रति भी अभिलेख पर है। अभिलेख से यह प्रतीत होता है कि मृतक अंगद की मृत्यु करीब 30 वर्ष की उम्र में हुई थी। विपक्षी ने मतदाता सूची की कोई छायाप्रति संलग्‍न नहीं किया है जिससे विपक्षी के कथन को बल मिलता। ऐसी परिस्थिति में विपक्षी के कथन पर विश्‍वास नहीं किया जा सकता और परिवाद आंशिक रूप से स्‍वीकार होने योग्‍य है।

                       आदेश

परिवादिनी का परिवाद आंशिक रूप से स्‍वीकार किया जाता है। विपक्षी

 

संख्‍या-01 को निर्देश दिया जाता है कि वह किसान बीमा योजना के अन्‍तर्गत बीमित धनराशि मुबलिग-1,00,000/-(एक लाख रूपया मात्र) 06% वार्षिक ब्‍याज के साथ परिवादिनी को अदा करेंगे। साथ ही साथ मुबलिग-5,000/-(पॉंच हजार रूपया मात्र) वाद व्‍यय भी अदा करेंगे। यदि आदेश का पालन 45 दिनों के अन्‍दर नहीं किया जाता है,  तब सम्‍पूर्ण राशि पर 12% वार्षिक ब्‍याज की दर से राशि का भुगतान विपक्षी संख्‍या-01 को करना होगा। 

 

 

(अशोक कुमार सिंह)     (स्‍नेह त्रिपाठी)             (अरविन्‍द कुमार)

     सदस्‍य              सदस्‍य                     अध्‍यक्ष

                            जिला उपभोक्‍ता विवाद प्रतितोष आयोग,   प्रथम,

                                                 लखनऊ।                                         

 

 

 

 

 
 
[ ARVIND KUMAR]
PRESIDENT
 
 
[ SMT SNEH TRIPATHI]
MEMBER
 
 
[ Ashok Kumar Singh]
MEMBER
 

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