Uttar Pradesh

StateCommission

A/2012/310

Maa Laxmi Ice and Cold Storage - Complainant(s)

Versus

Ram Khiladi - Opp.Party(s)

R K Gupta

09 Oct 2024

ORDER

STATE CONSUMER DISPUTES REDRESSAL COMMISSION, UP
C-1 Vikrant Khand 1 (Near Shaheed Path), Gomti Nagar Lucknow-226010
 
First Appeal No. A/2012/310
( Date of Filing : 16 Feb 2012 )
(Arisen out of Order Dated in Case No. of District State Commission)
 
1. Maa Laxmi Ice and Cold Storage
a
...........Appellant(s)
Versus
1. Ram Khiladi
a
...........Respondent(s)
 
BEFORE: 
 HON'BLE MR. SUSHIL KUMAR PRESIDING MEMBER
 HON'BLE MRS. SUDHA UPADHYAY MEMBER
 
PRESENT:
 
Dated : 09 Oct 2024
Final Order / Judgement

(मौखिक)

राज्‍य उपभोक्‍ता विवाद प्रतितोष आयोग, उ0प्र0, लखनऊ

अपील संख्‍या-310/2012

मैसर्स मॉं लक्ष्‍मी आइस एण्‍ड कोल्‍ड स्‍टोरेज बनाम राम खिलाड़ी पुत्र श्री मंगी लाल

समक्ष:-                                                   

1. माननीय श्री सुशील कुमार, सदस्‍य।

2. माननीय श्रीमती सुधा उपाध्‍याय, सदस्‍य।

दिनांक:  09.10.2024 

माननीय श्री सुशील कुमार, सदस्‍य द्वारा उदघोषित

निर्णय

1.       परिवाद संख्‍या-19/2011, राम खिलाड़ी बनाम मॉं लक्ष्‍मी आइस एण्‍ड कोल्‍ड स्‍टोरेज में विद्वान जिला आयोग, अलीगढ़ द्वारा पारित निर्णय/आदेश दिनांक 19.11.2012 के विरूद्ध प्रस्‍तुत की गई अपील पर अपीलार्थी के विद्वान अधिवक्‍ता श्री आर.के. गुप्‍ता तथा प्रत्‍यर्थी के विद्वान अधिवक्‍ता श्री सुशील कुमार शर्मा एवं उनके कनिष्‍ठ अधिवक्‍ता श्री नन्‍द कुमार को सुना गया तथा प्रश्‍नगत निर्णय/पत्रावली का अवलोकन किया गया।

2.    विद्वान जिला आयोग ने 351 बोरी आलू की कीमत 6 प्रतिशत ब्‍याज के साथ अदा करने का आदेश पारित किया है साथ ही अंकन 2,000/-रू0 परिवाद व्‍यय भी अदा करने के लिए आदेशित किया है।

3.    विपक्षी/अपीलार्थी को यह स्‍वीकार है कि परिवादी द्वारा आलू रखा गया था, परन्‍तु यह कथन किया गया कि उनके द्वारा दिनांक 15.10.2010 एवं दिनांक 17.11.2010 को दो पत्र लिखे गए तथा आलू उठाने का अनुरोध किया गया, परन्‍तु आलू नहीं उठाए गए, इसलिए सीजन समाप्‍त होने के कारण आलू बाहर फेंक दिया गया। अत: उनके स्‍तर से सेवा में कोई कमी नहीं की गई है। अपीलार्थी के विद्वान अधिवक्‍ता का यह तर्क विधिसम्‍ममत नहीं है। यदि परिवादी द्वारा आलू नहीं उठाया गया तब इस आलू को विक्रय कर आलू की कीमत सुरक्षित रखने का दायित्‍व अपीलार्थी शीतगृह पर बनता था, इसलिए यह तथ्‍य स्‍थापित है कि प्रश्‍नगत आलू परिवादी को प्राप्‍त नहीं हुए। अत: इस आलू की कीमत अदा करने का आदेश विधिसम्‍मत है, परन्‍तु चूंकि विद्वान जिला आयोग ने 351 बोरी के अनुसार भुगतान करने का आदेश दिया है, परन्‍तु यह भुगतान प्रति कुण्‍टल की दर से किया जाना चाहिए था, क्‍योंकि 351 बारी का आंकलन कुण्‍टल में नहीं किया जा सकता। इस प्रकार तत्‍समय प्रचलित बाजार भाव, जिसके अनुसार भुगतान किया जाना है, भी सुनिश्चित किया जाना चाहिए।            इस  पीठ  के समक्ष सुनवाई के दौरान कृषि उत्‍पादन समिति, खैर (जनपद

 

-2-

अलीगढ़) के सचिव द्वारा दिनांक 20.10.2010 से दिनांक 10.11.2010 तक आलू के भाव का विवरण प्रस्‍तुत किया है, जिसके अनुसार मोटे आलू की कीमत अंकन 450/-रू0 प्रति कुण्‍टल थी। अत: इस दर के अनुसार भुगतान किया जाना विधिसम्‍मत है। तदनुसार विद्वान जिला आयोग द्वारा पारित निर्णय/आदेश परिवर्तित होने योग्‍य है।

4.    अपीलार्थी के विद्वान अधिवक्‍ता का यह तर्क है कि अपीलार्थी शीतगृह में आलू रखने का भाड़ा बकाया है और बकाए भाड़े का विवरण उनके द्वारा प्रस्‍तुत किया गया है, जो पत्रावली पर दस्‍तावेज सं0-32 पर उपलब्‍ध है, परन्‍तु जो नोटिस परिवादी को दिए गए हैं, जो पत्रावली पर दस्‍तावेज सं0-30 एवं 31 पर मौजूद है, उसमें किसी प्रकार का बकाया होने का कोई उल्‍लेख नहीं है। ये दोनों नोटिस परिवाद एवं लिखित कथन प्रस्‍तुत करने से पूर्व विपक्षी द्वारा प्रेषित किए गए हैं। चूंकि उपरोक्‍त नोटिसों में परिवादी पर बकाया राशि का कोई उल्‍लेख नहीं है। अत: इस मद में किसी प्रकार का आदेश पारित किया जाना संभव नहीं है। चूंकि आलू नष्‍ट हो चुके हैं। अत: न्‍यूनतम 50 किलो आलू प्रत्‍येक बोरी में माना जाएगा तथा प्रति कुण्‍टल आलू की कीमत अंकन 450/-रू0 की दर से कीमत अदा की जाएगी। तदनुसार प्रस्‍तुत अपील आंशिक रूप से स्‍वीकार होने और प्रश्‍नगत निर्णय/आदेश परिवर्तित होने योग्‍य है।

आदेश

5.    प्रस्‍तुत अपील आंशिक रूप से स्‍वीकार की जाती है। विद्वान जिला आयोग द्वारा पारित निर्णय/आदेश दिनांक 19.11.2012 इस प्रकार परिवर्तित किया जाता है कि अंकन 450/-रू0 प्रति कुण्‍टल की दर से आलू की कीमत अदा की जाएगी। शेष निर्णय/आदेश पुष्‍ट किया जाता है।

प्रस्‍तुत अपील में अपीलार्थी द्वारा यदि कोई धनराशि जमा की गई हो तो उक्‍त जमा धनराशि अर्जित ब्‍याज सहित संबंधित जिला आयोग को यथाशीघ्र विधि के अनुसार निस्‍तारण हेतु प्रेषित की जाए।

     आशुलिपिक से अपेक्षा की जाती है कि वह इस निर्णय/आदेश को आयोग की वेबसाइट पर नियमानुसार यथाशीघ्र अपलोड कर दे।

 

(सुधा उपाध्‍याय)                        (सुशील कुमार)

  सदस्‍य                                 सदस्‍य

लक्ष्‍मन, आशु0, कोर्ट-2

 

 
 
[HON'BLE MR. SUSHIL KUMAR]
PRESIDING MEMBER
 
 
[HON'BLE MRS. SUDHA UPADHYAY]
MEMBER
 

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