Uttar Pradesh

StateCommission

A/1893/2016

Whirlpool Of India - Complainant(s)

Versus

Mulesh Kumar Yadav And Oth. - Opp.Party(s)

Ashok Shukla

07 Sep 2017

ORDER

STATE CONSUMER DISPUTES REDRESSAL COMMISSION, UP
C-1 Vikrant Khand 1 (Near Shaheed Path), Gomti Nagar Lucknow-226010
 
First Appeal No. A/1893/2016
(Arisen out of Order Dated 27/08/2016 in Case No. C/62/2016 of District Lucknow-II)
 
1. Whirlpool Of India
Lucknow
...........Appellant(s)
Versus
1. Mulesh Kumar Yadav And Oth.
Lucknow
...........Respondent(s)
 
BEFORE: 
 HON'BLE MR. JUSTICE AKHTAR HUSAIN KHAN PRESIDENT
 
For the Appellant:
For the Respondent:
Dated : 07 Sep 2017
Final Order / Judgement

 

राज्‍य उपभोक्‍ता विवाद प्रतितोष आयोग, उ0प्र0, लखनऊ।

मौखिक

अपील संख्‍या-1893/2016

 

(जिला उपभोक्‍ता फोरम, द्धितीय लखनऊ द्वारा परिवाद संख्‍या-62/2016 में पारित निर्णय और आदेश दिनांक 30-07-2016 के विरूद्ध)

 

व्‍हर्लपूल आफ इण्डिया लि0, प्‍लाट नं0 40 सेक्‍टर 44 गुड़गांव, हरियाणा।

                                                                                         अपीलार्थी/विपक्षी                                                                                                          

                             बनाम

1- मूलेश कुमार यादव, 3 ब्रहम नगर सीतापुर रोड, लखनऊ।

 

2-  एयर केयर इलेक्‍ट्रानिक्‍स, 121 कापर रोड लालबाग, लखनऊ।                                                               

                                                            प्रत्‍यर्थी/परिवादी

माननीय न्‍यायमूर्ति श्री अख्‍तर हुसैन खान, अध्‍यक्ष।

 

अपीलार्थी  की  ओर  से उपस्थित   :   विद्वान अधिवक्‍ता श्री अशोक शुक्‍ला।

प्रत्‍यर्थी संख्‍या की ओर से उपस्थित :    कोई नहीं।

 

दिनांक - 07.09.2017

मा0 श्री न्‍यायमूर्ति अख्‍तर हुसैन खान, अध्‍यक्ष द्वारा उदघोषित

निर्णय

  परिवाद संख्‍या 62/2016 मूलेश कुमार यादव बनाम व्‍हर्लपूल आफ इण्डिया लि0 व एक अन्‍य में जिला फोरम द्धितीय लखनऊ  द्वारा पारित निर्णय और आदेश दिनांक 30.07.2016 के विरूद्ध यह अपील उपरोक्‍त परिवाद के विपक्षी व्‍हर्लपूल आफ इण्डिया लि0 की ओर से धारा 15 उपभोक्‍ता  सरंक्षण अधिनियम के अन्‍तर्गत आयोग के समक्ष प्रस्‍तुत की गयी है।

     आक्षे‍पि‍त निर्णय और आदेश के द्वारा जिला फोरम ने परिवाद आंशिक रूप से स्‍वीकार करते हुये निम्‍न आदेश पारित कि‍या है:-

     "परिवादी का परिवाद आंशिक रूप से स्‍वीकार कि‍या जाता है। विपक्षीगण को संयुक्‍त एवं एकल रूप में आदेशित किया जाता है कि‍ वह इस निर्णय की तिथि से चार सप्‍ताह के अन्‍दर परिवादी को उक्‍त वासिंग मशीन की कीमत रू0 08,150/- मय ब्‍याज दौरान वाद व आइंदा बशरह 9 प्रतिशत साधारण वार्षिक ब्‍याज की दर के साथ अदा करें। इसके अतिरिक्‍त विपक्षीगण संयुक्‍त एवं एकल रूप में परिवादी को मानसिक

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व शारीरिक कष्‍ट हेतु 5000/- रू० तथा 2000/- रू० वाद व्‍यय अदा करेंगे, य‍दि‍ विपक्षीगण संयुक्‍त एवं एकल रूप में उक्‍त निर्धारित अवधि के अन्‍दर परिवादी को यह धनराशि अदा नहीं करते हैं तो विपक्षीगण को संयुक्‍त एवं एकल रूप में समस्‍त धनराशि पर ता अदायगी तक 12 प्रतिशत वार्षिक ब्‍याज की दर के साथ अदा करना पड़ेगा।"

     अपील की सुनवाई के समय अपीलार्थी/विपक्षी की ओर से विद्वान अधिवक्‍ता श्री अशोक शुक्‍ला उपस्थित आए। प्रत्‍यर्थीगण की ओर से कोई उपस्थित नहीं हुआ है। प्रत्‍यर्थीगण को रजिस्‍टर्ड डाक से नोटिस दिनांक 26 अक्‍टूबर 2016 को प्रेषित की गयी है जिसमें प्रत्‍यर्थी संख्‍या-1 की नोटिस अदम तामील वापस नहीं आयी है और प्रत्‍यर्थी संख्‍या-2 की नोटिस लिखित पते पर नहीं रहते हैं, की प्रविष्टि के साथ वापस आयी है। प्रत्‍यर्थी संख्‍या-2 को नोटिस उसी पते पर प्रेषित की गयी है, जो पता परिवाद पत्र में अंकित है। अत: प्रत्‍यर्थीगण पर नोटिस का तामीला पर्याप्‍त माना जाता है।

अपीलार्थी के विद्वान अधिवक्‍ता का तर्क है कि‍ परिवाद में दिनांक‍ 10-06-2016 तिथि निश्चित थी उस तिथि पर अपीलार्थी/विपक्षी जिला फोरम के समक्ष उपस्थित हुआ और उस दिन दिनांक 20-09-2016 लिखित कथन हेतु तिथि निश्चित की गयी। उसके  बाद बीच में ही दिनांक 20-07-2016 तिथि नियत कर दिनांक 30-07-2017 को ही आक्षेपित निर्णय और आदेश एकपक्षीय रूप से जिला फोरम द्वारा पारित किया गया है।

 अपीलार्थी के विद्वान अधिवक्‍ता ने अपने तर्क के समर्थन में प्रश्‍नगत परिवाद संख्‍या 62 सन 2016 मूलेश कुमार यादव बनाम व्‍हर्लपूल आफ इण्डिया लि0 व एक अन्‍य के आदेश की प्रमाणित प्रतिलिपि मेमों अपील के साथ प्रस्‍तुत की है जिसमें दिनांक 10-06-2016  को बार का प्रस्‍ताव होने के कारण लिखित कथन की तिथि दिनांक 20-09-2016 निश्चित की गयी है और पुन: ओवर राइटिंग कर दिनांक 20-09-2016  को दिनांक 20-07-2016 किया गया है । यही स्थिति दिनांक 10-06-2016

 

3

की काजलिस्‍ट से भी जाहिर होती है। अत: उपरोक्‍त तथ्‍यों को दृष्टिगत रखते हुये यह स्‍पष्‍ट है कि‍  अपीलार्थी को अपना साक्ष्‍य और लिखित कथन  प्रस्‍तुत करने का अवसर नहीं मिला है। अत: न्‍याय हित  में  यह आवश्‍यक है कि जिला फोरम द्धितीय लखनऊ द्वारा पारित निर्णय और आदेश अपास्‍त कर पत्रावली जिला फोरम को इस निर्देश के साथ प्रत्‍यावर्तित की जाए कि‍ वह अपीलार्थी को अपना लिखित कथन प्रस्‍तुत करने का अवसर देकर पुन: विधि के अनुसार परिवाद का निस्‍तारण यथाशीघ्र दो माह के अन्‍दर करें।

     उपरोक्‍त निष्‍कर्ष के आधार पर अपील स्‍वीकार की जाती है और जिला फोरम द्वारा पारित आक्षेपित निर्णय और आदेश अपास्‍त करते हुये पत्रावली जिला फोरम को इस निर्देश के साथ प्रत्‍यावर्तित की जाती है कि‍ वह अपीलार्थी/विपक्षी को इस निर्णय में हाजिरी हेतु निश्चित तिथि से 30 दिन का समय लिखित कथन प्रस्‍तुत करने हेतु प्रदान करें और उसके बाद 2 माह के अन्‍दर उभय पक्ष को साक्ष्‍य और सुनवाई का अवसर देकर पुन: विधि के अनुसार निर्णय पारित करें।

     अपीलार्थी जिला फोरम के समक्ष दिनांक 09-10-2017 को उपस्थित हों।

     धारा 15 उपभोक्‍ता संरक्षण अधिनियम के अन्‍तर्गत अपील में जमा धनराशि 7,575/- रू० अर्जित ब्‍याज सहित अपीलार्थी को वापस की जाए।

 

               (न्‍यायमूर्ति अख्‍तर हुसैन खान)

                         अध्‍यक्ष

कृष्‍णा, आशु0

कोर्ट नं01

 

 

 
 
[HON'BLE MR. JUSTICE AKHTAR HUSAIN KHAN]
PRESIDENT

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