Indrakumar bairwa filed a consumer case on 31 Aug 2015 against Manoranjan Live Entertainment, Prop. in the Kota Consumer Court. The case no is CC/70/2014 and the judgment uploaded on 01 Sep 2015.
जिला उपभोक्ता विवाद प्रतितोष मंच, कोटा (राजस्थान)।
परिवाद संख्या:-70/2014
इन्द्र कुमार बैरवा पुत्र रामलाल बैरवा आयु 36 वर्ष निवासी मं.नं. 468, रिक्कू निवास के पास, मुक्ति मार्ग, नयापुरा, कोटा राजस्थान। -परिवादी
बनाम
01. मनोरंजन लीव इन्टरटेनमेन्ट, 369, शोपिंग सेन्टर, कोटा-7 राजस्थान (आथोराईज्ड डीलर सोनी इंडिया प्रा. लि0)
02. सोनी इंडिया प्रा.लि. ए-31, मोहन काॅपरेटिव इण्डस्ट्रीयल स्ट्रेट मथुरा रोड, नई दिल्ली 110044
03. सुधा इलक्ट्रो सर्विसेज, सोनी आॅथोराईज्ड सर्विस सेन्टर 124 ट्राफिक गार्डन के सामने, शक्ति नगर, दादाबाडी, कोटा।
-विपक्षीगण
समक्ष:-
भगवान दास ः अध्यक्ष
महावीर तंवर ः सदस्य
हेमलता भार्गव ः सदस्य
परिवाद अन्तर्गत धारा 12 उपभोक्ता संरक्षण अधिनियम 1986
उपस्थित:-
01. श्री भुवनेश शर्मा, अधिवक्ता, परिवादी की ओर से।
02. विपक्षी सं. 1व 3 के विरूद्ध एक पक्षीय कार्यवाही।
03. श्री एन0के0नागर, अधिवक्ता, विपक्षी सं. 2 की ओर से।
निर्णय दिनांक 31.08.2015
परिवादी ने विपक्षीगण के विरूद्ध उपभोक्ता संरक्षण अधिनियम की धारा 12 के अन्तर्गत लिखित परिवाद प्रस्तुत कर संक्षेप में सेवा दोष बताया है कि उसने विपक्षी सं. 2 कम्पनी द्वारा निर्मित सोनी एल0ई0डी0 जिसका माॅडल नं. के0एल0वी0-24 ई0एक्स0 430 सिरियल नं. 3335267 दिनांक 06.02.13 को विपक्षी सं. 1 (विक्रेता) से खरीदा था। जिसकी पूरी कीमत अदा कर दी गई, लेकिन उसकी पिक्चर ट्यूब के खराब होने के कारण उसमे सही पिक्चर, विजन दिखाई नही दिया, जिसकी शिकायत अधिकृत सर्विस सेन्टर (विपक्षी सं. 3) को की गई, जिसने संतोष-जनक रूप से शिकायत दूर नहीं की। निर्माता कंपनी को भी ई-मेल से शिकायत भेजी गई उसके बावजूद शिकायत का सही निवारण नहीं किया गया। एल0ई0डी0 को बदलकर नई एल0ई0डी0 नहीं दी, जिससे परिवादी को आर्थिक नुकसान के साथ-साथ मानसिक संताप हुआ है।
विपक्षी सं. 1 विक्रेता को मंच से भेजे गये नोटिस को लेने से इंकार कर दिया इसलिये उसके विरूद्ध एक-पक्षीय कार्यवाही की गई।
विपक्षी सं. 3 अधिकृत सर्विस सेन्टर नोटिस तामील होने के उपरान्त भी स्वयं अथवा जरिये प्रतिनिधि उपस्थित नहीं हुआ, इसलिये उसके विरूद्ध एक-पक्षीय कार्यवाही के आदेश दिये गये।
विपक्षी सं. 2 (निर्माता) ने सभी विपक्षीगण की ओर से संयुक्त रूप से जवाब प्रस्तुत किया है जिसका सार है कि परिवादी द्वारा खरीद किया एल0ई0डी0 में कोई उत्पाद दोष नहीं है। परिवादी की शिकायत मिलने पर अधिकृत सर्विस सेन्टर के जरिये उसके सेट की जांच दिनांक 13.11.13, 25.12.13 को की गई उसका सेट पूरी तरह सही पाया गया, जिसकी पिच्चर क्वालिटी भी सही थी। परिवादी को पिच्चर-मोड को बदलने या देखने का कोण बदलने की सलाह दी गई थी। परिवादी का नोटिस मिलने पर उसको उचित एवं सही उत्तर भी दे दिया गया था। परिवादी ने एल0ई0डी0 में खराबी के बाबत् कोई विशेषज्ञ की साक्ष्य पेश नहीं की है। सेवा में भी कोई कमी नहीं की गई है परिवाद खारिज करने की प्रार्थना की गई है।
परिवादी ने साक्ष्य में अपने शपथ-पत्र के अलावा एल0ई0डी0 खरीद बिल, सर्विस जोबशीट दिनांक 13.11.13, 25.12.13, ई-मेल से भेजी गई शिकायत, कानूनी नोटिस, पोस्टल रसीद,ए/डी आदि दस्तावेजात पेश किये।
विपक्षी ने साक्ष्य में मीना बोस का शपथ-पत्र प्रस्तुत किया, अन्य कोई दस्तावेजी साक्ष्य पेश नहीं की।
हमने दोनों पक्षों के विद्वान अधिवक्तागण की बहस सुनी। पत्रावली का अवलोकन किया।
विपक्षी के जवाब से ही यह स्पष्ट है कि परिवादी ने एल0र्ड0डी0 में विजन की शिकायत दो बार की थी। यद्यपि इसकी जांच विपक्षीगण के द्वारा कराई गई, लेकिन परिवादी उससे संतुष्ट नहीं हुुआ उसके अनुसार विजन की शिकायत बार-बार बनी रही जबकि विपक्षीगण का कहना है कि शिकायत प्राप्त होने पर एल0ई0डी0 की जांच कराई गई जिसे पूरी तरह सही पाया गया, लेकिन विपक्षीगण ने परिवादी के एल0ई0डी0 को चैक करने वाले मेकेनिक/इंजीनियरों का कोई शपथ-पत्र पेश नहीं किया है, जिससे यह सिद्ध माना जा सके कि उन्होने परिवादी की शिकायत की सुनवाई की थी और सेट को सही कर दिया था, अर्थात् यह सिद्ध है कि विपक्षीगण परिवादी की संतृष्टि के मुताबिक एल0ई0डी0 की शिकायत को दूर करने में विफल रहे है। विपक्षीगण की ओर से परिवादी को कानूनी नोटिस का जवाब भेजा गया है उसमें यह प्रस्ताव दिया गया है कि यदि परिवादी उस एल0ई0डी0 को नहीं रखना चाहता है तब उसे खरीद की कीमत की 90 प्रतिशत राशि वापस की जा सकती है।
अतः उपरोक्त विवेचन के फलस्वरूप हम यह पाते है कि विपक्षीगण परिवादी की संतुष्टि के मुताबिक एल0ई0डी0 की शिकायत को दूर नही कर पाये है जो सेवा-दोष है। विपक्षी निर्माता कम्पनी अपने प्रस्ताव के अनुसार परिवादी से उक्त एल0ई0डी0 प्राप्त करके उसके खरीद मूल्य की 90 प्रतिशत राशि उसे लौटाने हेतु बाध्य है। परिवादी का परिवाद स्वीकार किये जाने योग्य है।
आदेश
अतः विपक्षी निर्माता कम्पनी को निर्देश दिये जाते है कि एक माह के अन्दर परिवादी की एल0ई0डी0 अपने अधिकृत सर्विस सेन्टर अथवा विक्रेता के माध्यम से प्राप्त कर उसके खरीद मूल्य की 90 प्रतिशत राशि परिवादी को लौटाई जावे उसके अलावा मानसिक संताप की भरपाई की राशि 1,000/- रूपये एवं परिवाद व्यय की भरपाई की राशि 1,000/- रूपये कुल 2,000/- रूपये अदा की जावे।
(महावीर तंवर) (हेमलता भार्गव) (भगवान दास)
सदस्य सदस्य अध्यक्ष
निर्णय आज दिनंाक 31.08.2015 को लिखाया जाकर खुले मंच में सुनाया गया।
सदस्य सदस्या अध्यक्ष
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