Uttar Pradesh

Faizabad

CC/22/2008

Sant Baksh Verma - Complainant(s)

Versus

SHAKTI COLD STOAGE - Opp.Party(s)

15 Mar 2016

ORDER

DISTRICT CONSUMER DISPUTES REDRESSAL FORUM
Judgement of Faizabad
 
Complaint Case No. CC/22/2008
 
1. Sant Baksh Verma
Faizabad
...........Complainant(s)
Versus
1. SHAKTI COLD STOAGE
FAIZABAD
............Opp.Party(s)
 
BEFORE: 
 HON'BLE MR. JUSTICE MR. CHANDRA PAAL PRESIDENT
 HON'BLE MRS. MAYA DEVI SHAKYA MEMBER
 HON'BLE MR. VISHNU UPADHYAY MEMBER
 
For the Complainant:
For the Opp. Party:
ORDER

जिला उपभोक्ता विवाद प्रतितोष फोरम फैजाबाद । 
    


    
़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़                    ़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़उपस्थितिः-(1) श्री चन्द्र पाल, अध्यक्ष

                            (2) श्रीमती माया देवी शाक्य, सदस्या
                            (3) श्री विष्णु उपाध्याय, सदस्य


               परिवाद सं0-22/2008

सन्त बक्स वर्मा पुत्र श्री रामतीरथ वर्मा निवासी ग्राम मिर्जापुर पोस्ट इटौरा परगना हवेली अवध तहसील सदर जिला फैजाबाद                ................ परिवादी

                    बनाम

1-    प्रबंधक शक्ति कोल्ड स्टोरेज एण्ड आइस फैक्ट्री नाका मुजफ्फरा परगना हवेली अवध तहसील सदर जिला फैजाबाद।
2-    प्रोप्राइटर श्री सप्तऋषि कैपसेक प्राइवेट लिमिटेड नाका मुजफ्फरा फैजाबाद परगना हवेली अवध तहसील सदर जिला फैजाबाद                .............. विपक्षीगण

निर्णय दि0 15.03.2016
                  

      निर्णय

उद्घोषित द्वारा-श्री चन्द्र पाल, अध्यक्ष

        परिवादी ने यह परिवाद विपक्षीगण के विरूद्ध मु0 92,270=00 क्षतिपूर्ति दिलाये जाने हेतु योजित किया है। 

        संक्षेप में परिवादी का परिवाद इस प्रकार है कि परिवादी के पास कृषि योग्य भूमि  है  जिसमें परिवादी गन्ना, गेहॅं, धान, आलू आदि की फसल की बुवाई करके व 

 

 

                        (  2  )

अपने परिवार के साथ मेहनत करके उसी से अपने परिवार का पालन पोषण व जीविकोपार्जन करता है एवं उसी में से बचाकर बिक्रय करके खाद आदि की भी व्यवस्था करता है। परिवादी ने अपनी आलू बीज हेतु सुरक्षित रखने के लिए दि0 17.03.2007 को 30 पैकेट ट्रैक्टर ट्राली द्वारा लाकर शक्ति कोल्ड स्टोरेज एण्ड आइस फैक्ट्री नाका मुजफ्फरा फैजाबाद में संविदा अनुसार निर्धारित किराये पर जमा किया और उक्त आलू बीज की निकासी की अंतिम तिथि 30.11.2007 तक कोल्ड स्टोर प्रबंधक द्वारा बताई गई एवं उक्त आलू बीज हेतु जमा करने की रसीद परिवादी ने प्राप्त किया। परिवादी अपनी आलू की निकासी हेतु माह अक्टूबर 2007 में कोल्ड स्टोर जाकर वहाॅं के कर्मचारियों/प्रबंधक से सम्पर्क किया व आलू के निकासी की बात की तब परिवादी से लाट पीछे होने की वजह बताकर निकासी हेतु माह नवम्बर में आने के लिए कहा गया। परिवादी पुनः 14.11.2007 को कोल्ड स्टोर गया लेकिन परिवादी को आलू बीज उस दिन भी नहीं मिल सका। तब से परिवादी कई बार माह नवम्बर व दिसम्बर में गया और आज कल करते हुए परिवादी को अंत में न आलू एवं न उसकी क्षतिपूर्ति देने को तैयार है। आलू को जमा करने में लगा खर्च कुल 30 बोरा प्रति बोरा 52 किलो यानि 15 कुन्तल 60 किलो आलू जिसका मूल्य मु0 15,600=00, 30 बोरा का मूल्य 450=00, ट्रैक्टर ट्राली भाड़ा मु0 600=00 एवं पल्लेदारी मु0 120=00, मजदूरी एवं अन्य खर्च मु0 500=00 व उससे होने वाली क्षति लगभग मु0 75,000=00 कुल मु0 92,270=00 की क्षतिपूर्ति की माॅंग किया है। 

        विपक्षी ने अपने जवाब में कहा कि प्रबन्धक शक्ति कोल्ड स्टोरेज जुरिस्टिक व्यक्ति नहीं है इसलिए इसके विरूद्ध प्रस्तुत परिवाद चलने योग्य नहीं है। परिवादी ने उक्त धारा में वर्णित शक्ति कोल्ड स्टोरेज में दि0 17.03.2007 को 30 बोरी आलू भण्डारण हेतु जमा किया था। उक्त आलू का भण्डारण इस शर्त के साथ किया गया था कि आलू की निकासी दि0 30.11.2007 तक अवश्य करा ले। परिवादी की जो भी कथित क्षति हुई है, जिससे की इन्कार है वह उसके अपने कृत्यों एवं निष्कृयता के कारण हुई है। उत्तरदाता या कम्पनी किसी भी प्रकार की क्षतिपूर्ति अदा करने के जिम्मेदार नहीं है। परिवाद की सुनवाई का क्षेत्राधिकार उ0प्र0 रेगुलेशन आफ कोल्ड स्टोरेज एक्ट के प्राविधानों में निर्धारित व्यक्ति/अधिकारी विशेष को ही प्राप्त है। इस फोरम को सुनने का क्षेत्राधिकार नहीं है। 

 

 

 

                        (  3  )


         मैं परिवादी तथा विपक्षी के लिखित बहस का अवलोकन किया और पत्रावली में उपलब्ध साक्ष्य का अवलोकन किया। परिवादी के विद्वान अधिवक्ता ने तर्क प्रेषित किया कि परिवादी का परिवाद उ0प्र0 रेगुलेशन आफ कोल्ड स्टोरेज 1976 की धारा-25 से बाधित है। इस न्यायालय को इस परिवाद को सुनने का क्षेत्राधिकार नहीं है। कोल्ड स्टोरेज से सम्बन्धित है। कोल्ड स्टोरेज का लाइसेंसी अथाॅरिटी उद्यान अधिकारी होते हैं। उद्यान अधिकारी ही इस परिवाद को सुन सकता है। परिवादी के विद्वान अधिवक्ता ने तर्क प्रेषित किया कि उपभोक्ता संरक्षण अधिनियम 1986 की धारा-3 के तहत उपभोक्ता संरक्षण अधिनियम का अल्पीकरण नहीं किया जा सकता है। कोल्ड स्टोर सेवा प्रदाता की श्रेणी में आता है। परिवादी उपभोक्ता की श्रेणी में आता है। इस परिवाद को सुनने का क्षेत्राधिकार प्राप्त है। परिवादी ने विपक्षी के यहाॅं 30 पैकेट आलू के जिसमें एक पैकेट का वजन 52 किलो यानि कुल 15 कुन्टल 60 किलो आलू जिसका मूल्य मु0 15,600=00 होता है। 30 बोरा(पैकेट) की कीमत मु0 450=00 होती है। ट्रैक्टर ट्राली भाड़ा मु0 600=00, पल्लेदारी मु0 120=00 व मजदूरी एवं अन्य खर्च मु0 500=00 तथा उससे होने वाली क्षति लगभग मु0 75,000=00 कुल मु0 92,270=00 की माॅंग किया है। इस परिवाद को इस न्यायालय को सुनने का क्षेत्राधिकार धारा-3 उपभोक्ता संरक्षण अधिनियम 1986 के तहत परिवादी उपभोक्ता है, विपक्षी सेवा प्रदाता है। माननीय नेशनल कमीशन ने जवाहर कोल्ड स्टोरेज एण्ड आइस फैक्ट्री बनाम प्रमोद कुमार प्प् (2007) सी0पी0जे0 40 (एन.सी.) में यह सिद्धान्त प्रतिपादित किया है कि उपभोक्ता संरक्षण अधिनियम 1986 की धारा-14 (1) (डी) तथा धारा-2 (1) (जी) धारा-21 (बी) उ0प्र0 रेगुलेशन आफ कोल्ड स्टोरेज एक्ट की धारा-25 कोल्ड स्टोरेज में रखे गये आलू के निकासी के सम्बन्ध में कोल्ड स्टोरेज के द्वारा की गयी अपील को निरस्त किया। इसी प्रकार सम्माननीय नेशनल कमीशन ने कानवाल कोल्ड स्टोरेज बनाम विजय कुमार प्प्प् (2006) सी0पी0जे0 23 (एन.सी.) में भी कोल्ड स्टोरेज के दीवाल गिरने से आलू क्षतिग्रस्त हो गया था। इसमें क्षतिपूर्ति दिलायी गयी है। इस प्रकार विपक्षी के विद्वान अधिवक्ता का यह तर्क कि इस परिवाद को सुनने का क्षेत्राधिकार नहीं है अस्वीकृत किया जाता है।

 

 


                        (  4  )

        परिवादी ने विपक्षी कोल्ड स्टोरेज में 30 पैकेट आलू के बोरे रखे थे, जिनका कुल वजन 15 कुन्टल 60 किलो था। 30 पैकेट आलू का मूल्य मु0 15,600=00 है। 30 पैकेट (बोरा) का कीमत मु0 450=00 तथा ट्रैक्टर ट्राली भाड़ा मु0 600=00, पल्लेदारी मु0 120=00, मजदूरी एवं अन्य खर्च मु0 500=00 उस समय का था। इस प्रकार परिवादी ने कुल मु0 17,270=00 मय भाड़ा व खर्चा सहित माल रखा। परिवादी विपक्षीगण से मु0 17,270=00 प्राप्त करने का अधिकारी है। इस प्रकार परिवादी का परिवाद विपक्षीगण के विरूद्ध अंशतः स्वीकार तथा अंशतः खारिज किये जाने योग्य है।

    आदेश
            
    परिवादी का परिवाद विपक्षीगण के विरूद्ध अंशतः स्वीकार तथा अंशतः खारिज किया जाता है। विपक्षीगण को आदेशित किया जाता है कि परिवादी को मु0 17,270=00 निर्णय एवं आदेश की तिथि से एक माह के अन्दर अदा करंे। यदि उक्त दिये गये समय के अन्दर विपक्षीगण परिवादी को उक्त धनराशि नहीं अदा करता है तो परिवाद योजित करने की तिथि से 12 प्रतिशत सालाना साधारण ब्याज तारोज वसूली अदा करेगा। इसके अतिरिक्त परिवादी विपक्षीगण से मु0 3,000=00 वाद व्यय एवं मु0 5,000=00 मानसिक क्षतिपूर्ति भी पाने का अधिकारी है। 
        

   (विष्णु उपाध्याय)         (माया देवी शाक्य)              (चन्द्र पाल)              
            सदस्य                  सदस्या                     अध्यक्ष     

निर्णय एवं आदेश आज दिनांक 15.03.2016 को खुले न्यायालय में हस्ताक्षरित एवं   उद्घोषित किया  गया।
    
        (विष्णु उपाध्याय)         (माया देवी शाक्य)              (चन्द्र पाल)           
      सदस्य                   सदस्या                    अध्यक्ष    

 

 
 
[HON'BLE MR. JUSTICE MR. CHANDRA PAAL]
PRESIDENT
 
[HON'BLE MRS. MAYA DEVI SHAKYA]
MEMBER
 
[HON'BLE MR. VISHNU UPADHYAY]
MEMBER

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