(मौखिक)
राज्य उपभोक्ता विवाद प्रतितोष आयोग, उ0प्र0, लखनऊ।
अपील सं0 :-674/2006
(जिला उपभोक्ता आयोग प्रतापगढ़ द्वारा परिवाद सं0- 176/2003 एंव परिवाद सं0 386/2003 में पारित निर्णय/आदेश दिनांक 20/10/2003 के विरूद्ध)
- UP Power Corporation Ltd., through the Executive Engineer, Electricity Distribution Division, Pratapgarh
- Deputy General Manager, Electricity Distribution Circle II U.P.P.C.L Allahabad
- Appellants
Versus
M/S Shahi Cold Storage and Ice Factory situated at village-Sonawan, Post Madhoganj, Pargana Tehsil Sadar, District Pratapgarh.
एवं
अपील सं0 –729/2006
- UP Power Corporation Ltd., through the Executive Engineer, Electricity Distribution Division, Pratapgarh
- Deputy General Manager, Electricity Distribution Circle II U.P.P.C.L Allahabad
- Appellants
Versus
M/S Shahi Cold Storage and Ice Factory situated at village-Sonawan, Post Madhoganj, Pargana Tehsil Sadar, District Pratapgarh.
समक्ष
- मा0 श्री सुशील कुमार, सदस्य
- मा0 श्री विकास सक्सेना, सदस्य
उपस्थिति:
अपीलार्थीगण की ओर से विद्वान अधिवक्ता:-श्री दीपक मेहरोत्रा
प्रत्यर्थी की ओर से विद्वान अधिवक्ता:- कोई नहीं
दिनांक:-18.10.2022
माननीय श्री विकास सक्सेना, सदस्य द्वारा उदघोषित
निर्णय
- जिला उपभोक्ता आयोग प्रतापगढ़ द्वारा परिवाद सं0- 176/2003 एंव परिवाद सं0 386/2003 मे0 शाही कोल्ड स्टोरेज बनाम उ0प्र0 पावर कारपोरेशन में जिला उपभोक्ता मंच ने एकीकृत निर्णय पारित किया है तथा अपीलकर्ता/विपक्षी को आदेशित किया है कि परिवादी को शहरी फीडर से विद्युत की आपूर्ति की जाये तथा परिवादी द्वारा जमा की गयी इस्टीमेट राशि अंकन 6,30,851/-रू0 पर 10 प्रतिशत के ब्याज की अदायगी की जाये। विद्युत शुल्क राशि जो अधिक वसूली गयी है, उसका समायोजन अगले बिलों में किया जाये और व्यावसायिक हानि के लिए बतौर क्षतिपूर्ति 50,000/- रू0 अदा किया जाये।
- अपीलार्थी के विद्धान अधिवक्ता का यह तर्क है कि स्वयं प्रत्यर्थी/परिवादी ने स्वीकार किया है कि व्यापारिक उद्देश्य यानि की कोल्ड स्टोरेज संचालित करने के लिए विद्युत प्राप्त की गयी थी, इसलिए यह विवाद उपभोक्ता विवाद नहीं है। यह पीठ अपीलार्थी के विद्धान अधिवक्ता से सहमत हैं कि प्रश्नगत विवाद उपभोक्ता विवाद नहीं है। जिला उपभोक्ता मंच ने गैर उपभोक्ता विवाद पर निर्णय व आदेश पारित किया है, जो अपास्त होने योग्य है।
-
- सं0-674/2006 एवं अपील सं0-729/2006 स्वीकार की जाती है। जिला उपभोक्ता मंच द्वारा पारित निर्णय एवं आदेश अपास्त किया जाता है।
उभय पक्ष अपीलों में वाद-व्यय स्वयं वहन करेंगे।
इस निर्णय की प्रमाणित प्रति अपील सं0 729/2006 में रखी जाये।
आशुलिपिक से अपेक्षा की जाती है कि वह इस निर्णय/आदेश को आयोग की वेबसाइट पर नियमानुसार यथाशीघ्र अपलोड कर दें।
(विकास सक्सेना)(सुशील कुमार)
सदस्य सदस्य
संदीप आशु0 कोर्ट 3