Rajasthan

Kota

CC/120/2011

Ramchand rathore - Complainant(s)

Versus

Manager, Rajasthan rajya path parivahan nigam - Opp.Party(s)

Dinesh kumar sharma

28 Jul 2015

ORDER

जिला उपभोक्ता विवाद प्रतितोष मंच, कोटा (राजस्थान)।
परिवाद संख्या:-120/2011
रामचन्द्र राठौर  पुत्र गोपाल लाल जाति तेली उम्र 58 साल निवासी गूजरों के मंदिर के पास, मगलपुरा, झालावाड, राजस्थान।  -परिवादी

                    बनाम
01.    प्रबंधंक, राजस्थान राज्य पथ परिवहननिगम, अजमेरू आगार,     अजमेर जिला अजमेर, राजस्थान। 
02.    खेमराज, बस चालक, बस नं. आर जे 1 पी ए 1064 दुर्घटना     दिनांक 07.05.09 ग्राम दरा, डिपो अजमेर।         -विपक्षीगण
समक्ष:-
भगवान दास     ः    अध्यक्ष    
महावीर तंवर     ः    सदस्य
हेमलता भार्गव    ः    सदस्य
    परिवाद अन्तर्गत धारा 12 उपभोक्ता संरक्षण अधिनियम 1986
उपस्थित:-

01.    श्री दिनेश कुमार शर्मा, अधिवक्ता, परिवादी की ओर से। 
02.    श्री जयप्रकाश शर्मा, अधिवक्ता, विपक्षी सं. 1 की ओर से।
03.    विपक्षी सं. 2 की तल्वी बंद की गई।  

            निर्णय             दिनांक 28.07.2015
         

    परिवादी ने विपक्षी के विरूद्ध उपभोक्ता संरक्षण अधिनियम की धारा 12 के अन्तर्गत लिखित परिवाद प्रस्तुत कर संक्षेप में प्रकट किया है कि दिनांक 07.05.09 को अजमेर डिपो की बस आर जे 01 पी ए 1064 में बूंदी से झालावाड के लिये वह उसकी पत्नी नंदू बाई, उसकी पुत्री प्रमीला राठौर व भानजी बट्टी शादी समारोह से लौट रहे थे। उनके पास 2 बडे बेग थे जिसमें कपडो के अलावा पत्नी के सवा तोले का हार, 5 ग्राम सोने का टिकला तथा 400/- रूपये नकद भी थे। जब बस दरा गांव के समीप पहुंची तो चालक की लापरवाही से बस के केबिन में आग लग जाने से बस पूरी जल कर राख हो गई, जिसके कारण परिवादी को 48,000/- रूपये का नुकसान हुआ। 
    
    विपक्षी के जवाब का सार है कि  परिवादी व उसके परिवार की उक्त बस में यात्रा करना एवं उनके साथ सामान होने का कोई प्रमाण पेश नहीं किया है। इंजन में अचानक खराबी होने से बस में आग लगी थी, जिसके लिये विपक्षी उत्तरदायी नहीं हे। आग लगने से निगम का ही नुकसान हुआ है। परिवादी ने योजनाबद्ध तरीके से कथित कहानी बनाकर करीब डेढ वर्ष पश्चात आवेदन पत्र प्रस्तुत किया है, जिसे खारिज करने की प्रार्थना की गई है।  

    विपक्षी सं. 2 की तलवी परिवादी की प्रार्थना पर बंद की गई।

    परिवादी ने साक्ष्य में अपना कोई शपथ-पत्र प्रस्तुत नहीं किया है, पुलिस थाना मोडक के रोजनामचा आम की रपट सं0 242 दिनांक 07.05.09, पुलिस द्वारा लेख बद्ध बयान रामचन्द्र राठौर, रिपोर्ट पुलिस थाना मोडक, शादी का कार्ड, टिकिटें, विपक्षीगण को प्रेषित नोटिस, पोस्टल रसीद,आदि दस्तावेजात की प्रति प्रस्तुत की।  

    विपक्षी ने साक्ष्य में प्रबंधक अधिकारी आर0पी0 कलवार का शपथ-पत्र प्रस्तुत किया।  

     हमने दोनो पक्षों की बहस सुनी। पत्रावली का अवलोकन किया गया। 
        विचारणीय प्रश्न है कि  क्या विपक्षी के बस के चालक की लापरवाही से बस में आग लगी, जिसके फलस्वरूप परिवादी का सामान जल जाने से उसे नुकसान हुआ ?

    परिवादी ने उक्त बस में यात्रा के समय अपने साथ सामान होने का लिखित प्रमाण प्रस्तुत नहीं किया है, सामान का कोई टिकिट भी पेश नहीं किया है, सामान में जेवरात, कपडे बताये गये है, लेकिन परिवादी ने स्वयं, पत्नी या अन्य किसी यात्रा करने वाले परिवारजन का पुष्टि हेतु शपथ-पत्र तक नहीं दिया है। विपक्षी ने बस में आग लगने का यह स्पष्ट कारण बताया है कि अचानक केबिन में आग लग गई थी। चालक की लापरवाही से आग नहीं लगी। स्वयं परिवादी ने पुलिस थाना के रोजनामाचा आम की रपट सं. 242 की प्रति प्रेषित की है इससे प्रकट है कि घटना की रिर्पोट बस के परिचालक श्री राम सिंह द्वारा ही पुलिस को की गई, जिसमें उसने स्पष्ट किया कि आग लगने से चालक के हाथ,पैर जल गये, किसी यात्री को किसी प्रकार की कोई हानि नहीं हुई। परिवादी ने बस में सामान जल जाने की तत्काल पुलिस को कोई शिकायत की हो, ऐसा प्रमाण प्रस्तुत नहीं किया है, पुलिस ने इस घटना की जांच के संबंध में जो रिर्पोट प्रस्तुत की है, उसमें इंजन के पास लगी वायरिंग की शोर्ट सर्किट होने से आग लग गई, कोई जन हानि नहीं हुई। इसमें भी किसी यात्री के सामान के नुकसान होने का कोई विवरण अंकित नहीं है, इस प्रकार हम पाते है कि परिवादी यह सिद्ध करने में विफल रहा है कि विपक्षी की बस में चालक की लापरवाही से बस में आग लगी है। यह भी सिद्ध करने में विफल रहा है कि बस में आग लगने से उसके किसी सामान का नुकसान हुआ हो। परिणामतः परिवादी का परिवाद खारिज होने योग्य है।  
    
                   आदेश 
    अतः परिवादी राम प्रसाद राठौर का परिवाद, विपक्षी के विरूद्ध खारिज किया जाता है। परिवाद खर्च पक्षकारान अपना-अपना स्वयं वहन करेगे।       


(महावीर तंवर)                 (हेमलता भार्गव)                (भगवान दास)  
  सदस्य                        सदस्य                       अध्यक्ष
 

     निर्णय आज दिनंाक 28.07.2015 को लिखाया जाकर खुले मंच में सुनाया गया। 
                                     
  सदस्य                  सदस्या                    अध्यक्ष
           

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