Uttar Pradesh

StateCommission

A/2003/1332

New Holland Tractors India Pvt. Ltd. - Complainant(s)

Versus

M/s Mogia Roadlines - Opp.Party(s)

Alok Sinha

01 Aug 2024

ORDER

STATE CONSUMER DISPUTES REDRESSAL COMMISSION, UP
C-1 Vikrant Khand 1 (Near Shaheed Path), Gomti Nagar Lucknow-226010
 
First Appeal No. A/2003/1332
( Date of Filing : 26 May 2003 )
(Arisen out of Order Dated in Case No. of District State Commission)
 
1. New Holland Tractors India Pvt. Ltd.
New Delhi
...........Appellant(s)
Versus
1. M/s Mogia Roadlines
Moradabad
...........Respondent(s)
 
BEFORE: 
 HON'BLE MR. SUSHIL KUMAR PRESIDING MEMBER
 
PRESENT:
 
Dated : 01 Aug 2024
Final Order / Judgement

(मौखिक)

राज्‍य उपभोक्‍ता विवाद प्रतितोष आयोग, उ0प्र0, लखनऊ

अपील संख्‍या-1332/2003

New Holland Tractors (India) Pvt. Ltd

Versus

M/S Moga Roadlines, through Bhagwan Singh

समक्ष:-                                                            

1. माननीय श्री सुशील कुमार, सदस्‍य।

2. माननीय श्रीमती सुधा उपाध्‍याय, सदस्‍य।

उपस्थिति:-

अपीलार्थी की ओर से उपस्थित: श्री आलोक सिन्‍हा, विद्धान अधिवक्‍ता  

प्रत्‍यर्थी सं0 1 की ओर से उपस्थित: श्री वी0पी0 शर्मा, विद्धान अधिवक्‍ता

प्रत्‍यर्थी सं0 2 की ओर से उपस्थित: कोई नहीं 

दिनांक :01.08.2024 

माननीय श्री सुशील कुमार, सदस्‍य द्वारा उदघोषित

निर्णय

  1.         परिवाद संख्‍या-114/2000, मै0 मौगा रोड बनाम मैसर्सन्‍यू  होलेन्‍ड ट्रेक्‍टर्स व अन्‍य में विद्वान जिला आयोग, (प्रथम) मुरादाबाद द्वारा पारित निर्णय/आदेश दिनांक 10.04.2003 के विरूद्ध प्रस्‍तुत की गयी अपील पर अपीलार्थी एवं प्रत्‍यर्थी सं0 1 के विद्धान अधिवक्‍ता के तर्क को सुना गया। प्रत्‍यर्थी सं0 2 की ओर से कोई उपस्थित नहीं है।
  2.            जिला उपभोक्‍ता आयोग ने परिवाद स्‍वीकार करते हुए किये गये ट्रैक्‍टर लोडर को वापस लेकर इनकी कीमत 4,99,000/-रू0 18 प्रतिशत ब्‍याज के साथ वापस लौटाने का आदेश पारित किया है।
  3.           परिवादी का कथन है कि क्रय करने के पश्‍चात ही ट्रैक्‍टर लोडर कार्य नहीं कर रहे थे। शिकायत पर ट्रैक्‍टर लोडर को ठीक नहीं किया गया। ट्रैक्‍टर लोडर की वारण्‍टी अवधि 06 माह निर्धारित की गयी थी। वारण्‍टी अवधि में शिकायत की गयी, परंतु वारण्‍टी अवधि में ट्रैक्‍टर लोडर खराब होने के बावजूद दुरूस्‍त नहीं किया गया। जिला उपभोक्‍ता  आयोग ने परिवादी को उपरोक्‍त कथन को स्‍थापित मानते हुए ट्रैक्‍टर लोडर की कीमत लौटाने का आदेश पारित किया है।
  4.          इस निर्णय एवं आदेश के विरूद्ध ट्रैक्‍टर निर्माता कम्‍पनी न्‍यू  होलेन्‍ड ट्रैक्‍टर्स (इंडिया) प्रा0लि0 द्वारा अपील की गयी है। उनका कथन है कि उनके द्वारा केवल ट्रैक्‍टर एजेण्‍ट के माध्‍यम से विक्रय किया गया है और ट्रैक्‍टर में निर्माण संबंधी किसी त्रुटि का उल्‍लेख निर्णय में मौजूद नहीं है। अपीलार्थी के विद्धान अधिवक्‍ता का यह भी तर्क है कि ट्रैक्‍टर एवं लोडर दो अलग-अलग ऑब्‍जेक्‍ट हैं, जो ट्रैक्‍टर क्रय किया गया है, उसकी इनवॉयस पत्रावली पर दस्‍तावेज सं0 24 पर एनेक्‍जर ए-2 के रूप में मौजूद है। इस दस्‍तावेज के अवलोकन से ज्ञात होता है कि परिवादी के पक्ष में एक ट्रैक्‍टर 3,55,650/-रू0 में विक्रय किया गया है, इस ट्रैक्‍टर के साथ लोडर के विक्रय किये जाने की इनवॉयस जारी     नहीं की गयी। अत: इस इनवॉयस से साबित होता है कि ट्रैक्‍टर एक भिन्‍न इकाई है, जबकि लोडर एक भिन्‍न इकाई है और लोडर निर्माण करने वाली कम्‍पनी को परिवाद में पक्षकार नहीं बनाया गया है। परिवादी द्वारा दोनों इकाईयों को एक साथ संयुक्‍त कर दिया गया है और  ट्रैक्‍टर लोडर को खराब बता दिया गया है। ट्रैक्‍टर निर्माता कम्‍पनी एवं लोडर निर्माता कम्‍पनी दो भिन्‍न-भिन्‍न कम्‍पनियां हैं। लोडर के निर्माण करने वाली कम्‍पनी के लिए ट्रैक्‍टर निर्माण करने वाली कम्‍पनी को उत्‍तरदायी नहीं ठहराया जा सकता। सम्‍पूर्ण निर्णय में कहीं पर भी यह उल्‍लेख नहीं किया गया है कि ट्रैक्‍टर में निर्माण संबंधी कोई दोष मौजूद था, इसलिए ट्रैक्‍टर निर्माता कम्‍पनी के विरूद्ध ट्रैक्‍टर एवं लोडर दोनों की कीमत वापस लौटाने का आदेश पारित नहीं किया जा सकता। अत: केवल अपीलार्थी के संबंध में पारित निर्णय/आदेश अपास्‍त होने योग्‍य है।  

आदेश

           अपील स्‍वीकार की जाती है। जिला उपभोक्‍ता मंच द्वारा पारित निर्णय/आदेश केवल अपीलार्थी/विपक्षी सं0 1 के विरूद्ध अपास्‍त किया जाता है।

          उभय पक्ष अपना-अपना व्‍यय भार स्‍वंय वहन करेंगे।

प्रस्‍तुत अपील में अपीलार्थी द्वारा यदि कोई धनराशि जमा की गई हो तो उक्‍त जमा धनराशि मय अर्जित ब्‍याज सहित अपीलार्थी को यथाशीघ्र विधि के अनुसार वापस की जाए।

 आशुलिपिक से अपेक्षा की जाती है कि वह इस निर्णय एवं आदेश को आयोग की वेबसाइट पर नियमानुसार यथाशीघ्र अपलोड कर दे।

 

(सुधा उपाध्‍याय)(सुशील कुमार)

       सदस्‍य सदस्‍य

 

 

      संदीप सिंह, आशु0 कोर्ट 2

  

 

  

 

 

 

 

 

 
 
[HON'BLE MR. SUSHIL KUMAR]
PRESIDING MEMBER
 

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