राज्य उपभोक्ता विवाद प्रतितोष आयोग, उ0प्र0, लखनऊ।
(मौखिक)
अपील संख्या:-1198/2019
श्याम कुंवर यादव पुत्र श्री हरिना यादव, निवासी धनियाकुण्डी पोस्ट भुइधरपुर, थाना तहवरपुर, जिला आजमगढ़ (उ0प्र0)
........... अपीलार्थी/परिवादी
बनाम
1- शाखा प्रबन्धक, इंडसइंड बैंक लिमिटेड, शाखा सिविल लाइन जनपद आजमगढ़ (उ0प्र0) 276001
2- इन्दर पाल सिंह, प्रोपराइटर अंगत मोटर्स, पता- मोती नगर, नई दिल्ली।
…….. प्रत्यर्थी/विपक्षीगण
समक्ष :-
मा0 न्यायमूर्ति श्री अशोक कुमार, अध्यक्ष
मा0 श्री विकास सक्सेना, सदस्य
अपीलार्थी के अधिवक्ता : श्री पारस नाथ तिवारी
प्रत्यर्थी सं0-1 के अधिवक्ता : कोई नहीं।
प्रत्यर्थी सं0-2 के अधिवक्ता : श्री सतीश चन्द्र श्रीवास्तव
दिनांक :- 23.5.2023
मा0 न्यायमूर्ति श्री अशोक कुमार, अध्यक्ष द्वारा उदघोषित
निर्णय
प्रस्तुत अपील इस न्यायालय के सम्मुख जिला उपभोक्ता आयोग द्वारा प्रर्कीण वाद सं0-30/2019 में पारित निम्न आदेश दिनांक 06.8.2019 के विरूद्ध योजित की गई है।
''पेश हुआ।
सुना।
परिवादी के विद्वान अधिवक्ता उपस्थित। परिवादी के विद्वान अधिवक्ता को ग्राह्यता के बिन्दु पर सुना। यह प्रर्कीण वाद ग्रहण योग्य नहीं इसे सुने जाने का अधिकार इस फोरम को प्राप्त नहीं है। यह परिवाद/प्रर्कीण वाद ग्राह्य न होने एवं क्षेत्राधिकार के अभाव में खारिज किया जाता है।
पत्रावली दाखिल दफ्तर हो।''
जिला उपभोक्ता आयोग के उपरोक्त आदेश में जिला उपभोक्ता आयोग द्वारा यह तथ्य उल्लिखित नहीं किया गया है कि किस कारण
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से प्रर्कीण वाद ग्राह्य योग्य नहीं है, स्पष्टीकरण एवं तथ्यों को उल्लिखित न किया जाना द्वारा जिला उपभोक्ता आयोग का उल्लेख अपीलार्थी के अधिवक्ता द्वारा हमारे सम्मुख किया गया, जो प्रथम दृष्टया सही पाया जाता है। तद्नुसार गुणदोष पर किसी प्रकार का कोई मत उल्लिखित न करते हुए प्रस्तुत अपील अंतिम रूप से स्वीकृत की जाती है तथा जिला उपभोक्ता आयोग द्वारा प्रर्कीण वाद सं0-30/2019 में पारित आदेश दिनांक 06.8.2019 को अपास्त किया जाता है तथा प्रकरण सम्बन्धित जिला उपभोक्ता आयोग को इस आग्रह के साथ प्रतिप्रेषित किया जाता है कि उपरोक्त प्रर्कीण वाद सं0-30/2019 को पुनर्विचारित करते हुए स्पष्ट रूप से ग्राह्यता के बिन्दु पर यथासम्भव इस आदेश के प्रस्तुतीकरण के 02 माह की अवधि में उपरोक्त निर्णय/आदेश पारित किया जाना सुनिश्चित करें।
प्रस्तुत अपील में अपीलार्थी द्वारा यदि कोई धनराशि जमा की गयी हो तो उक्त जमा धनराशि को मय अर्जित ब्याज सहित अपीलार्थी को यथाशीघ्र विधि के अनुसार वापस की जावे।
आशुलिपिक/वैयक्तिक सहायक से अपेक्षा की जाती है कि वह इस निर्णय/आदेश को आयोग की वेबसाइट पर नियमानुसार यथाशीघ्र अपलोड कर दें।
(न्यायमूर्ति अशोक कुमार) (विकास सक्सेना)
अध्यक्ष सदस्य
हरीश सिंह
वैयक्तिक सहायक ग्रेड-2.,
कोर्ट नं0-1