Uttar Pradesh

StateCommission

A/488/2017

Pachimanchal Vidyut Vitaran Nigam - Complainant(s)

Versus

Mahatma Chote Singh - Opp.Party(s)

Isar Husain

14 Aug 2024

ORDER

STATE CONSUMER DISPUTES REDRESSAL COMMISSION, UP
C-1 Vikrant Khand 1 (Near Shaheed Path), Gomti Nagar Lucknow-226010
 
First Appeal No. A/488/2017
( Date of Filing : 14 Mar 2017 )
(Arisen out of Order Dated 26/12/2016 in Case No. C/11/2016 of District Bijnor)
 
1. Pachimanchal Vidyut Vitaran Nigam
Meerut Through its Chairman/Correct designation is Managing Director
...........Appellant(s)
Versus
1. Mahatma Chote Singh
S/O Late Sri Jiraj Singh R/O Vill. Bhog Pur Post Khas Pargana syohara Tehsil Dhampur Distt.Bijnore
...........Respondent(s)
First Appeal No. A/2010/547
( Date of Filing : 30 Mar 2010 )
(Arisen out of Order Dated in Case No. of District State Commission)
 
1. U P P C L
a
...........Appellant(s)
Versus
1. Mahartma Chotey Singh
a
...........Respondent(s)
 
BEFORE: 
 HON'BLE MR. SUSHIL KUMAR PRESIDING MEMBER
 HON'BLE MRS. SUDHA UPADHYAY MEMBER
 
PRESENT:
 
Dated : 14 Aug 2024
Final Order / Judgement

मौखिक)

राज्‍य उपभोक्‍ता विवाद प्रतितोष आयोग, उ0प्र0, लखनऊ

अपील संख्‍या-488/2017

पश्चिमांचल विद्युत वितरण निगम लि0 बनाम महात्‍मा छोटे सिंह पुत्र स्‍व0 श्री जिराज सिंह

समक्ष:-                                                   

1. माननीय श्री सुशील कुमार, सदस्‍य।

2. माननीय श्रीमती सुधा उपाध्‍याय, सदस्‍य।

दिनांक : 14.08.2024 

माननीय श्री सुशील कुमार, सदस्‍य द्वारा उदघोषित

निर्णय

1.    परिवाद संख्‍या-11/2016, महात्‍मा छोट सिंह बनाम पश्चिमांचल विद्युत वितरण निगम लि0 तथा एक अन्‍य में विद्वान जिला आयोग, बिजनौर द्वारा पारित निर्णय/आदेश दिनांक 26.12.2016 के विरूद्ध प्रस्‍तुत की गई अपील पर अपीलार्थी के विद्वान अधिवक्‍ता श्री इसार हुसैन तथा प्रत्‍यर्थी के विद्वान अधिवक्‍ता श्री आर.डी. क्रांति को सुना गया तथा प्रश्‍नगत निर्णय/पत्रावली का अवलोकन किया गया।

2.    प्रश्‍नगत निर्णय/आदेश के अवलोकन से जाहिर होता है कि विद्वान जिला आयोग ने यह निष्‍कर्ष दिया है कि परिवादी द्वारा औपचारिकताएं पूर्ण कराने के उपरांत परिवादी का विद्युत कनेक्‍शन जारी किया जाए। अत: इस निर्णय/आदेश के पश्‍चात क्षतिपूर्ति अधिरोपित करने का कोई औचित्‍य नहीं था। चूंकि परिवादी द्वारा औपचारिकताएं पूर्ण नहीं की गई, इसलिए क्षतिपूर्ति के संबंध में विद्वान जिला आयोग द्वारा पारित किया गया आदेश अपास्‍त होने और प्रस्‍तुत अपील आं‍शिक रूप से स्‍वीकार होने योग्‍य है।

आदेश

3.    प्रस्‍तुत अपील आंशिक रूप से स्‍वीकार की जाती है। विद्वान जिला आयोग द्वारा पारित निर्णय/आदेश दिनांक 26.12.2016 इस प्रकार परिवर्तित किया जाता है कि क्षतिपूर्ति अंकन 5,000/-रू0 हेतु पारित आदेश अपास्‍त किया जाता है। शेष निर्णय/आदेश यथावत् रहेगा।

      प्रस्‍तुत अपील में अपीलार्थी द्वारा यदि कोई धनराशि जमा की गई हो तो उक्‍त जमा धनराशि अर्जित ब्‍याज सहित संबंधित जिला आयोग को यथाशीघ्र विधि के अनुसार निस्‍तारण हेतु प्रेषित की जाए।

आशुलिपिक से अपेक्षा की जाती है कि वह इस निर्णय को आयोग की वेबसाइट पर नियमानुसार यथाशीघ्र अपलोड कर दे।

 

 

(सुधा उपाध्‍याय)                           (सुशील कुमार(

  सदस्‍य                                   सदस्‍य

  लक्ष्‍मन, आशु0, कोर्ट-3

 

मौखिक)

राज्‍य उपभोक्‍ता विवाद प्रतितोष आयोग, उ0प्र0, लखनऊ

अपील संख्‍या-547/2010

यू.पी. पावर कारपोरेशन लिमिटेड तथा एक अन्‍य बनाम महात्‍मा छोटे सिंह पुत्र स्‍व0 जिराज सिंह

समक्ष:-                                                   

1. माननीय श्री सुशील कुमार, सदस्‍य।

2. माननीय श्रीमती सुधा उपाध्‍याय, सदस्‍य।

दिनांक : 14.08.2024 

माननीय श्री सुशील कुमार, सदस्‍य द्वारा उदघोषित

निर्णय

1.    परिवाद संख्‍या-114/2009, महात्‍मा छोट सिंह बनाम उ0प्र0 पावर कारपोरेशन लि0 तथा एक अन्‍य में विद्वान जिला आयोग, बिजनौर द्वारा पारित निर्णय/आदेश दिनांक 22.2.2010 के विरूद्ध प्रस्‍तुत की गई अपील पर अपीलार्थी के विद्वान अधिवक्‍ता श्री इसार हुसैन तथा प्रत्‍यर्थी के विद्वान अधिवक्‍ता श्री आर.डी. क्रांति को सुना गया तथा प्रश्‍नगत निर्णय/पत्रावली का अवलोकन किया गया।

2.    प्रश्‍नगत निर्णय/आदेश के अवलोकन से जाहिर होता है कि विद्वान जिला आयोग ने परिवाद इस आधार पर स्‍वीकार किया है कि चेकिंग रिपोर्ट के समय जिस व्‍यक्ति को विद्युत चोरी के लिए कहा जाता है, उसकी मृत्‍यु हो चुकी है, जिसका प्रमाण पत्र भी विद्वान जिला आयोग के समक्ष लगाया गया था। अत: जिस व्‍यक्ति की मृत्‍यु हो गई है, उसके विरूद्ध किसी प्रकार का कोई असेसमेंट संभव नहीं है, इसलिए इस निर्णय/आदेश में हस्‍तक्षेप का कोई आधार नहीं है। तदनुसार प्रस्‍तुत अपील निरस्‍त होने योग्‍य है।

आदेश

3.    प्रस्‍तुत अपील निरस्‍त की जाती है।

      प्रस्‍तुत अपील में अपीलार्थी द्वारा यदि कोई धनराशि जमा की गई हो तो उक्‍त जमा धनराशि अर्जित ब्‍याज सहित संबंधित जिला आयोग को यथाशीघ्र विधि के अनुसार निस्‍तारण हेतु प्रेषित की जाए।

आशुलिपिक से अपेक्षा की जाती है कि वह इस निर्णय को आयोग की वेबसाइट पर नियमानुसार यथाशीघ्र अपलोड कर दे।

 

 

(सुधा उपाध्‍याय)                           (सुशील कुमार(

  सदस्‍य                                   सदस्‍य

 

  लक्ष्‍मन, आशु0, कोर्ट-3

 

 
 
[HON'BLE MR. SUSHIL KUMAR]
PRESIDING MEMBER
 
 
[HON'BLE MRS. SUDHA UPADHYAY]
MEMBER
 

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