राज्य उपभोक्ता विवाद प्रतितोष आयोग, उ0प्र0, लखनऊ।
(मौखिक)
अपील संख्या:-913/2024
बद्री प्रसाद आयु लगभग 52 वर्ष पुत्र स्व0 नाथू राम व अन्य
........... अपीलार्थीगण/परिवादीगण
बनाम
मै0 ट्रिडेंट इंफ्रा होम्स प्रा0लि0 पता- हाऊस नं0 58, सेक्टर 63, नोएडा द्वारा डायरेक्टर/अथराईज्ड सिग्नेटरी मि0 एस0के0 नर्वर जिला अलीगढ़
…….. प्रत्यर्थी/विपक्षी
समक्ष :-
मा0 न्यायमूर्ति श्री अशोक कुमार, अध्यक्ष
अपीलार्थीगण के अधिवक्ता : श्री अजय कुमार शर्मा
प्रत्यर्थी के अधिवक्ता : कोई नहीं।
दिनांक :- 28.06.2024
मा0 न्यायमूर्ति श्री अशोक कुमार, अध्यक्ष द्वारा उदघोषित
निर्णय
प्रस्तुत अपील, अपीलार्थीगण द्वारा इस आयोग के सम्मुख धारा-41 उपभोक्ता संरक्षण अधिनियम, 2019 के अन्तर्गत जिला उपभोक्ता विवाद प्रतितोष आयोग, गौतम बुद्ध नगर द्वारा परिवाद सं0-343/2019 में पारित आदेश दिनांक 06.10.2023 के विरूद्ध योजित की गई है।
अपीलार्थीगण/परिवादीगण के विद्वान अधिवक्ता द्वारा कथन किया गया कि जिला उपभोक्ता आयोग द्वारा पीलार्थीगण/परिवादीगण की अनुपस्थिति के कारण परिवाद निरस्त किया गया है।
जिला उपभोक्ता आयोग द्वारा पारित निरस्तीकरण आदेश दिनांक 06.10.2023 का परीक्षण किया गया तथा विद्धान अधिवक्ता को सुनने के उपरान्त जिला उपभोक्ता आयोग द्वारा पारित एक पक्षीय आदेश परिवादी की अनुपस्थिति को दृष्टिगत रखते हुए पारित किया गया है, जिसे अपास्त किये जाने की याचना की गयी है।
समस्त तथ्यों को दृष्टिगत रखते हुए न्यायहित में मेरे विचार से अपीलार्थीगण/परिवादीगण को सुनवाई का एक अवसर प्रदान किया जाना उचित प्रतीत होता है, तद्नुसार इस मामले में बिना किसी गुणदोष पर विचार किये प्रस्तुत अपील स्वीकार की जाती है। विद्वान जिला उपभोक्ता आयोग द्वारा परिवाद सं0-343/2019 में पारित आदेश दिनांक 06.10.2023 अपास्त किया जाता है तथा प्रकरण सम्बन्धित जिला उपभोक्ता आयोग को इस आग्रह के साथ प्रतिप्रेषित किया जाता है कि विद्वान जिला उपभोक्ता आयोग उपरोक्त परिवाद सं0-343/2019 को अपने पुराने नम्बर पर पुनर्स्थापित कर उभय पक्ष को साक्ष्य एवं सुनवाई का अवसर प्रदान करते हुए परिवाद का गुणदोष के आधार पर निस्तारण, इस आदेश की प्राप्ति की तिथि से एक वर्ष की अवधि में बिना किसी पक्ष को स्थगन प्रदान करते हुए करना सुनिश्चित करें।
इस आदेश की प्रति अपीलार्थी/परिवादी द्वारा दिनांक 08.08.2024 अथवा उससे पूर्व जिला उपभोक्ता आयोग के सम्मुख प्रस्तुत की जाए।
इस आदेश की प्राप्ति से प्रत्यर्थी के अधिवक्ता को इस आदेश की सूचना दो सप्ताह की अवधि में अपीलार्थीगण/परिवादीगण के अधिवक्ता द्वारा प्राप्त करायी जावे।
आशुलिपिक/वैयक्तिक सहायक से अपेक्षा की जाती है कि वह इस निर्णय/आदेश को आयोग की वेबसाइट पर नियमानुसार यथाशीघ्र अपलोड कर दें।
(न्यायमूर्ति अशोक कुमार)
अध्यक्ष
संदीप सिंह, आशु0 कोर्ट नं0-1