Uttar Pradesh

StateCommission

A/2014/559

Tata Motors - Complainant(s)

Versus

Irfan Ahmad - Opp.Party(s)

Rajesh Chadha

13 Apr 2023

ORDER

STATE CONSUMER DISPUTES REDRESSAL COMMISSION, UP
C-1 Vikrant Khand 1 (Near Shaheed Path), Gomti Nagar Lucknow-226010
 
First Appeal No. A/2014/559
( Date of Filing : 19 Mar 2014 )
(Arisen out of Order Dated in Case No. of District State Commission)
 
1. Tata Motors
a
...........Appellant(s)
Versus
1. Irfan Ahmad
a
...........Respondent(s)
 
BEFORE: 
 HON'BLE MR. Rajendra Singh PRESIDING MEMBER
 HON'BLE MR. SUSHIL KUMAR JUDICIAL MEMBER
 
PRESENT:
 
Dated : 13 Apr 2023
Final Order / Judgement

                                                 (सुरक्षित)

राज्‍य उपभोक्‍ता विवाद प्रतितोष आयोग, उ0प्र0, लखनऊ

अपील संख्‍या-559/2014

(जिला आयोग, फैजाबाद द्वारा परिवाद संख्‍या-308/2011 में पारित निर्णय/आदेश दिनांक 11.2.2014 के विरूद्ध)

                                    

टाटा मोटर्स लिमिटेड, रजिस्‍टर्ड आफिस बाम्‍बे हाऊस, 24, होमी मोडी स्‍ट्रीट, मुम्‍बई 400 001, इंटरेलिया ब्रांच आफिस, देवा रोड, चिनहट, लखनऊ द्वारा मैनेजर।

अपीलार्थी/विपक्षी

                                               बनाम        

1.    इरफान अहमद अंसारी पुत्र श्री शमशाद अली अंसारी, निवासी 3/7/6-सी, मोहल्‍ला तेलीटोला, फैजाबाद।

2.    सोसायटी मोटर्स लि0, 12/483, मैकराबर्ट्सगंज, कानपुर 208001 ।    

       प्रत्‍यर्थीगण/परिवादी/विपक्षी सं0-2

समक्ष:-                           

1. माननीय श्री राजेन्‍द्र सिंह, सदस्‍य।

2. माननीय श्री सुशील कुमार, सदस्‍य।

अपीलार्थी की ओर से उपस्थित        : श्री राजेश चड्ढा, विद्वान

                                                       अधिवक्‍ता।

प्रत्‍यर्थी सं0-1 की ओर से उपस्थित    : श्री अनिल कुमार मिश्रा,

                                                        विद्वान अधिवक्‍ता

प्रत्‍यर्थी सं0-2 की ओर से उपस्थित    : कोई नहीं।

दिनांक:    09.06.2023

माननीय श्री सुशील कुमार, सदस्‍य  द्वारा उद्घोषित                                                 

निर्णय

1.         परिवाद संख्‍या-308/2011, इरफान अहमद अंसारी बनाम टाटा मोटर्स तथा एक अन्‍य में विद्वान जिला आयोग, फैजाबाद द्वारा पारित निर्णय एवं आदेश दिनांक 11.2.2014 के विरूद्ध यह अपील प्रस्‍तुत की गई है। इस निर्णय एवं आदेश द्वारा विद्वान जिला आयोग ने परिवाद आंशिक रूप से स्‍वीकार करते हुए विपक्षी सं0-1 को आदेशित किया है कि कार की रिपेयरिंग में खर्च राशि अंकन 1,48,424/-रू0 दिनांक 5.10.2012 से 12 प्रतिशत ब्‍याज के साथ वापस लौटाया जाए। क्षतिपूर्ति के रूप में अंकन 50 हजार रूपये तथा वाद व्‍यय के रूप में अंकन 3,000/-रू0 अदा करने के लिए भी आदेशित किया गया है।

2.         परिवाद के तथ्‍यों के अनुसार परिवादी ने अंकन 3,80,000/-रू0 में टाटा इंडिका विस्‍टा टेरा टीडीआई दिनांक 15.12.2009 में क्रय की, जिसकी वारण्‍टी 14 दिसम्‍बर 2012 तक थी, जिसका पंजीयन संख्‍या-यू.पी. 42 पी. 5802 है। इस वाहन में क्रय करने के पश्‍चात ही अनेकों कमियां दर्शित होने लगीं, जिसमें गेयर बॉक्‍स, पावर स्‍टीयरिंग, ए.सी., क्‍लच प्‍लेट तथा इंजन की आवाज शामिल थी। इन कमियों को दुरूस्‍त करने के लिए सूचना दी गई। विपक्षी संख्‍या-1 ने बताया कि टाटा मोटर्स के अधिकृत सर्विस सेंटर पर ले जाएं वहां सारी कमियां दूर कर दी जाएंगी। फैजाबाद रोड स्थित रिलायंस मौटर पर कमियों को दूर कराने का प्रयास किया, इस बीच स्‍पीडो एवं फ्यूल मीटर भी खराब हो गया। इन कमियों को भी दूर किया गया, परन्‍तु कुछ दिन बाद पुन: सभी दोष प्रकट हो गए, इसलिए वाहन को बार-बार सर्विस सेंटर पर ले जाना पड़ा, इस वाहन में उत्‍पाद संबंधी त्रुटि है, इसलिए वाहन को बदलने का अनुरोध करते हुए परिवाद प्रस्‍तुत किया गया।

3.         विपक्षी द्वारा तामील के बावजूद कोई लिखित कथन प्रस्‍तुत नहीं किया गया, इसलिए एकतरफा सुनवाई की गई। एकतरफा सुनवाई करते हुए विद्वान जिला आयोग ने यह निष्‍कर्ष दिया कि परिवादी वाहन की मरम्‍मत में खर्च राशि अंकन 1,48,424/-रू0 12 प्रतिशत ब्‍याज सहित प्राप्‍त करने के लिए अधिकृत है।

4.         इस निर्णय एवं आदेश को इन आधारों पर चुनौती दी गई है कि विद्वान जिला आयोग ने मनगढंत संभावनाओं पर आधारित निर्णय पारित किया है। अपीलार्थी को कभी भी सूचना प्राप्‍त नहीं हुई। वाहन में यथार्थ में कोई कमी नहीं है। वाहन त्रुटिविहीन विक्रय किया गया था तथा ARAI द्वारा प्रमाणित किया गया था, जो भारत सरकार की अधिकृत लैबोरेट्री है। परिवादी ने इस वाहन का प्रयोग टैक्‍सी के रूप में किया है। दिनांक 30.12.2013 तक यह वाहन 187038 किलोमीटर चल चुका था। इतनी दूरी तक चलने के बावजूद वाहन की समय पर मरम्‍मत नहीं कराई गई और विपक्षीगण के विरूद्ध अवैध रूप से परिवाद प्रस्‍तुत कर दिया। विद्वान जिला आयोग ने भी अंकन 1,48,424/-रू0 की राशि 12 प्रतिशत ब्‍याज के साथ वसूलने का अवैध आदेश पारित किया है। यथार्थ में परिवादी द्वारा कभी भी वाहन में कमी की कोई सूचना नहीं दी गई।

5.         अपीलार्थी तथा प्रत्‍यर्थी सं0-1 के विद्वान अधिवक्‍तागण को सुना गया तथा प्रश्‍नगत निर्णय एवं पत्रावली का अवलोकन किया गया।

6.         विद्वान जिला आयोग ने साक्ष्‍य के विपरीत व्‍याख्‍या करते हुए यह निष्‍कर्ष दिया है कि परिवादी द्वारा वारण्‍टी की अवधि के दौरान वाहन की मरम्‍मत में अंकन 1,48,424/-रू0 खर्च किए गए हैं, इसलिए रिपेयर पर खर्च हुई राशि को वह प्राप्‍त करने के लिए अधिकृत है। अपीलार्थी के विद्वान अधिवक्‍ता का यह तर्क है कि परिवादी द्वारा वाहन का प्रयोग व्‍यावसायिक उद्देश्‍य के लिए किया गया है, क्‍योंकि वाहन 04 साल की अवधि में 187038 किलोमीटर चल चुका है, इसीलिए विपक्षी उत्‍तरदायी नहीं है।

7.         अपीलार्थी/विपक्षी सं0-1 की ओर से विद्वान जिला आयोग के समक्ष परिवाद में वर्णित तथ्‍यों का खण्‍डन नहीं किया गया। विद्वान जिला आयोग ने अपने निर्णय में स्‍पष्‍ट उल्‍लेख किया है कि पंजीकृत डाक से तामील कराई गई थी, परन्‍तु कोई पक्ष उपस्थित नहीं हुआ। चूंकि परिवाद में वर्णित तथ्‍यों का कोई खण्‍डन मौजूद नहीं है, इसलिए विद्वान जिला आयोग द्वारा पारित निर्णय एवं आदेश में हस्‍तक्षेप करने का कोई आधार नहीं है, सिवाय इसके कि ब्‍याज राशि 12 प्रतिशत के स्‍थान पर 07 प्रतिशत की जाए। तदनुसार प्रस्‍तुत अपील आंशिक रूप से स्‍वीकार होने योग्‍य है।

आदेश

8.         प्रस्‍तुत अपील आंशिक रूप से स्‍वीकार की जाती है। विद्वान जिला आयोग द्वारा पारित निर्णय एवं आदेश दिनांक 11.2.2014 इस प्रकार परिवर्तित किया जाता है कि परिवादी को देय राशि पर ब्‍याज 12  प्रतिशत के स्‍थान पर 07 प्रतिशत प्रतिवर्ष की दर से देय होगा। शेष निर्णय एवं आदेश यथावत रहेगा।

          पक्षकार व्‍यय भार स्‍वंय अपना-अपना वहन करेंगे।

          प्रस्‍तुत अपील में अपीलार्थी द्वारा यदि कोई धनराशि जमा की गई हो तो उक्‍त जमा धनराशि अर्जित ब्‍याज सहित सम्‍बन्धित जिला उपभोक्‍ता आयोग को यथाशीघ्र विधि के अनुसार निस्‍तारण हेतु प्रेषित की जाए।

आशुलिपिक से अपेक्षा की जाती है कि वह इस निर्णय/आदेश को आयोग की वेबसाइट पर नियमानुसार यथाशीघ्र अपलोड कर दे।

 

 

 

   (सुशील कुमार)                           (राजेन्‍द्र सिंह)

     सदस्‍य                                  सदस्‍य

 

 

           निर्णय एवं आदेश आज खुले न्‍यायालय में हस्‍ताक्षरित, दिनांकित होकर उद्घोषित किया गया।

 

 

(सुशील कुमार)                           (राजेन्‍द्र सिंह)

  सदस्‍य                                  सदस्‍य

 

 

 लक्ष्‍मन, आशु0,

    कोर्ट-2

 
 
[HON'BLE MR. Rajendra Singh]
PRESIDING MEMBER
 
 
[HON'BLE MR. SUSHIL KUMAR]
JUDICIAL MEMBER
 

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