Uttar Pradesh

StateCommission

R/2014/44

Canara Bank - Complainant(s)

Versus

Shabbir Khan - Opp.Party(s)

Vinay Shankar

01 Jul 2015

ORDER

STATE CONSUMER DISPUTES REDRESSAL COMMISSION, UP
C-1 Vikrant Khand 1 (Near Shaheed Path), Gomti Nagar Lucknow-226010
 
Revision Petition No. R/2014/44
(Arisen out of Order Dated in Case No. of District State Commission)
 
1. Canara Bank
a
...........Appellant(s)
Versus
1. Shabbir Khan
a
...........Respondent(s)
 
BEFORE: 
 HON'BLE MR. Chandra Bhal Srivastava PRESIDING MEMBER
 HON'BLE MR. Sanjay Kumar MEMBER
 
For the Petitioner:
For the Respondent:
ORDER

सुरक्षित

राज्‍य उपभोक्‍ता विवाद प्रतितोष आयोग, उ0प्र0 लखनऊ

 

 

(जिला उपभोक्‍ता विवाद प्रतितोष फोरम, प्रथम, बरेली  द्वारा परिवाद संख्‍या 47/13 में पारित प्रश्‍नगत निर्णय एवं  आदेश दिनांक 22.02.2 014 के विरूद्ध)

 

पुनरीक्षण संख्‍या 44 सन 2014

 

केनरा बैंक, शाखा चौकी चौराहा जिला बरेली (उ0प्र0) द्वारा सीनियर मैनेजर

      .............पुनरीक्षणकर्ता

बनाम

 

शब्‍बीर खान पुत्र श्री दौलत खान निवासी कंजादासपुर डाक व थाना इज्‍जतनगर, जिला बरेली।                    .................प्रत्‍यर्थी

 

समक्ष:-

1    मा0   श्री चन्‍द्र भाल श्रीवास्‍तव,  पीठासीन  सदस्‍य।

2    मा0  श्री संजय कुमार , सदस्‍य।

 

पुनरीक्षणकर्ता की ओर से विद्वान अधिवक्‍ता  :  श्री निखिल श्रीवास्‍तव।

प्रत्‍यर्थी की ओर से विद्वान अधिवक्‍ता      : श्री सौरभ यादव।     

 

दिनांक:  10-07-15

    

श्री चन्‍द्रभाल श्रीवास्‍तव, सदस्‍य (न्‍यायिक) द्वारा उदघोषित ।

निर्णय

      प्रस्‍तुत पुनरीक्षण जिला उपभोक्‍ता विवाद प्रतितोष फोरम, प्रथम, बरेली  द्वारा परिवाद संख्‍या 47/13 में पारित प्रश्‍नगत निर्णय एव आदेश दिनांक 22.02.2014 के विरूद्ध प्रस्‍तुत किया गया है जिसके द्वारा जिला फोरम ने यह अवधारित किया है कि परिवाद उपभोक्‍ता  फोरम में पोषणीय है।

संक्षेप में, प्रकरण के आवश्‍यक तथ्‍य इस प्रकार हैं कि परिवादी ने एक सम्‍पत्ति केनरा बैंक से नीलामी में खरीदी। उक्‍त नीलामी बैंक द्वारा सरफेसी एक्‍ट के अन्‍तर्गत की गयी थी । परिवादी ने 07,64,000.00 रू0 बैंक में जमा कर दिए गए किन्‍तु बैंक द्वारा प्रश्‍नगत मकान पर कब्‍जा नहीं दिलाया गया।

 

हमने अपीलार्थी के विद्वान अधिवक्‍ता की बहस सुन ली है एवं प्रत्‍यर्थी द्वारा दाखिल आपत्ति का भी अनुशीलन कर लिया है।

अभिलेख के अनुशीलन से यह स्‍पष्‍ट है कि पक्षकारों के बीच यह एक स्‍वीकृत अभिकथन है कि प्रश्‍नगत सम्‍पत्ति सरफेसी एक्‍ट के अन्‍तर्गत बैंक द्वारा नीलाम की गयी है और उक्‍त सम्‍पत्ति परिवादी द्वारा 07,64,000.00 रू0 में क्रय की गयी थी। पुनरीक्षणकर्ता के विद्वान अधिवक्‍ता ने यह तर्क किया है कि चूंकि परिवादी ने विवादित सम्‍पत्ति नीलामी में खरीदी थी, अत: परिवादी बैंक का उपभोक्‍ता नहीं है और न ही बैंक किसी भी प्रकार से सेवा प्रादाता है।

विद्वान अधिवक्‍ता ने अपने तर्क के समर्थन में 2009(4) एससीसी पेज 660 यू0टी0 चण्‍डीगढ एडमिनिस्‍ट्रेशन बनाम अमरजीन सिंह में प्रतिपारित विधि व्‍यवस्‍था का भी आश्रय लिया है जिसमें नीलामी के क्रेता को उपभोक्‍ता नहीं माना गया है। यदि कोई सम्‍पत्ति नीलामी में खरीदी गयी है तो विवादित सम्‍पत्ति का कब्‍जा एवं बैनामा के संबंध में वाद सिविल न्‍यायालय में ही परीक्षणीय है। उपभोक्‍ता न्‍यायालय को ऐसे प्रकरण में कोई क्षेत्राधिकार प्राप्‍त नहीं है।

      उपर्युक्‍त विवेचन के आधार पर हम इस निष्‍कर्ष पर पहुंचते हैं कि जिला फोरम द्वारा यह माना जाना कि परिवाद उपभोक्‍ता फोरम के समक्ष पोषणीय है, विधि संगत नहीं है।

परिणामत:, यह पुनरीक्षण स्‍वीकार किए जाने योग्‍य है।

     

आदेश

 

            प्रस्‍तुत पुनरीक्षण स्‍वीकार करते हुए जिला उपभोक्‍ता विवाद प्रतितोष फोरम, प्रथम, बरेली  द्वारा पारित प्रश्‍नगत निर्णय एवं  आदेश दिनांक 22.02.2 014  खण्डित करते हुए संबंधित परिवाद भी निरस्‍त किया जाता है।

उभय पक्ष इस पुनरीक्षण  का अपना-अपना व्‍यय स्‍वयं वहन करेंगे।

      इस निर्णय की प्रमाणित प्रतिलिपि पक्षकारों को नियमानुसार नि:शुल्‍क उपलब्‍ध करा दी जाए।

 

 

                                                                                                                                                                                                                                                                                                   

(चन्‍द्र भाल श्रीवास्‍तव)                           (संजय कुमार)

पीठा0 सदस्‍य (न्‍यायिक)                                                     सदस्‍य

      कोर्ट-2

(S.K.Srivastav,PA)

 

 

 
 
[HON'BLE MR. Chandra Bhal Srivastava]
PRESIDING MEMBER
 
[HON'BLE MR. Sanjay Kumar]
MEMBER

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