जिला उपभोक्ता विवाद प्रतितोष फोरम फैजाबाद ।
़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़ ़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़़उपस्थितिः-(1) श्री चन्द्र पाल अध्यक्ष
(2) श्रीमती माया देवी शाक्य, सदस्या
(3) श्री विष्णु उपाध्याय, सदस्य
परिवाद सं0-360/2009
सुरेन्द्र कुमार वर्मा पुत्र श्री धर्म राज वर्मा निवासी ग्राम व पोस्ट अलनाभारी परगना अमसिन तहसील सदर जनपद फैजाबाद .................... परिवादी
बनाम
प्रबन्धक प्रयाग उद्योग प्राइवेट लिमिटेड लखनऊ रोड मोहल्ला सहादतगंज परगना हवेली अवध तहसील सदर जनपद फैजाबाद ................. विपक्षी
निर्णय दि0 11.02.2016
निर्णय
उद्घोषित द्वाराः-श्री चन्द्र पाल, अध्यक्ष
परिवादी ने यह परिवाद विपक्षी के विरूद्ध बैट्री का मूल्य मु0 15,000=00 तथा क्षतिपूर्ति दिलाये जाने हेतु योजित किया है।
संक्षेप में परिवादी का परिवाद इस प्रकार है कि परिवादी पेशे से कृषक व ट्रांसपोर्टर है। दि0 19.11.2008 को टाटा मोटर्स द्वारा निर्मित एल0पी0टी0 2515 टी0सी0 ट्रक वाहन विपक्षी से मु0 12,85,000=00 में खरीदा है, जिसका चेसिस संख्या-126031 एल0आर0जेड0019067 व इंजन संख्या-80202718180 है। यह मात्र
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चेसिस खरीदी गई थी और वाहन को परिपूर्ण कराने के बाद परिवादी ने उसका पंजीकरण सम्भागीय परिवहन कार्यालय फैजाबाद में कराया जो यू0पी042टी/6787 पर पंजीकृत है। परिवादी अपने वाहन का नियमित रूप से नियमानुसार सर्विस कराता रहा है परन्तु माह सितम्बर 2009 के आरम्भ में परिवादी के वाहन की बैट्री खराब हो गई जिसके सम्बन्ध में परिवादी ने दि0 16.9.2009 को विपक्षी के पास गारण्टी अवधि में बैट्री खराब होने का क्लेम किया परन्तु दि0 24.10.2009 को विपक्षी द्वारा परिवादी का क्लेम निरस्त करते हुए बैट्री को बदलने से इन्कार कर दिया। वाहन की बैट्री खराब होने के कारण परिवादी का प्रतिदिन की दर से करीब मु0 2,000=00 की क्षति हो रही है और इस प्रकार दि0 08.11.2009 तक परिवादी की मु0 1,04,000=00 की क्षति उसके ट्रक वाहन के खड़े रहने के कारण हो चुकी है। तब उसने मजबूर होकर एक नयी बैट्री अन्य स्थान से खरीद कर अपने वाहन में लगाया है।
विपक्षी ने अपने जवाब में कहा कि विपक्षी द्वारा लगाई बैट्री दिया गया पूर्णतया गलत है क्योंकि जो बैट्री चेचिस के साथ लगकर आती है उसे टाटा मोटर्स लि0 द्वारा वाहन के साथ लगाकर भेजा जाता है और उक्त बैट्री की वारण्टी बैट्री कम्पनी देती है न कि टाटा मोटर्स लि0 या विपक्षी जैसाकि चालक की सर्विस पुस्तिका में वारण्टी से सम्बन्धित ज्मतउे ंदक बवदकपजपवदे के क्रम सं0-3 में स्पष्ट रूप से लिखा गया है और परिवादी को इसे अच्छी तरह से वाहन बिक्री के समय अवगत करा दिया गया था। किसी वारण्टी अवधि में चाहे बैट्री हो या अन्य सामान उसके रख रखाव की जिम्मेदारी स्वयं परिवादी की होती है। परिवादी द्वारा बैट्री के टर्मिनल्स की सफाई उसके तेजाब एवं पानी के नियमित चेकिंग आदि की जिम्मेदारी परिवादी की थी जिसे यदि उसके द्वारा नियमित रूप से समय-समय पर नहीं किया जाता है तो ऐसी स्थिति में बैट्री खराब होने की सम्भावना अत्यधिक होती है और इस प्रकार से हुए खराबी की कोई भी वारण्टी उसकी निर्माता कम्पनी नहीं लेती है। वारण्टी के ज्मतउे ंदक बवदकपजपवदे के क्रम सं0-3 में स्पष्ट रूप से लिखा है कि ’’जो पुर्जे विनिर्मिता द्वारा निर्मित नहीं है परन्तु अन्य कम्पनी द्वारा बनाये गये हैं जैसे कि टायर, बैट्री, रबर के पुर्जे, बिजली का सामान मेजरिंग इन्स्ट्रूमेन्ट, डीजल इन्जक्शन पम्प एवं
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सहायक के सम्बन्धित जो भी अधिकार हमें कानूनन है या कम्पनियों द्वारा दिये गये हैं, उस सभी के हकदार प्रत्येक खरीददार भी हैं।’’ इस प्रकार स्पष्ट है कि यदि बैट्री में कोई खराबी उत्पन्न होती है तो उससे सम्बन्धित क्लेम आदि सम्बन्धित निर्माता कम्पनी से करना होगा। प्रस्तुत वाहन एक व्यवसायिक वाहन है इस कारण भी प्रस्तुत परिवाद को देखने का क्षेत्राधिकार न्यायालय श्रीमान् जी को नहीं है।
मैं परिवादी के विद्वान अधिवक्ता तथा विपक्षी के विद्वान अधिवक्ता की बहस सुनी। पत्रावली में उपलब्ध साक्ष्य का अवलोकन किया। विपक्षी द्वारा दाखिल नजीर पुष्पा मीना बनाम शाह इन्टरप्राइजज (राजस्थान) लिमिटेड तथा अन्य प् (1992) सी0पी0जे0 271 स्टेट कमीशन राजस्थान की प्रेषित किया जो कामर्शियल के सम्बन्ध में है। इस परिवाद में परिवादी ने दि0 19.11.2008 को टाटा मोटर्स द्वारा निर्मित एल0पी0टी0 2515 टी0सी0 ट्रक वाहन विपक्षी से ऋण लेकर के क्रय किया, जिसका चेचिस संख्या-126031 एल0आर0जेड0019067 व इंजन संख्या-80202718180 है। इसका नं0-यू0पी042 टी/6787 है। इस ट्रक में एक्साइड की बैट्री लगी थी। एक्साइड बैट्री खराब होने के सम्बन्ध में विपक्षी से कहा। विपक्षी ने बैट्री सही नहीं कराया। परिवादी को अपना परिवाद स्वयं साबित करना चाहिए। एक्साइड बैट्री के खराब होने के सम्बन्ध में कोई आॅथराइज्ड डीलर की टेक्निकल रिपोर्ट प्रस्तुत करनी चाहिए थी जिससे साबित हो कि एक्साइड की बैट्री खराब है। एक्साइड की बैट्री टाटा कम्पनी नहीं बनाती है बल्कि एक्साइड की बैट्री अलग से आती है। परिवादी ने एक्साइड बैट्री के कम्पनी को पक्षकार नहीं बनाया है। यह ट्रक से संलग्न है जो व्यवसायिक है। इस प्रकार व्यवसायिक होने के कारण उपभोक्ता संरक्षण अधिनियम 1986 की धारा-2 (1) (डी) (प) के स्पष्टीकरण के तहत ट्रक वाणिज्यिक होने के कारण तथा बैट्री उसी से संलग्न होने के कारण इस न्यायालय में नहीं चल सकता। इस प्रकार परिवादी का परिवाद खारिज किये जाने योग्य है।
आदेश
परिवादी का परिवाद खारिज किया जाता है।
(विष्णु उपाध्याय) (माया देवी शाक्य) (चन्द्र पाल)
सदस्य सदस्या अध्यक्ष
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निर्णय एवं आदेश आज दिनांक 11.02.2016 को खुले न्यायालय में हस्ताक्षरित एवं उद्घोषित किया गया।
(विष्णु उपाध्याय) (माया देवी शाक्य) (चन्द्र पाल)
सदस्य सदस्या अध्यक्ष