जिला उपभोक्ता विवाद प्रतितोष फोरम, प्रथम, लखनऊ।
परिवाद संख्याः-652/2019
उपस्थितः-श्री अरविन्द कुमार, अध्यक्ष।
श्रीमती स्नेह त्रिपाठी, सदस्य।
परिवाद प्रस्तुत करने की तारीखः-29.05.2019
परिवाद के फैसले की तारीखः-25.01.2020
गौरव अवस्थी, निवासी-3/119, विक्रान्त खण्ड, गोमती नगर, लखनऊ, उ0प्र0।
..............परिवादिनी।
बनाम
1-स्वास्तिक बैटरी सर्विसेज, बी0ओ0 कमता, चिनहट, फैजाबाद रोड, लखनऊ।
2-एक्साइड इन्डस्ट्रीज लिमिटेड, 875, अनौरा लखनऊ, उ0प्र0।
...........विपक्षीगण।
आदेश द्वारा-श्री अरविन्द कुमार, अध्यक्ष।
निर्णय
परिवादी ने प्रस्तुत परिवाद विपक्षीगण से 11,800/-रूपये बैटरी की कीमत, मुबलिग-600/-इनर्वटर मरम्मत खर्च 18 प्रतिशत ब्याज के साथ, मानसिक एवं शारीरिक कष्ट हेतु 50,000/-रूपये, वाद व्यय के लिये 1500/-रूपये एवं अधिवक्ता फीस 1500/-रूपये दिलाये जाने की प्रार्थना के साथ प्रस्तुत किया है।
संक्षेप में परिवाद के कथन इस प्रकार हैं कि परिवादी ने एक इनवर्टर, बैटरी,आई0एम0एस0टी0 1500 मुबलिग-11,800/-में दिनाॅंक-23.09.2018 को क्रय किया, जिस पर 03 वर्ष की एक्सचेंज वारन्टी थी। उस बैटरी में लीकेज था और परिवादी ने उसी समय आपत्ति की थी, जिस पर विपक्षी संख्या-01 ने कहा कि ढुलाई के समय अक्सर पानी छलक जाता है, आगे कोई समस्या नहीं होगी। विपक्षी संख्या-01 ने बैटरी को इनवर्टर में जोड़ते समय लापरवाही की और एक तार खींच दिया, जिससे इनवर्टर में आग लग गयी, और आस-पास की चीजें चल गयी। आग को बहुत मुश्किल से बुझाया गया। परिवादी ने फोन से डीलर विपक्षी संख्या-01 को सम्पूर्ण बात बतायी। तब उन्होंने कहा कि वे इनवर्टर ठीक कराकर देंगें और विपक्षी संख्या-01 इनवर्टर अपनी दुकान पर ले गये। परिवादी जब अपना इनवर्टर लेने गया तो उससे 600/-रूपये मरम्मत चार्ज लिया गया। बैटरी बहुत जल्दी डिस्चार्ज हो रही थी, और उसका बैकअप बहुत लो था, जिसकी शिकायत विपक्षी संख्या-01 से बार-बार की गयी। परिवादी की बैटरी को विपक्षी संख्या-02 एक्साइड बैटरी सर्विस सेन्टर दिनाॅंक-14.12.2018 को चेक करने के लिये आये। जहाॅं बैटरी डिस्चार्ज पायी गयी, और विपक्षी संख्या-01 से बैटरी मॅंगाकर सर्विस सेन्टर भेजने को कहा गया। दिनाॅंक-17.12.2018 को जब परिवादी ने विपक्षी संख्या-01 को फोन किया, तब उसे बताया गया कि परिवादी स्वयं आकर बैटरी ले जाएॅं। परिवादी ने विपक्षी संख्या-01 को बैटरी लाकर इनवर्टर से जोड़ने का अनुरोध किया, परन्तु वे टाल-मटोल करते रहे। परिवादी अपनी बैटरी दुकान से मॅंगाया, परन्तु बैटरी लो बैकअप दे रही थी और जल्दी-जल्दी डिस्चार्ज हो रही थी। परिवादी ने एक विधिक नोटिस दिनाॅंक-02.03.2019 को भेजा परन्तु उसका जवाब प्राप्त नहीं हुआ। विपक्षी ने परिवादी को खराब बैटरी बेच दी और वारन्टी में होने के बावजूद बैटरी बदलने से इनकार किया, जो अनुचित व्यापार प्रकिया है। विपक्षीगण की सेवायें दोषपूर्ण हैं, जिससे परिवादी को मानसिक, शारीरिक एवं आर्थिक कष्ट हुआ।
वाद की कार्यवाही विपक्षीगण के विरूद्ध एकपक्षीय चल रही है।
परिवादी ने शपथ पर अपना साक्ष्य दाखिल किया है।
परिवादी ने बैटरी क्रय किये जाने की रसीद, इनवर्टर मरम्मत कराये जाने की रसीद, साइट इन्पेक्शन रिपोर्ट, एक्साइड कम्पनी की रिपोर्ट, एवं विधिक नोटिस की छायाप्रतियाॅं संलग्न किया है। परिवादी द्वारा दाखिल किये गये कागजातों से परिवादी के कथनों का समर्थन होता है। शपथ पर दिये गये बयान पर अविश्वास का कोई कारण नहीं है। बैटरी खरीदने की रसीद के अवलोकन से यह ज्ञात होता है कि बैटरी की कीमत 11,800/-रूपये थी, और उन्होंने पुरानी बैटरी का 3000/-रूपये डिस्काउन्ट किया है तथा 28 प्रतिशत जी0एस0टी0 लिया है, परन्तु जब उसको टोटल किया जा रहा है, तब उसमें अन्तर आ रहा है, जो अनुचित व्यापार प्रथा है। विपक्षीगण के कृत्यों से परिवादी को आर्थिक, शारीरिक एवं मानसिक कष्ट हुआ। ऐसी परिस्थिति में विपक्षीगण ने बैटरी नहीं बदलकर सेवा में कमी किया है। अतः परिवादी का परिवाद आंशिक रूप से स्वीकार होने योग्य है।
आदेश
परिवादी का परिवाद आंशिक रूप से स्वीकार किया जाता है। विपक्षी संख्या-02 को निर्देश दिया जाता है कि वह परिवादी को बैटरी की कीमत जिसे परिवादी ने क्रय किया है, मुबलिग-8,800/-(आठ हजार आठ सौ रूपया मात्र) 09 प्रतिशत ब्याज के साथ 45 दिनों में अदा करेंगें। विपक्षी संख्या-01 को निर्देश दिया जाता है कि वह परिवादी को पुरानी बैटरी की कीमत मुबलिग-3000/-(तीन हजार रूपया मात्र), इनवर्टर मरम्मत का खर्च मुबलिग-600/-(छह सौ रूपया मात्र) सही ब्रेकअप रसीद नहीं देने के कारण मुबलिग-5,000/-(पाॅंच हजार रूपया मात्र) एवं वाद व्यय के लिये मुबलिग-5,000/-(पाॅंच हजार रूपया मात्र) मय 09 प्रतिशत ब्याज के साथ जो दिनाॅंक-23.09.2018 से भुगतेय होगा 45 दिनों के अन्दर अदा करेंगें। यदि विपक्षीगण आदेश का पालन समय से नहीं करते हैं, तब ब्याज 09 प्रतिशत के स्थान पर 12 प्रतिशत भुगतेय होगा।
(स्नेह त्रिपाठी) (अरविन्द कुमार)
सदस्य अध्यक्ष
जिला उपभोक्ता विवाद प्रतितोष फोरम,
प्रथम लखनऊ।