Uttar Pradesh

Lucknow-I

CC/227/2023

Nighat Osmany - Complainant(s)

Versus

I.F.B. Industries Ltd. - Opp.Party(s)

Mohd .Razinllah

30 Sep 2024

ORDER

Heading1
Heading2
 
Complaint Case No. CC/227/2023
( Date of Filing : 18 May 2023 )
 
1. Nighat Osmany
Lucknow
lucknow
Utter Pradesh
...........Complainant(s)
Versus
1. I.F.B. Industries Ltd.
Lucknow
lucknow
Utter Pradesh
............Opp.Party(s)
 
BEFORE: 
 HON'BLE MR. Neelkuntha Sahya PRESIDENT
 HON'BLE MRS. sonia Singh MEMBER
 HON'BLE MR. Kumar Raghvendra Singh MEMBER
 
PRESENT:
 
Dated : 30 Sep 2024
Final Order / Judgement

        जिला उपभोक्‍ता विवाद प्रतितोष आयोग, प्रथम, लखनऊ।

            परिवाद संख्‍या:-   227/2023

उपस्थित:-श्री नीलकंठ सहाय, अध्‍यक्ष।

          श्रीमती सोनिया सिंह, सदस्‍य।

          श्री कुमार राघवेन्‍द्र सिंह, सदस्‍य।              

परिवाद प्रस्‍तुत करने की तारीख:-18.05.2023

परिवाद के निर्णय की तारीख:-30.09.2024

Nighat Osmany wife of Sri Farhan Alam Osmany, resident of B-28, Mall Avenue, Awas Vikas Colony, Lucknow-226001.

                                                                                     ................Complainant.                                                                                

 

                                                    VERSUS

 

1.      I.F.B. Industries Limited E-75, Hind Nagar Colony, Transport Nagar Lucknow-226012.

2.      Initiative Data System Private Limited H.O.-9D, Srinagar Alambagh Lucknow-226005.

                                                                                      ...............Respondents.

परिवादिनी के अधिवक्‍ता का नाम:-मो0 रजिउल्‍लाह।

विपक्षी के अधिवक्‍ता का नाम:-कोई नहीं।

आदेश द्वारा-श्रीमती सोनिया सिंह, सदस्‍य।

                               निर्णय

1.   परिवादिनी द्वारा प्रस्‍तुत परिवाद उपभोक्‍ता संरक्षण अधिनियम 2019 की धारा-35 के अन्‍तर्गत इस आशय से प्रस्‍तुत किया गया है कि परिवादिनी द्वारा क्रय किये गये डिसवाशर को बदलने तथा परिवादिनी को हुए मानसिक तथा शारीरिक कष्‍ट के लिये 50,000.00 रूपये दिलाये जाने की प्रार्थना के साथ प्रस्‍तुत किया गया है।

2.   संक्षेप में परिवाद के कथन इस प्रकार हैं कि परिवादिनी ने दिनॉंक 24.12.2022 को विपक्षी की दुकान संख्‍या ALM/119922223 से डिसवाशर नेप्‍च्‍यून वी.एक्‍स. 1826210401161857 खरीदने से व्‍यथित है। परिवादिनी ने डिसवाशर क्रय करने के बाद डिसवाशर लगाने के लिये कम्‍पनी के इंजीनियार का इंतजार कर रही थी, लेकिन दिनॉंक 26.12.2022 तक कोई भी व्‍यक्ति इन्‍स्‍टालेशन के लिये नहीं आया। दिनॉंक 27.12.2022 को कम्‍पनी से एक व्‍यक्ति इन्‍स्‍टालेशन के लिये आया और उसने डिसवाशर लगाया लेकिन उसी दिन डिसवाशर ने ठीक से काम नहीं किया।

3.   परिवादिनी ने विपक्षी संख्‍या 02 और कम्‍पनी के कस्‍टमर केयर नम्‍बर पर बार-बार शिकायत की कि डिसवाशर ठीक से काम नहीं कर रहा है। परिवादिनी ने विपक्षी संख्‍या 02 शोरूम और कस्‍टमर केयर नम्‍बर आई0एफ0बी0 पर बार-बार काल किया, लेकिन परिवादिनी की समस्‍या का समाधान नहीं किया गया। परिवादिनी ने दिनॉंक 11.01.2023 को अपने अधिवक्‍ता के माध्‍यम से विधिक नोटिस विपक्षीगण को भेजा परन्‍तु विपक्षीगण द्वारा परिवादिनी की समस्‍या का समाधान नहीं किया गया।

4.   परिवाद का नोटिस विपक्षीगण को भेजा गया, परन्‍तु विपक्षीगण की ओर से कोई उपस्थित नहीं आया और न ही कोई जवाब दिया गया। अत: दिनॉंक 12.01.2024 को विपक्षीगण के विरूद्ध एकपक्षीय कार्यवाही अग्रसारित की गयी।

5.   परिवादिनी ने अपने कथानक के समर्थन में मौखिक साक्ष्‍य के रूप में शपथ पत्र एवं दस्‍तावेजी साक्ष्‍य के रूप में इनवाइस, विधिक नोटिस आदि की छायाप्रतियॉं दाखिल की गयी हैं।

6.   आयोग द्वारा परिवादिनी के विद्वान अधिवक्‍ता के तर्कों को सुना गया तथा पत्रावली का परिशीलन किया गया।

7.   परिवाद पत्र को साबित करने का भार परिवादिनी के ऊपर है। परिवादिनी द्वारा दो आवश्‍यक तथ्‍यों को साबित किया जाना है-1-परिवादिनी का उपभोक्‍ता होना तथा 2- विपक्षीगण द्वारा सेवा में कमी।

1-   परिवादिनी का उपभोक्‍ता होना:- परिवादिनी द्वारा विपक्षी संख्‍या 02 से दिनॉंक 24.12.2022 को दुकान संख्‍या ALM/119922223 से डिसवाशर नेप्‍च्‍यून वी.एक्‍स. 1826210401161857 क्रय किया। विपक्षी संख्‍या 02 विपक्षी संख्‍या 01 का अधिकृत विक्रेता है। परिवादिनी द्वारा डिसवाशर को बदलने के लिये विपक्षी संख्‍या 02 से बार-बार अनुरोध किया गया, परन्‍तु विपक्षी संख्‍या 02 द्वारा समाधान नहीं किया गया। अत: परिवादिनी विपक्षीगण की उपभोक्‍ता है।

2-   विपक्षीगण द्वारा सेवा में कमी:- यह तथ्‍य सही है कि परिवादिनी द्वारा दिनॉंक 24.12.2022 को एक डिसवाशर नेप्‍च्‍यून वी.एक्‍स. 1826210401161857 क्रय किया गया। परिवादिनी ने डिसवाशर क्रय करने के बाद लगाने के लिये कम्‍पनी के इंजीनियर का इंतजार कर रही थी, लेकिन इन्‍स्‍टालेशन के लिये कोई नहीं आया। दिनॉंक 27.12.2022 को कम्‍पनी से एक व्‍यक्ति इन्‍स्‍टालेशन के लिये आया। लेकिन इंस्‍टालेशन के बाद उसी दिन डिसवाशर ने ठीक से काम नहीं किया। इस संबंध में परिवादिनी ने कम्‍पनी के कस्‍टमर केयर पर शिकायत किया और उक्‍त डिसवाशर के ठीक से काम नहीं करने के संबंध में बताया। विपक्षी संख्‍या 02 ने आश्‍वासन दिया कि कम्‍पनी के इंजीनियर आयेगें और आपकी समस्‍या का समाधान करेंगे, परन्‍तु कोई भी डिसवाशर ठीक करने नहीं आया। अत: विपक्षीगण द्वारा सेवा में कमी की गयी है।

8.   परिवादिनी ने विपक्षी संख्‍या 02 के यहॉं से डिसवाशर क्रय किया था। परिवादिनी द्वारा डिसवाशर क्रय करने के बाद तीन दिनों तक कोई भी कम्‍पनी की ओर से इन्‍स्‍टालेशन के लिये नहीं आया। विपक्षी संख्‍या 02 द्वारा यह कहा गया कि कम्‍पनी का कोई इंजीनियर आयेगा और आपकी समस्‍या का समाधान किया जायेगा, परन्‍तु कोई भी व्‍यक्ति डिसवाशर ठीक करने नहीं आया। अत: परिवादिनी को मानसिक कष्‍ट हुआ। अत: विपक्षीगण द्वारा सेवा में कमी की गयी है।

9.   जहॉं तक परिवादिनी द्वारा क्रय किये गये डिसवाशर को बदलने की बात है, इस संबंध में परिवादिनी द्वारा डिसवाशर खराब होने के संबंध में कोई भी एक्‍सपर्ट की ओपीनियन दाखिल नहीं की गयी है, जिससे यह साबित हो सके कि परिवादिनी द्वारा क्रय किया गया डिसवाशर इन्‍स्‍टालेशन करने के तुरन्‍त बाद ही खराब हो गया। जहॉं तक पैसे के भुगतान की बात है तो परिवादिनी यह साबित करे कि डिसवाशर खराब है। पैसे के भुगतान की बात है तो पैसे का भुगतान तभी संभव है जब परिवादिनी यह साबित करे कि टेक्निकल, मैकेनिकल एवं इलेक्ट्रिकल त्रुटि है। यह तभी संभव है जब वह एक्‍सपर्ट से सर्वे कराये। ऐसा परिवाद पत्र में परिवादिनी द्वारा साबित नहीं किया गया है कि तकनीकी एवं इलेक्‍ट्रानिक त्रुटि है। उपरोक्‍त विवेचना के आधार पर परिवादिनी का डिसवाशर बनवाया जाना न्‍यायसंगत प्रतीत होता है।

आदेश

परिवादिनी का परिवाद आंशिक रूप से स्‍वीकार किया जाता है। विपक्षी को निर्देशित किया जाता है कि परिवादिनी का डिसवासर निर्णय की तिथि से 45 दिन के अन्‍दर मरम्‍मत कर परिवादिनी को वापस करें। यदि विपक्षी द्वारा डिसवासर मरम्‍मत नहीं किया जाता है तो परिवादिनी को डिसवासर की पूरी कीमत 45 दिनों के अन्‍दर ही अदा करेंगे। परिवादिनी को हुए मानसिक एवं शारीरिक कष्‍ट के लिये मुबलिग 15,000.00 (पन्‍द्रह हजार रूपया मात्र) एवं वाद व्‍यय के लिये मुबलिग 10,000.00 (दस हजार रूपया मात्र) भी अदा करेंगें। यदि निर्धारित तिथि के अन्‍दर आदेश का अनुपालन नहीं किया जाता है तो उपरोक्‍त सम्‍पूर्ण धनराशि पर 12 प्रतिशत वार्षिक ब्‍याज भुगतेय होगा।

पत्रावली पर उपलब्‍ध समस्‍त प्रार्थना पत्र निस्‍तारित किये जाते हैं।

     निर्णय/आदेश की प्रति नियमानुसार उपलब्‍ध करायी जाए।

 

(कुमार राघवेन्‍द्र सिंह)     (सोनिया सिंह)                     (नीलकंठ सहाय)                    

         सदस्‍य               सदस्‍य                         अध्‍यक्ष

                            जिला उपभोक्‍ता विवाद प्रतितोष आयोग,   प्रथम,

                                               लखनऊ।          

आज यह आदेश/निर्णय हस्‍ताक्षरित कर खुले आयोग में उदघोषित किया गया।

                                   

(कुमार राघवेन्‍द्र सिंह)     (सोनिया सिंह)                     (नीलकंठ सहाय)                    

         सदस्‍य               सदस्‍य                         अध्‍यक्ष

                            जिला उपभोक्‍ता विवाद प्रतितोष आयोग,   प्रथम,

                                               लखनऊ।

दिनॉंक:-30.09.2024

 

 

 

 

 

 

 

 

 
 
[HON'BLE MR. Neelkuntha Sahya]
PRESIDENT
 
 
[HON'BLE MRS. sonia Singh]
MEMBER
 
 
[HON'BLE MR. Kumar Raghvendra Singh]
MEMBER
 

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