जिला उपभोक्ता विवाद प्रतितोषण फोरमए सिवनी ;म0प्र0द्ध
प्रकरण क्रमांक.91ध्2014 प्रस्तुत दिनांक 14.11.2014
.ःध्ध्समक्षध्ध्ः.
विमल प्रकाश शुक्लारू अध्यक्ष
वीरेन्द्र सिंह राजपूत रू सदस्य
शमषाद बेगम पत्नि श्री सज्जाद खांए
निवासी जनता नगरए डोरली छतरपुरए पो0
बोरदईए तहसील व जिला सिवनी क्ष्म0प्र0द्व
ण्ण्ण्ण्ण्ण्ण्ण्ण्ण्ण्ण् परिवादिनी
विरूद्ध
मुख्य स्वास्थ्य एवं चिकित्सा अधिकारीए
जिला चिकित्सालयए सिवनी ;म0प्र0द्ध
ण्ण्ण्ण्ण्ण्ण्ण्ण्ण्ण्ण्ण्ण्अनावेदक
ःः.आदेश.ःः
क्ष् आज दिनांक 20.01.2015 को पारित द्व
पीठासीन अध्यक्षरू. विमल प्रकाश शुक्लाए
1ण् परिवादिनी ने अनावेदक के विरूद्ध धारा 12 उपभोक्ता संरक्षण अधिनियम 1986 के अंतर्गत ष्सेवा में कमीष् के आधार पर नसबंदी आॅपरेषन विफलता की दषा में बीमा राषि 35ए000ध्.रूपये मय ब्याज दिलाये जानेए मानसिक प्रताडना हेतु 1ए00ए000ध्.रूपये एवं वाद व्यय 2ए000ध्.रूपये दिलाये जाने हेतु यह परिवाद प्रस्तुत किया है।
2ण् परिवादिनी का पक्ष संक्षेप में इस प्रकार है कि मुख्य स्वास्थ्य एवं चिकित्सा अधिकारी सिवनी द्वारा परिवादिनी का दिनांक 14ण्9ण्2013 को एलण्टीण्टीण् नसबंदी आॅपरेषन किया गयाए जो 5.6 माह बाद असफल हो गया। परिवादिनी ने इसकी सूचना मुख्य स्वास्थ्य एवं चिकित्सा अधिकारी सिवनी को दी। अनावेदक के सक्षम चिकित्सकों द्वारा जांच कर यह अवगत कराया गया कि ऐसे प्रत्येक आॅपरेषन षिविरों में बीमा होता है। अनावेदक के कर्मचारियों द्वारा परिवादी का एक माह बाद बीमा प्रपत्र भरवाया गयाए उसने काफी समय तक प्रतीक्षा कियाए किन्तु उसे कोई राषि प्रदाय नहीं की गई। अतएव् परिवादिनी ने अनावेदक से नसबंदी आॅपरेषन विफलता
सदस्य अध्यक्ष
ण्ण्2ण्ण्
की दषा में बीमा राषि 35ए000ध्.रूपये मय ब्याज दिलाये जानेए मानसिक प्रताडना हेतु 1ए00ए000ध्.रूपये एवं वाद व्यय 2ए000ध्.रूपये दिलाये जाने हेतु यह परिवाद प्रस्तुत किया है।
3ण् अनावेदक फोरम के समक्ष उपस्थित नहीं हुआए किन्तु अनावेदक की ओर से दिनांक 26ण्11ण्14 को पत्र प्रेषित कर यह जानकारी दी गई कि परिवादिनी अपना दावा फाॅर्म भरने के लिये मुख्य स्वास्थ्य एवं चिकित्सा अधिकारी सिवनी के कार्यालय में उपस्थित नहीं हुईए जिसके कारण परिवादिनी का दावा निराकृत नहीं हुआ। परिवादिनी के उपस्थित होने पर बीमा दावा फाॅर्म भरवाकर शासन के आदेषानुसार उसे 30ए000ध्.रूपये की राषि प्रदाय की जावेगी।
4ण् विचारणीय बिन्दु यह हैं कि क्या अनावेदक द्वारा का दिनांक.14ण्09ण्13 को एलण्टीण्टीण् नसबंदी आॅपरेषन असफल होने के पश्चात् दावा राषि प्रदाय न कर ष्ष्सेवा में कमीष्ष् की गई है घ्
5ण् परिवादिनी शमषाद बेगम ने शपथ पत्र पर प्रकट किया कि मुख्य स्वास्थ्य एवं चिकित्सा अधिकारी सिवनी द्वारा दिनांक 14ण्9ण्2013 को एलण्टीण्टीण् नसबंदी आॅपरेषन किया गया। 5.6 माह पष्चात् उसका एलण्टीण्टीण् नसबंदी आॅपरेषन असफल हो गया। उसने अनावेदक को इसकी सूचना दी। अनावेदक के चिकित्सकों द्वारा उसकी जांच की गई और उसे यह सूचना दी गई कि यदि आॅपरेषन असफल होता हैए तब उसे एक माह में राषि प्रदाय की जायेगी। उसे दावा प्रस्तुत करने हेतु कोई फाॅर्म नहीं दियाए तब उसने दिनांक 10ण्6ण्14 को लिखित आवेदन पत्र दिया थाए इसके बावजूद उसे कोई राषि प्रदाय नहीं की गई। उसने 8.10 दिन बाद मुख्य स्वास्थ्य एवं चिकित्सा अधिकारी से सम्पर्क कियाए तब उसके दावा फाॅर्म में हस्ताक्षर लिये गये। जांच उपरांत एक माह में प्रकरण निराकृत करने का आष्वासन दियाए इसके बावजूद उसे कोई राषि प्राप्त नहीं हुई है।
6ण् अनावेदकध्मुख्य स्वास्थ्य एवं चिकित्सा अधिकारी फोरम के समक्ष उपस्थित नहीं हुआए किन्तु उनके द्वारा फोरम को यह जानकारी प्रदाय की गई है कि यदि परिवादिनी का एलण्टीण्टीण् नसबंदी आॅपरेषन असफल होने पर शासन से स्वीकृति उपरांत 30ए000ध्.रूपये प्रदाय करने का उपबंध है। अनावेदक द्वारा यह आपत्ति ली गई है कि परिवादिनी मुख्य स्वास्थ्य एवं चिकित्सा अधिकारी सिवनी के कार्यालय में दावा फाॅर्म भरने हेतु उपस्थित नहीं हुईए जिसके कारण उसे दावा राषि प्रदाय नहीं की गई है।
7ण् परिवादिनी ने हमारे समक्ष चिकित्सकीय रिपोर्टए सहमति पत्र एवं परिवादिनी द्वारा मुख्य स्वास्थ्य एवं चिकित्सा अधिकारी सिवनी को प्रेषित पत्र की छायाप्रति प्रस्तुत की है। परिवादिनी शमषाद बेगम ने शपथ पत्र पर प्रकट किया कि अनावेदक द्वारा उसका दावा फाॅर्म नहीं भरवाया गया थाए जिसके कारण उसे शासन के निर्देषानुसार दावा राषि प्राप्त नहीं हुई है। इस प्रकार परिवादिनी का परिवाद अपरिपक्व है। हमारे मत में परिवादिनी को अनावेदकध् मुख्य स्वास्थ्य एवं चिकित्सा अधिकारी के कार्यालय में दावा फाॅर्म भरने एवं दावा फाॅर्म प्राप्त होने के 30 दिवस के भीतर दावा राषि प्रदाय करने का निर्देष दिया जाना युक्तियुक्त है। इसके अतिरिक्त हम परिवादिनी को अन्य कोई सहायता दिलाया जाना उपयुक्त नहीं समझते हैं।
सदस्य अध्यक्ष
ण्ण्3ण्ण्
प्रकरण क्रण्.91ध्2014
8ण् उपरोक्त विवेचन के आधार पर हम परिवादिनी के पक्ष में अनावेदकध् मुख्य स्वास्थ्य एवं चिकित्सा अधिकारी के विरूद्ध निम्न आशय का आदेश पारित करते हैंरू.
क्ष्1द्व परिवादिनी द्वारा अनावेदकध्मुख्य स्वास्थ्य एवं चिकित्सा अधिकारी सिवनी में बीमा दावा फाॅर्म भरने पर 30 दिवस के भीतर परिवादिनी का दावा का निराकरण करे।
क्ष्2द्व उभयपक्ष अपना.अपना वाद व्यय स्वयं वहन करे।
9ण् आदेष की प्रति पक्षकारों को निःषुल्क प्रदान की जावे।
क्ष् विमल प्रकाष शुक्लाद्व मैं सहमत हॅू। अध्यक्षए
जिला उपभोक्ता विवाद प्रतितोष फोरमए
क्ष् वीरेन्द्र सिंह राजपूत द्व सिवनी ;म0प्र0द्ध
सदस्यए
जिला उपभोक्ता विवाद प्रतितोषण फोरमए सिवनी ;म0प्र0द्ध
प्रकरण क्रमांक.91ध्2014 प्रस्तुत दिनांक 14.11.2014
.ःध्ध्समक्षध्ध्ः.
विमल प्रकाश शुक्लारू अध्यक्ष
वीरेन्द्र सिंह राजपूत रू सदस्य
शमषाद बेगम पत्नि श्री सज्जाद खांए
निवासी जनता नगरए डोरली छतरपुरए पो0
बोरदईए तहसील व जिला सिवनी क्ष्म0प्र0द्व
ण्ण्ण्ण्ण्ण्ण्ण्ण्ण्ण्ण् परिवादिनी
विरूद्ध
मुख्य स्वास्थ्य एवं चिकित्सा अधिकारीए
जिला चिकित्सालयए सिवनी ;म0प्र0द्ध
ण्ण्ण्ण्ण्ण्ण्ण्ण्ण्ण्ण्ण्ण्अनावेदक
ःः.आदेश.ःः
क्ष् आज दिनांक 20.01.2015 को पारित द्व
पीठासीन अध्यक्षरू. विमल प्रकाश शुक्लाए
1ण् परिवादिनी ने अनावेदक के विरूद्ध धारा 12 उपभोक्ता संरक्षण अधिनियम 1986 के अंतर्गत ष्सेवा में कमीष् के आधार पर नसबंदी आॅपरेषन विफलता की दषा में बीमा राषि 35ए000ध्.रूपये मय ब्याज दिलाये जानेए मानसिक प्रताडना हेतु 1ए00ए000ध्.रूपये एवं वाद व्यय 2ए000ध्.रूपये दिलाये जाने हेतु यह परिवाद प्रस्तुत किया है।
2ण् परिवादिनी का पक्ष संक्षेप में इस प्रकार है कि मुख्य स्वास्थ्य एवं चिकित्सा अधिकारी सिवनी द्वारा परिवादिनी का दिनांक 14ण्9ण्2013 को एलण्टीण्टीण् नसबंदी आॅपरेषन किया गयाए जो 5.6 माह बाद असफल हो गया। परिवादिनी ने इसकी सूचना मुख्य स्वास्थ्य एवं चिकित्सा अधिकारी सिवनी को दी। अनावेदक के सक्षम चिकित्सकों द्वारा जांच कर यह अवगत कराया गया कि ऐसे प्रत्येक आॅपरेषन षिविरों में बीमा होता है। अनावेदक के कर्मचारियों द्वारा परिवादी का एक माह बाद बीमा प्रपत्र भरवाया गयाए उसने काफी समय तक प्रतीक्षा कियाए किन्तु उसे कोई राषि प्रदाय नहीं की गई। अतएव् परिवादिनी ने अनावेदक से नसबंदी आॅपरेषन विफलता
सदस्य अध्यक्ष
ण्ण्2ण्ण्
की दषा में बीमा राषि 35ए000ध्.रूपये मय ब्याज दिलाये जानेए मानसिक प्रताडना हेतु 1ए00ए000ध्.रूपये एवं वाद व्यय 2ए000ध्.रूपये दिलाये जाने हेतु यह परिवाद प्रस्तुत किया है।
3ण् अनावेदक फोरम के समक्ष उपस्थित नहीं हुआए किन्तु अनावेदक की ओर से दिनांक 26ण्11ण्14 को पत्र प्रेषित कर यह जानकारी दी गई कि परिवादिनी अपना दावा फाॅर्म भरने के लिये मुख्य स्वास्थ्य एवं चिकित्सा अधिकारी सिवनी के कार्यालय में उपस्थित नहीं हुईए जिसके कारण परिवादिनी का दावा निराकृत नहीं हुआ। परिवादिनी के उपस्थित होने पर बीमा दावा फाॅर्म भरवाकर शासन के आदेषानुसार उसे 30ए000ध्.रूपये की राषि प्रदाय की जावेगी।
4ण् विचारणीय बिन्दु यह हैं कि क्या अनावेदक द्वारा का दिनांक.14ण्09ण्13 को एलण्टीण्टीण् नसबंदी आॅपरेषन असफल होने के पश्चात् दावा राषि प्रदाय न कर ष्ष्सेवा में कमीष्ष् की गई है घ्
5ण् परिवादिनी शमषाद बेगम ने शपथ पत्र पर प्रकट किया कि मुख्य स्वास्थ्य एवं चिकित्सा अधिकारी सिवनी द्वारा दिनांक 14ण्9ण्2013 को एलण्टीण्टीण् नसबंदी आॅपरेषन किया गया। 5.6 माह पष्चात् उसका एलण्टीण्टीण् नसबंदी आॅपरेषन असफल हो गया। उसने अनावेदक को इसकी सूचना दी। अनावेदक के चिकित्सकों द्वारा उसकी जांच की गई और उसे यह सूचना दी गई कि यदि आॅपरेषन असफल होता हैए तब उसे एक माह में राषि प्रदाय की जायेगी। उसे दावा प्रस्तुत करने हेतु कोई फाॅर्म नहीं दियाए तब उसने दिनांक 10ण्6ण्14 को लिखित आवेदन पत्र दिया थाए इसके बावजूद उसे कोई राषि प्रदाय नहीं की गई। उसने 8.10 दिन बाद मुख्य स्वास्थ्य एवं चिकित्सा अधिकारी से सम्पर्क कियाए तब उसके दावा फाॅर्म में हस्ताक्षर लिये गये। जांच उपरांत एक माह में प्रकरण निराकृत करने का आष्वासन दियाए इसके बावजूद उसे कोई राषि प्राप्त नहीं हुई है।
6ण् अनावेदकध्मुख्य स्वास्थ्य एवं चिकित्सा अधिकारी फोरम के समक्ष उपस्थित नहीं हुआए किन्तु उनके द्वारा फोरम को यह जानकारी प्रदाय की गई है कि यदि परिवादिनी का एलण्टीण्टीण् नसबंदी आॅपरेषन असफल होने पर शासन से स्वीकृति उपरांत 30ए000ध्.रूपये प्रदाय करने का उपबंध है। अनावेदक द्वारा यह आपत्ति ली गई है कि परिवादिनी मुख्य स्वास्थ्य एवं चिकित्सा अधिकारी सिवनी के कार्यालय में दावा फाॅर्म भरने हेतु उपस्थित नहीं हुईए जिसके कारण उसे दावा राषि प्रदाय नहीं की गई है।
7ण् परिवादिनी ने हमारे समक्ष चिकित्सकीय रिपोर्टए सहमति पत्र एवं परिवादिनी द्वारा मुख्य स्वास्थ्य एवं चिकित्सा अधिकारी सिवनी को प्रेषित पत्र की छायाप्रति प्रस्तुत की है। परिवादिनी शमषाद बेगम ने शपथ पत्र पर प्रकट किया कि अनावेदक द्वारा उसका दावा फाॅर्म नहीं भरवाया गया थाए जिसके कारण उसे शासन के निर्देषानुसार दावा राषि प्राप्त नहीं हुई है। इस प्रकार परिवादिनी का परिवाद अपरिपक्व है। हमारे मत में परिवादिनी को अनावेदकध् मुख्य स्वास्थ्य एवं चिकित्सा अधिकारी के कार्यालय में दावा फाॅर्म भरने एवं दावा फाॅर्म प्राप्त होने के 30 दिवस के भीतर दावा राषि प्रदाय करने का निर्देष दिया जाना युक्तियुक्त है। इसके अतिरिक्त हम परिवादिनी को अन्य कोई सहायता दिलाया जाना उपयुक्त नहीं समझते हैं।
सदस्य अध्यक्ष
ण्ण्3ण्ण्
प्रकरण क्रण्.91ध्2014
8ण् उपरोक्त विवेचन के आधार पर हम परिवादिनी के पक्ष में अनावेदकध् मुख्य स्वास्थ्य एवं चिकित्सा अधिकारी के विरूद्ध निम्न आशय का आदेश पारित करते हैंरू.
क्ष्1द्व परिवादिनी द्वारा अनावेदकध्मुख्य स्वास्थ्य एवं चिकित्सा अधिकारी सिवनी में बीमा दावा फाॅर्म भरने पर 30 दिवस के भीतर परिवादिनी का दावा का निराकरण करे।
क्ष्2द्व उभयपक्ष अपना.अपना वाद व्यय स्वयं वहन करे।
9ण् आदेष की प्रति पक्षकारों को निःषुल्क प्रदान की जावे।
क्ष् विमल प्रकाष शुक्लाद्व मैं सहमत हॅू। अध्यक्षए
जिला उपभोक्ता विवाद प्रतितोष फोरमए
क्ष् वीरेन्द्र सिंह राजपूत द्व सिवनी ;म0प्र0द्ध
सदस्यए
जिला उपभोक्ता विवाद प्रतितोषण फोरमए सिवनी ;म0प्र0द्ध
प्रकरण क्रमांक.91ध्2014 प्रस्तुत दिनांक 14.11.2014
.ःध्ध्समक्षध्ध्ः.
विमल प्रकाश शुक्लारू अध्यक्ष
वीरेन्द्र सिंह राजपूत रू सदस्य
शमषाद बेगम पत्नि श्री सज्जाद खांए
निवासी जनता नगरए डोरली छतरपुरए पो0
बोरदईए तहसील व जिला सिवनी क्ष्म0प्र0द्व
ण्ण्ण्ण्ण्ण्ण्ण्ण्ण्ण्ण् परिवादिनी
विरूद्ध
मुख्य स्वास्थ्य एवं चिकित्सा अधिकारीए
जिला चिकित्सालयए सिवनी ;म0प्र0द्ध
ण्ण्ण्ण्ण्ण्ण्ण्ण्ण्ण्ण्ण्ण्अनावेदक
ःः.आदेश.ःः
क्ष् आज दिनांक 20.01.2015 को पारित द्व
पीठासीन अध्यक्षरू. विमल प्रकाश शुक्लाए
1ण् परिवादिनी ने अनावेदक के विरूद्ध धारा 12 उपभोक्ता संरक्षण अधिनियम 1986 के अंतर्गत ष्सेवा में कमीष् के आधार पर नसबंदी आॅपरेषन विफलता की दषा में बीमा राषि 35ए000ध्.रूपये मय ब्याज दिलाये जानेए मानसिक प्रताडना हेतु 1ए00ए000ध्.रूपये एवं वाद व्यय 2ए000ध्.रूपये दिलाये जाने हेतु यह परिवाद प्रस्तुत किया है।
2ण् परिवादिनी का पक्ष संक्षेप में इस प्रकार है कि मुख्य स्वास्थ्य एवं चिकित्सा अधिकारी सिवनी द्वारा परिवादिनी का दिनांक 14ण्9ण्2013 को एलण्टीण्टीण् नसबंदी आॅपरेषन किया गयाए जो 5.6 माह बाद असफल हो गया। परिवादिनी ने इसकी सूचना मुख्य स्वास्थ्य एवं चिकित्सा अधिकारी सिवनी को दी। अनावेदक के सक्षम चिकित्सकों द्वारा जांच कर यह अवगत कराया गया कि ऐसे प्रत्येक आॅपरेषन षिविरों में बीमा होता है। अनावेदक के कर्मचारियों द्वारा परिवादी का एक माह बाद बीमा प्रपत्र भरवाया गयाए उसने काफी समय तक प्रतीक्षा कियाए किन्तु उसे कोई राषि प्रदाय नहीं की गई। अतएव् परिवादिनी ने अनावेदक से नसबंदी आॅपरेषन विफलता
सदस्य अध्यक्ष
ण्ण्2ण्ण्
की दषा में बीमा राषि 35ए000ध्.रूपये मय ब्याज दिलाये जानेए मानसिक प्रताडना हेतु 1ए00ए000ध्.रूपये एवं वाद व्यय 2ए000ध्.रूपये दिलाये जाने हेतु यह परिवाद प्रस्तुत किया है।
3ण् अनावेदक फोरम के समक्ष उपस्थित नहीं हुआए किन्तु अनावेदक की ओर से दिनांक 26ण्11ण्14 को पत्र प्रेषित कर यह जानकारी दी गई कि परिवादिनी अपना दावा फाॅर्म भरने के लिये मुख्य स्वास्थ्य एवं चिकित्सा अधिकारी सिवनी के कार्यालय में उपस्थित नहीं हुईए जिसके कारण परिवादिनी का दावा निराकृत नहीं हुआ। परिवादिनी के उपस्थित होने पर बीमा दावा फाॅर्म भरवाकर शासन के आदेषानुसार उसे 30ए000ध्.रूपये की राषि प्रदाय की जावेगी।
4ण् विचारणीय बिन्दु यह हैं कि क्या अनावेदक द्वारा का दिनांक.14ण्09ण्13 को एलण्टीण्टीण् नसबंदी आॅपरेषन असफल होने के पश्चात् दावा राषि प्रदाय न कर ष्ष्सेवा में कमीष्ष् की गई है घ्
5ण् परिवादिनी शमषाद बेगम ने शपथ पत्र पर प्रकट किया कि मुख्य स्वास्थ्य एवं चिकित्सा अधिकारी सिवनी द्वारा दिनांक 14ण्9ण्2013 को एलण्टीण्टीण् नसबंदी आॅपरेषन किया गया। 5.6 माह पष्चात् उसका एलण्टीण्टीण् नसबंदी आॅपरेषन असफल हो गया। उसने अनावेदक को इसकी सूचना दी। अनावेदक के चिकित्सकों द्वारा उसकी जांच की गई और उसे यह सूचना दी गई कि यदि आॅपरेषन असफल होता हैए तब उसे एक माह में राषि प्रदाय की जायेगी। उसे दावा प्रस्तुत करने हेतु कोई फाॅर्म नहीं दियाए तब उसने दिनांक 10ण्6ण्14 को लिखित आवेदन पत्र दिया थाए इसके बावजूद उसे कोई राषि प्रदाय नहीं की गई। उसने 8.10 दिन बाद मुख्य स्वास्थ्य एवं चिकित्सा अधिकारी से सम्पर्क कियाए तब उसके दावा फाॅर्म में हस्ताक्षर लिये गये। जांच उपरांत एक माह में प्रकरण निराकृत करने का आष्वासन दियाए इसके बावजूद उसे कोई राषि प्राप्त नहीं हुई है।
6ण् अनावेदकध्मुख्य स्वास्थ्य एवं चिकित्सा अधिकारी फोरम के समक्ष उपस्थित नहीं हुआए किन्तु उनके द्वारा फोरम को यह जानकारी प्रदाय की गई है कि यदि परिवादिनी का एलण्टीण्टीण् नसबंदी आॅपरेषन असफल होने पर शासन से स्वीकृति उपरांत 30ए000ध्.रूपये प्रदाय करने का उपबंध है। अनावेदक द्वारा यह आपत्ति ली गई है कि परिवादिनी मुख्य स्वास्थ्य एवं चिकित्सा अधिकारी सिवनी के कार्यालय में दावा फाॅर्म भरने हेतु उपस्थित नहीं हुईए जिसके कारण उसे दावा राषि प्रदाय नहीं की गई है।
7ण् परिवादिनी ने हमारे समक्ष चिकित्सकीय रिपोर्टए सहमति पत्र एवं परिवादिनी द्वारा मुख्य स्वास्थ्य एवं चिकित्सा अधिकारी सिवनी को प्रेषित पत्र की छायाप्रति प्रस्तुत की है। परिवादिनी शमषाद बेगम ने शपथ पत्र पर प्रकट किया कि अनावेदक द्वारा उसका दावा फाॅर्म नहीं भरवाया गया थाए जिसके कारण उसे शासन के निर्देषानुसार दावा राषि प्राप्त नहीं हुई है। इस प्रकार परिवादिनी का परिवाद अपरिपक्व है। हमारे मत में परिवादिनी को अनावेदकध् मुख्य स्वास्थ्य एवं चिकित्सा अधिकारी के कार्यालय में दावा फाॅर्म भरने एवं दावा फाॅर्म प्राप्त होने के 30 दिवस के भीतर दावा राषि प्रदाय करने का निर्देष दिया जाना युक्तियुक्त है। इसके अतिरिक्त हम परिवादिनी को अन्य कोई सहायता दिलाया जाना उपयुक्त नहीं समझते हैं।
सदस्य अध्यक्ष
ण्ण्3ण्ण्
प्रकरण क्रण्.91ध्2014
8ण् उपरोक्त विवेचन के आधार पर हम परिवादिनी के पक्ष में अनावेदकध् मुख्य स्वास्थ्य एवं चिकित्सा अधिकारी के विरूद्ध निम्न आशय का आदेश पारित करते हैंरू.
क्ष्1द्व परिवादिनी द्वारा अनावेदकध्मुख्य स्वास्थ्य एवं चिकित्सा अधिकारी सिवनी में बीमा दावा फाॅर्म भरने पर 30 दिवस के भीतर परिवादिनी का दावा का निराकरण करे।
क्ष्2द्व उभयपक्ष अपना.अपना वाद व्यय स्वयं वहन करे।
9ण् आदेष की प्रति पक्षकारों को निःषुल्क प्रदान की जावे।
क्ष् विमल प्रकाष शुक्लाद्व मैं सहमत हॅू। अध्यक्षए
जिला उपभोक्ता विवाद प्रतितोष फोरमए
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सदस्यए