Uttar Pradesh

Azamgarh

CC/25/2013

MOLHU SINGH - Complainant(s)

Versus

PNB - Opp.Party(s)

KRIPA NARAYAN

15 Nov 2018

ORDER

District Consumer Disputes Redressal Forum
Azamgarh(U.P.)
 
Complaint Case No. CC/25/2013
( Date of Filing : 23 Jan 2013 )
 
1. MOLHU SINGH
SADAR AZAMGARH
...........Complainant(s)
Versus
1. PNB
AZAMGARH
............Opp.Party(s)
 
BEFORE: 
 HON'BLE MR. JUSTICE KRISHNA KUMAR SINGH PRESIDENT
 HON'BLE MR. RAM CHANDRA YADAV MEMBER
 
For the Complainant:
For the Opp. Party:
Dated : 15 Nov 2018
Final Order / Judgement

1

जिला उपभोक्ता विवाद प्रतितोष फोरम- आजमगढ़।

परिवाद संख्या 25 सन् 2013

प्रस्तुति दिनांक: 23.01.2013

                        निर्णय दिनांक:  15.11.2018    

मोलहू सिंह उम्र तखo 54 वर्ष पुत्र स्वo जनार्दन सिंह, निवासी ग्राम- कोल बाजबहादुर (प्रगतिनगर), पोस्ट व तहसील- सदर, जिला- आजमगढ़।

....................................................................................................................परिवादी।

बनाम

  1. शाखा प्रबन्धक, पंजाब नेशनल बैंक, शाखा क्षेत्रीय श्री गांधी आश्रम, राहुल नगर, मड़या, जनपद- आजमगढ़, उत्तर प्रदेश।
  2. महाप्रबन्धक, पंजाब नेशनल बैंक, प्रधान कार्यालय, 7 भीखाजी काम्प्लेक्स, नई-दिल्ली।
  3. शाखा प्रबन्धक आई.सी.आई.सी.आई. बैंक शाखा सिविल लाइन्स आजमगढ़।

.................................................................................................................विपक्षीगण।

      उपस्थितिः- कृष्ण कुमार सिंह “अध्यक्ष” तथा राम चन्द्र यादव “सदस्य”

निर्णय

कृष्ण कुमार सिंह “अध्यक्ष”-

      परिवादी ने अपने परिवाद पत्र में यह कहा है कि विपक्षी संख्या 01 के यहाँ उसका बचत खाता है। दिनांक 28.10.2012 को दोपहर को बाद याची 5,000/- रुपया ए.टी.एम. ऐक्सिस बैंक, सिविल लाइन आजमगढ़ से निकालने गया और प्रक्रिया पूरी किया, लेकिन रुपया नहीं मिला। इसके पश्चात् सिविल लाइन में दूसरे ए.टी.एम. आई.सी.आई.सी.आई. बैंक आजमगढ़ से रूपया निकालने गया, लेकिन वहाँ भी रुपया नहीं निकला। उसी दिन वह ऐक्सिस बैंक चौक सब्जी मण्डी से रुपया निकालने गया तो पता चला कि उपरोक्त बैंक खाते में मुo 5020/- रुपया घटा दिया गया था। उस दिन रविवार था। दिनांक 29.10.2012 को विपक्षी नम्बर 01 से याची ने सम्पर्क कर उपरोक्त के बाबत सूचना दिया, तो उन्होंने कहा कि टोल फ्री नम्बर से ए.टी.एम. कन्ट्रोल को शिकायत दर्ज कराएं, तब याची ने उसी दिन उपरोक्त तरीके से फोन पर शिकायत दर्ज कराया। बाद में कई बार याची द्वारा फोन पर प्रार्थना किया तो कुछ दिन बाद ए.टी.एम. कन्ट्रोल ने फोन से सूचित किया कि आप अपने बैंक की शाखा से कम्प्लेन्ट ई-मेल कराएं। इसी बीच याची ने दिनांक 19.11.2012 को विपक्षी संख्या 01 को प्रार्थना पत्र देकर 5,000/- रुपये दिलाए जाने हेतु निवेदन किया, लेकिन कोई सुनवाई नहीं हुई। दिनांक 26.11.2012 को ई-मेल द्वारा सूचना भेजी गयी। लेकिन कोई कार्रवाई नहीं हुई। पुनः जब याची शाखा प्रबन्धक महोदय से मिला, तो विपक्षी संख्या 02 का पता नोट कराया और कहा कि उन्हें भी प्रार्थना पत्र पंजीकृत डॉक प्राप्त कराए। तद्नुसार दिनांक 27.12.12 को उन्हें भी रजिस्ट्री की गयी। अतः प्रार्थना है कि विपक्षी संख्या 01 से 5020/- रुपया दिलवाया जाए और इसके अलावां अन्य अनुतोष भी दिलावाया जाए।

2

      परिवाद के समर्थन में परिवादी द्वारा शपथ पत्र प्रस्तुत किया गया है।

      नोटिस की छायाप्रति, ए.टी.एम. द्वारा दी गयी सूचना दो प्रतियों में, लेजर इन्क्वायरी कागज संख्या 12 की फोटोप्रति प्रस्तुत की गयी है।

      विपक्षी संख्या 01 व 02 द्वारा प्रतिवाद पत्र प्रस्तुत कर यह कहा गया है कि याची का खाताधारक होना और याची के डिमाण्ड पर ए.टी.एम. कार्ड याची को प्राप्त कराना स्वीकार्य है। आई.सी.आई.सी.आई. बैंक में मुo 5,000/- रुपया याची के गलत कथनों के आधार पर परिवाद पत्र प्रस्तुत किया है। उसने गलत कहा है कि आई.सी.आई.सी.आई. बैंक से उसका पैसा विड्राल नहीं हुआ। परिवादी द्वारा कथित किया गया है कि 28.10.2012 को पुनः ए.टी.एम. ऐक्सिस बैंक गया तो पता चला कि कि उसके खाते में मुo 5020/- रुपया निकाल लिया गया है यह गलत है। क्योंकि वह आई.सी.आई.सी.आई. बैंक से पहले ही 5000/- रुपया निकाल लिया था। परिवाद पत्र में यह कथन है कि विपक्षी संख्या 01 से परिवादी 29.10.2012 को मिला था जो कि गलत है। याची द्वारा 19.11.2012 को विपक्षीगण को एक प्रार्थना पत्र दिया कि दिनांक 28.10.2012 को ए.टी.एम. से 5000/- रुपया निकाला गया है। आई.सी.आई.सी.आई. बैंक के ए.टी.एम. सिविल लाइन्स से निकाला गया है। विपक्षी संख्या 01 याची के प्रार्थना पत्र दिनांक 19.11.2012 पर काफी सहानुभूतिपूर्वक विचार करते हुए उसका खाता का स्टेटमेन्ट देखकर बताया गया कि आपके खाते से ए.टी.एम.से बैंक द्वारा 28.10.2012 को 5000/- रुपया निकाला गया है। 20/- रुपया ए.टी.एम. उपलब्धता के तौर पर भी लिया गया है। याची द्वारा केवल हैरान व परेशान करने के उद्देश्य से याचना पत्र प्रस्तुत किया गया है।

      शाखा प्रबन्धक की ओर से लेजर इन्क्वायरी की छायाप्रति प्रस्तुत की गयी है।

      विपक्षी संख्या 03 द्वारा जवाबदावा प्रस्तुत कर परिवाद पत्र के कथनों से इन्कार किया गया है। अतिरिक्त कथन में यह कहा गया है कि याचना पोषणीय नहीं है। विपक्षी संख्या 03 को गलत तौर पर पक्षकार मुकदमा बनाया गया है। परिवाद विपक्षी संख्या 03 के विरुद्ध काल बाधित है। विपक्षी संख्या 03 द्वारा सेवा में कभी चूक नहीं की गयी। अतः परिवाद खारिज किया जाए।

      सुना तथा पत्रावली का अवलोकन किया। परिवाद पत्र के अवलोकन से यह स्पष्ट हो रहा है कि परिवादी मुo 5,000/- रुपया निकालने हेतु सर्वप्रथम ऐक्सिस बैंक, दूसरी बार आई.सी.आई.सी.आई. बैंक, तीसरी बार ऐक्सिस बैंक चौक सब्जी मण्डी गया, जबकि उसका खाता पंजाब नेशनल बैंक में था। विपक्षी संख्या 01 व 02 द्वारा लेजर बुक की छायाप्रति प्रस्तुत की गयी है। जिसके अवलोकन से स्पष्ट हो रहा है कि परिवादी ने आई.सी.आई.सी.आई. बैंक से 5,000/- रुपया निकाला था और उस पर 20/- रुपया ए.टी.एमय कार्ड चार्ज मिलाकर कुल 5020/- रुपया उसके खाते से काटा गया है। ऐसी

 

3

स्थिति में मेरे विचार से परिवादी द्वारा परिवाद पत्र में जो आरोप लगाया गया है वह झूठ एवं गलत है। अतः परिवाद खारिज किए जाने योग्य है।

आदेश

परिवाद खारिज किया जाता है। पत्रावली दाखिल दफ्तर हो।

 

 

 

 

 

      राम चन्द्र यादव                   कृष्ण कुमार सिंह

    (सदस्य)                         (अध्यक्ष)

 

        

 
 
[HON'BLE MR. JUSTICE KRISHNA KUMAR SINGH]
PRESIDENT
 
[HON'BLE MR. RAM CHANDRA YADAV]
MEMBER

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