Uttar Pradesh

Rae Bareli

cc259/2009

Sufiya Bano - Complainant(s)

Versus

O.I.C. - Opp.Party(s)

09 Dec 2014

ORDER

Heading1
Heading2
 
Complaint Case No. cc259/2009
 
1. Sufiya Bano
Kamapur, Hasava, Tiloe, Raebareli
...........Complainant(s)
Versus
1. O.I.C.
Kachahari Road , raebareli
............Opp.Party(s)
 
BEFORE: 
 JUDGES Lalta Prasad Pandey PRESIDENT
 HON'BLE MR. Rajendra Prasad Mayank MEMBER
 HON'BLE MS. Shailja Yadav MEMBER
 
For the Complainant:
For the Opp. Party:
ORDER

 

 

जिला उपभोक्‍ता विवाद प्रतितोष फोरम रायबरेली।

परिवाद संख्‍या: २५९/२००९

सूफियाबानोपत्‍नी स्‍व० साजदीन निवासी ग्राम कामापुरपोस्‍ट- हसवा तहसील तिलोई शहर-रायबरेली।                                                                       

परिवादी

बनाम

ओरियन्‍टलइंश्‍योरेन्‍सकम्‍पनीद्धारा शाखा प्रबंधक महोदय ३४५ कचेहरी रोड जिला-रायबरेली।

विपक्षी

परिवाद अंतर्गत धारा-१२ उपभोक्‍ता संरक्षण १९८६

निर्णय

     परिवादी सूफियाबानोने यह परिवाद धारा-१२ उपभोक्‍ता संरक्षण अधिनियम १९८६  के अंतर्गत इस आशय का प्रस्‍तुत किया है कि उसके पति स्‍व० साजदीन मोटर साइकिल संख्‍या यू० पी० ३३ जी ८६५० के पंजीकृत स्‍वामी थे जिसका बीमा दिनांक १३.०७.२००५ से १२.०७.२००६ तक वैध था। परिवादिनी के पति दिनांक ०३.०५.२००६ को अपने बड़े भाई के साथ उपरोक्‍त मोटर साईकिल से रायबरेली से अपने घर आ रहे थे अचानक एक बस ने टक्‍कर मार दिया जिसके कारण परिवादिनी के पति की घटनास्‍थल  पर ही मृत्‍यु हो गई जिसकी प्रथम सूचना रिपोर्ट अपराध संख्‍या १२८/२००६ थाना मिल एरियारायबरेली में दर्ज कराई गई। परिवादिनी ने बीमा कम्‍पनी  को घटना की सूचना दिया तथा क्‍लेम की मॉग की गई तो बीमा कम्‍पनी ने ड्राईविंगलाइसेन्‍स की मॉग की जिसे न दिये जाने के कारण दावा निरस्‍त  कर दिया गया। अत: परिवादी ने यह परिवाद प्रस्‍तुत किया है। परिवादी ने याचना किया है कि उसे वाहन की बीमाकी धनराशि रू० ४००००.०० मयब्‍याज तथा अन्‍य मद में रू० ५००००.०० क्षतिपूर्ति दिलाई जाय।

     विपक्षी ने अपने प्रतिवाद पत्र में यह अभिकथन किया है कि गाड़ी संख्‍या यू० पी० ३३ जी/ ८६५० का बीमाकर्ता होना स्‍वीकार किया गया है। पालिसी की शर्तो के अनुसार चालक यदि  दुर्घटना के दिन व समय पर वैध लाईसेन्‍स शुदा चालक नहीं है तो विपक्षी का क्षतिपूर्ति का कोई भी दायित्‍व नहीं बनता है। दुर्घटना के समय मोटर साईकिलसाजदीनद्धारा चलाई जा रही थी चालक मो० साजदीन का ड्राईविंगलाईसेन्‍समॉगा गया परन्‍तु वह प्रस्‍तुत नहीं कर सका। परिवाद किसी भी दशा में विपक्षी के विरूद्ध पोषणीय नहीं है। परिवादी किसी भी धनराशि को प्राप्‍त करने का अधिकारी नहीं है। अत: परिवादी का परिवाद खारिज किये जाने योग्‍य है।

 

परिवादी ने परिवाद पत्र के कथन के समर्थन में स्‍वयं का शपथ पत्र तथा अभिलेखीयसाक्ष्‍य के रूप डी० एल० बीमा पालिसी दिनांक ०३.०१०.२००७ तथा ०५.११.२००७ का पत्र तथा तीन पर्चे व एक प्रार्थना पत्र अदिनांकित की फोटो प्रतिलिपिप्रस्‍तुत किया है।

     विपक्षी द्वारा प्रतिवाद पत्र के कथनों के समर्थन में शपथपत्रप्रस्‍तुत किया है।

     हमने उभय पक्ष के विद्वान अधिवक्‍ताओ की बहस सुना तथा पत्रावली का भलीभांति परिशीलन किया। यहॉआरम्‍भ में  ही इस तथ्‍य का उल्‍लेख करना उचित होगा कि पक्षों के मध्‍य यह विवाद नहीं है कि वर्णित दुर्घटना नहीं हुई तथा वाहन्बीमित नहीं था। उल्‍लेखनीय है कि बीमा कम्‍पनी ने परिवादिनी के बीमा दावे को मात्र इस आधार पर अस्‍वीकार किया है कि वाहन् को जैसा कि प्राथिमिकी में अंकित है साजदीन चला रहे थे। साजदीन की मृत्‍यु हो चुकी है उनके पास वाहन् चालक का कोई अनुज्ञा पत्र नहीं था। किन्‍तुप्रस्‍तुत परिवाद में वर्णित तथ्‍य से यह स्‍पष्‍ट है कि वाहन्साजदीन नहीं चला रहे थे अपितु जैनुलआबदीन चला रहे थे साजदीन पीछे बैठे थे। इस तथ्‍य की पुष्टि संबंधित पुलिस थाने में अंकित कराई गई प्राथमिकी की घटना के विवेचना के दौरान विवेचक ने इस दुर्घटना में आहत जैनुलआबदीनप्रत्‍यक्षदर्शी साक्षी अहमद हुसैन का धारा १६१ दंड प्रक्रिया संहिता के अंतर्गत बयान अंकित किया गया तथा विवेचना सम्‍पन्‍न करने पर यह पाया कि दुर्घटना में आलिप्‍तवाहन् मोटर साईकिलसंख्‍या यू० पी०- ३३ / ८६५० के चालक जैनुलआबदीन थे। परिवादिनी के विद्धानअधिवक्‍ता  का तर्क है कि घटना की प्राथमिकी एक तीसरे व्‍यक्तिअसगर ने अंकित कराई। दुर्घटना के समय दुर्घटना में आलिप्‍त चला रहे जैनुलआबदीन ने संबंधित पुलिस थाने में थानाध्‍यक्ष को प्रार्थना पत्र देकर तथा अपना बयान अंकित कराके यह सिद्ध किया है कि दुर्घटना के समय मोटर साईकिल को जैनुलआबदीन चला रहे थे साजदीन पीछे बैठे थे। जैनुलआबदीन का वाहन् अनुज्ञा पत्र दुर्घटना के समय वैध तथा प्रभावी था। अत: हम इस निश्चित मत के है कि विपक्षी बीमा कम्‍पनी  ने साजदीन को दुर्घटना में आलिप्‍त मोटर साईकिल का चालक मानते हुयेपरिवादिनी का बीमा दावा निरस्‍त करके त्रुटि किया है किन्‍तु परिवाद पत्र में वर्णित तथ्‍य से यह स्‍पष्‍ट नहीं है कि परिवादिनी के पति की मोटर साईकिल किस सीमा तक क्षतिग्रस्‍त  हुई थी और क्षतिग्रस्‍तवाहन् की क्षतिपूर्ति की धनराशि कितनी अदा की जानी है। परिवादिनी ने परिवाद पत्र में यह भी स्‍पष्‍ट नहीं किया  है कि मृतक साजदीन की वह एक मात्र विधिक प्रतिनिधि है जबकि परिवादिनीस्‍वयंद्धारा मोटर दुर्घटना याचिका अधिकरण के समक्ष योजित मोटर दुर्घटना याचिका संख्‍या २०२/२००६ में परिवादिनी ने स्‍वयं

 

 के अंतिरिक्‍त श्रीमती रफूलनिशॉ तथा  बाबू खॉ  को भी याचीगण के रूप में अंकित किया है जिससे यह परिलक्षित होता है कि मृतक के माता पिता  भी उसके विधिक प्रतिनिधि है। अत: ऐसी स्थिति में यह उचित होगा कि विपक्षी को यह निर्देशित किया जाय कि वह परिवादिनी के बीमा दावे को दुर्घटना के समय दुर्घटना  में आलिप्‍तवाहन् को जैनुलआब्‍दीनद्धारा  चलाया जाना मानते हुयेक्षतिग्रस्‍तवाहन् जो विपक्षी बीमा कम्‍पनीद्धाराबीमित था की क्षति का आंकलन करते हुये क्षतिपूर्ति की धनराशि साजदीन के सभी विधिक प्रतिनिधिगण को विधितया प्रदान करें।

आदेश

     परिवादिनी का परिवाद आंशिक रूप से स्‍वीकार किया जाता है। विपक्षी बीमा कम्‍पनीद्धारापरिवादिनी के बीमित दावा अस्‍वीकृत करने के आदेश को निरस्‍त किया जाता है।  विपक्षी बीमा कम्‍पनी  को यह आदेशित किया जाता है कि वह प्रश्‍नगत दुर्घटना में दुर्घटना के समय दुर्घटना में आलिप्‍तवाहन् का चालक श्री जैनुलआब्‍दीन को मानते हुयेपरिवादिनी का बीमा दावा दो माह में निस्‍तारित करें। विपक्षी बीमा कम्‍पनीवाहन् के क्षतिग्रस्‍त होने व क्षतिपूर्ति की धनराशि तथा विधिक प्रतिनिधि गण व दावा निस्‍तारण के संबंध में विधिक रूप से स्‍वतंत्र है।

 

 

 (शैलजा यादव)      (राजेन्‍द्र प्रसाद मयंक)      (लालता प्रसाद पाण्‍डेय)

सदस्‍य              सदस्‍य              अध्‍यक्ष

    

यह निर्णय आज फोरम के अध्‍यक्षएंवसदस्‍यों द्वारा हस्‍ताक्षारितएंवदिनांकित कर उदघोषित किया गया।

 

 

(शैलजा यादव)   (राजेन्‍द्र प्रसाद मयंक)      (लालता प्रसाद पाण्‍डेय)

सदस्‍य              सदस्‍य              अध्‍यक्ष

 

 

दिनांक ०८.१०.२०१५

 

 

 

 

 

 

 

 

 
 
[JUDGES Lalta Prasad Pandey]
PRESIDENT
 
[HON'BLE MR. Rajendra Prasad Mayank]
MEMBER
 
[HON'BLE MS. Shailja Yadav]
MEMBER

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