Uttar Pradesh

Kanpur Dehat

CC/59/2020

Satyanarayan Singh - Complainant(s)

Versus

Executive Engineer, Electricity Distribution Division, Southern Electricity Distribution Corporation - Opp.Party(s)

Raghuveer Singh Yadav

31 Jan 2024

ORDER

जिला उपभोक्ता विवाद प्रतितोष आयोग, कानपुर देहात ।

                                                          अध्यासीन:-    श्री मुशीर अहमद अब्बासी..........................अध्यक्ष

                                                                                                           (H.J.S.)

             श्री हरिश चन्द्र गौतम ...............................सदस्य

               सुश्री कुमकुम सिंह .........................महिला सदस्य  

         

उपभोक्ता परिवाद संख्या :- 59/2020

परिवाद दाखिला तिथि :- 06.10.2020

निर्णय दिनांक:- 31.01.2024

(निर्णय श्री मुशीर अहमद अब्बासी, अध्यक्ष द्वारा उद्घोषित)

 

सत्यनारायन कुशवाहा उम्र 55 वर्ष पुत्र स्व0 शिवरतन निवासी ग्राम-देवकली, तहसील व थाना अकबरपुर, जिला कानपुर देहात ।                                     

                                                                                                                                                            ...........................परिवादी

बनाम

 

1- अधिशाषी अभियन्ता, विधुत वितरण खण्ड दक्षिणंचल विधुत वितरण निगम लि0,

   रनियाँ, कानपुर देहात । 

2- उपखण्ड अधिकारी, विधुत वितरण उपखण्ड रनियाँ, कानपुर देहात ।

                                                                                                                                                                  ....................प्रतिवादीगण

निर्णय

 

     प्रस्तुत परिवाद परिवादी सत्यनारायन कुशवाहा की ओर से सशपथ पत्र, प्रार्थी का कनेक्शन पूर्व की भांति 5 हॉर्स पावर का किये जाने व क्षतिपूर्ति 3,50,000/- रुपये तथा विधुत कनेक्शन पूर्व की भाँति विधुत वितरण खण्ड रनियाँ से ही रहने का आदेश पारित किये जाने के आशय से दिनांक 06.10.2020 को संस्थित किया गया ।

     संक्षेप में, परिवादी का कथन है कि परिवादी ग्राम देवकली, तहसील व थाना अकबरपुर, जिला कानपुर देहात का मूल निवासी है । प्रार्थी के पिता स्व0 शिवरतन ने निजी नलकूप हेतु विधुत कनेक्शन लिया था जिसका कनेक्शन संख्या-010174 तथा बुक संख्या-3407 है । प्रार्थी के पिता स्व0 शिवरतन की मृत्यु हो चुकी है, उनकी मृत्यु के बाद प्रार्थी ही नलकूप का उपभोग कर रहा है । प्रार्थी के नलकूप का कनेक्शन 5 हॉर्स पावर का था परन्तु बीच में कुछ अधिकारी आये और कहा कि अब आपका 10 हॉर्स पावर का कनेक्शन कर दिया गया है, प्रार्थी ने कहा कि सभी कनेक्शन 5 हॉर्स पावर का है, अधिकारियों ने कहा कि सभी का कनेक्शन 10 हॉर्स पावर का कर दिया गया है परन्तु किसी को भार बढ़ाये जाने की कोई सूचना नहीं दी गयी । प्रार्थी के द्वारा पता किये जाने पर यह पता चला कि महादेव प्रसाद का कनेक्शन संख्या 063218 बुक संख्या 3909 तथा  राम किशोर का खाता संख्या 781714076210 है, दोनों की रसीदें संलग्न हैं, इन लोगों का कनेक्शन पुनः 5 हॉर्स पावर का कर दिये गये हैं । बीच में प्रार्थी से कहा गया था कि बिल आप जमा कर दें आपका कनेक्शन 5 हॉर्स पावर का कर दिया जायेगा, प्रार्थी ने अधिकारियों के कहने पर 10 हॉर्स पावर का बिल जमा कर दिया फिर भी 5 हॉर्स पावर का नहीं किया गया, ज्यादा विधुत भार होने के कारण प्रार्थी बिल जमा नहीं कर पा रहा है । पूर्व की तरह प्रार्थी के नलकूप का भार 5 हॉर्स पावर कर दिया जाये तो प्रार्थी बिल जमा करने को तैयार है । प्रार्थी को ज्ञात हुआ है कि प्रार्थी के नलकूप का कनेक्शन जे0के0 बिजली घर से करना चाहते हैं जबकि प्रार्थी का कनेक्शन रनियाँ विधुत उपखण्ड से है, अगर चकरपुर से विधुत कनेक्शन किया जाता है तो प्रार्थी को बहुत बड़ी मुसीबत का सामना करना पड़ेगा । प्रार्थी का विधुत कनेक्शन 10 हॉर्स पावर की जगह 5 हॉर्स पावर का किया जाना व विधुत कनेक्शन पूर्व की भाँति विधुत वितरण खण्ड रनियाँ से ही बने रहने का आदेश पारित करना उचित व न्यायसंगत है । विधुत भार पूर्व की भाँति 5 हॉर्स पावर का करने का व जांच करने का प्रार्थना पत्र दिया गया था परन्तु कोई सुनवाई नहीं हुयी । प्रार्थी के ट्यूबवेल के बिजली की लाइन रनियाँ फीडर जो जयप्रकाश, प्रेमप्रकाश कुशवाहा आदि के खेत के ऊपर से प्रार्थी के ट्यूबवेल पर आई है, दिनांक 28.08.2020 को अज्ञात व्यक्ति खम्भे पर चढ़कर तार काट रहा था जिसकी जानकारी मिलने पर प्रार्थी विडियो बनाने लगा तो जयप्रकाश ने हाथापाई करने की कोशिश की और अंकित, आनन्द उर्फ टीनु, देवेंद्र तार छोड़कर मक्का के खेत में छिप गये तथा दूसरे दिन से ही उसी लाइन के नीचे दबंग व्यक्तियों ने जबरन निर्माण कार्य शुरू कर दिया तथा प्रार्थी ने तार काटने की सूचना बिजली विभाग को दिया । दिनांक 21.09.2020 को जाँच के दौरान आये बिजली विभाग के अधिकारी बाकी बचे खंभों के तार काटकर ले गये जिसका विडियो प्रार्थी के पास है जिससे प्रार्थी की हरी धनियाँ, मिर्च, मूली आदि फसलें पानी के बगैर सूख गयीं, आज भी खेत सूख रहे हैं । प्रार्थी को लगभग 3,50,000/- रुपया की क्षति हुयी है जिसके जिम्मेदार बिजली विभाग के अधिकारी हैं, यह क्षतिपूर्ति बिजली विभाग से दिलाया जाना न्यायसंगत है । परिवादी का परिवाद सव्यय स्वीकार किया जाये ।

     परिवादी के परिवाद पत्र के उत्तर में विपक्षी संख्या-1 व 2 द्वारा संयुक्त रूप से जवाबदेही कागज संख्या-39/1 लगायत 39/3 पत्रावली पर दाखिल की गयी । संक्षेप में, विपक्षीगण द्वारा प्रस्तुत जवाबदेही के अनुसार वादी के पिता को 5 कि0वा0 का विधुत संयोजन संख्या 010174 व नया संयोजन संख्या 781714076210 का कनेक्शन अधिशाषी अभियन्ता, विधुत वितरण खण्ड प्रथम गोविन्द नगर कानपुर नगर से निजी नलकूप संयोजित किया गया था एवं 2002 में अधिशाषी अभियन्ता, विधुत वितरण खण्ड रनियाँ कानपुर देहात बनाये जाने पर वादी का उक्त संयोजन की बिलिंग रनियाँ फीडर से सन 2000 से माह जून 2020 तक की गयी । वादी द्वारा अपने पिता की मृत्यु के संबंध में कोई भी मृत्यु प्रमाण पत्र प्रस्तुत नहीं किया गया है । वादी के उक्त संयोजन में भार बढ्ने के कारण वादी के संयोजन को उच्च अधिकारियों द्वारा निरीक्षण करने पर दिनांक 15.05.2007 को 7.5 हॉर्स पावर का भार कर दिया गया था । उपभोक्ता महादेव प्रसाद व रामकिशोर के संयोजन को चेक करने पर 5 हॉर्स पावर का ही लोड पाया गया था जिससे उनके भार में कोई बढ़ोत्तरी नहीं की गयी थी । वादी के संयोजन को उच्च अधिकारियों के जांचोपरांत अधिक भार आने के आधार पर दिनांक 29.09.2009 को कुल 10 हॉर्स पावर का कर दिया गया था । वादी को 10 हॉर्स पावर भार का विधुत बिल दिया गया था जिसका भुगतान वादी द्वारा किया गया था । वर्तमान समय में वादी के उक्त संयोजन की बिलिंग विधुत वितरण खण्ड प्रथम कानपुर नगर से की जा रही है । विभागीय नियमानुसार उपभोक्ताओं की सुविधा के लिए खंडीय कार्यालय निर्धारित किये गये हैं जिसके अन्तर्गत आने वाले क्षेत्र में हुयी विधुत सप्लाई के राजस्व की वसूली का उत्तरदायित्व उसी खण्ड के अधीन होता है । जवाबदेही के पैरा-9 में वाद पत्र की धारा-9 को असत्य बताते हुये अस्वीकार किया है एवं यह अभिकथन किया है कि कानपुर क्षेत्र के अन्तर्गत ग्राम देवकली में कुछ नलकूपों की विधुत आपूर्ति विधुत वितरण खण्ड प्रथम कानपुर नगर से की जाती है इसलिये उनके क्षेत्र का संयोजन उन्होने अपने खण्ड में स्थानांतरण करवा लिया है । परिवादी का संयोजन अधिशाषी अभियन्ता, विधुत वितरण खण्ड खण्ड प्रथम कानपुर नगर से संबन्धित है तथा वादी के उक्त संयोजन में दिनांक 18.11.2020 से विधुत वितरण खण्ड खण्ड प्रथम कानपुर नगर से बिलिंग हो रही है, चूंकि ऑनलाइन प्रक्रिया में संयोजन स्थानांतरित के पश्चात बिलिंग संशोधन से संबन्धित कोई भी कार्यवाही विधुत वितरण खण्ड रनियाँ कानपुर देहात से संभव नहीं है, इसलिए उक्त प्रकरण से संबन्धित कार्यवाही विधुत वितरण खण्ड खण्ड प्रथम कानपुर नगर से करवाने की कृपा करें । विपक्षी संख्या-1 व 2 द्वारा विपक्षीगण की जगह परिवाद पत्र में विधुत वितरण खण्ड खण्ड-प्रथम गोविन्द नगर, कानपुर नगर से उक्त वाद की पैरवी कराये जाने का आदेश पारित किये जाने की याचना की गयी है ।

     विपक्षीगण की ओर से प्रस्तुत जवाबदेही के प्रति उत्तर में परिवादी द्वारा जवाबुल जवाब कागज संख्या-37/1 लगायत 37/4 मय शपथपत्र दिनांकित 05.04.2023 पत्रावली पर दाखिल किया है ।

     परिवादी ने वाद-पत्र के समर्थन में दस्तावेजों की सूंची कागज संख्या-6 से उपभोक्ता श्री शिवरतन के नाम जारी 5 हॉर्स पावर के विधुत कनेक्शन की पावती की छायाप्रति कागज संख्या-7/1 व 7/2, बिजली बिल भुगतान राशि की जमा रसीदों की छायाप्रति कागज संख्या-7/3 लगायत 7/5, जमा विधुत बिलों की छायाप्रतियां कागज संख्या-7/6 लगायत 7/9, भुगतान पावती मु0 869/- रु0 दिनांकित 23.07.2020 की छायाप्रति कागज संख्या-7/10, भुगतान पावती मु0 3474/- रु0 दिनांकित 08.06.2020 की छायाप्रति कागज संख्या-7/11, जमा रसीद मु0 2575/- रु0 की छायाप्रति कागज संख्या-7/12 व प्रार्थी शिवरतन द्वारा उपखण्ड अधिकारी विधुत वितरण उपखण्ड रनियाँ को प्रेषित पत्र दिनांकित........ की छायाप्रति कागज संख्या-7/13 साक्ष्य में दाखिल किया है । इसके अतिरिक्त परिवादी द्वारा दिनांक 24.11.2020 को शिवरतन कुशवाहा का मृत्यु प्रमाण पत्र कागज संख्या-9 व परिवार रजिस्टर की छायाप्रति कागज संख्या-9/2 पत्रावली में दाखिल की गयी । परिवादी ने एक अन्य दस्तावेजों की सूंची कागज संख्या-45 से मौके का नक्शा नज़री कागज संख्या-46 भी दाखिल किया है ।

     परिवादी ने प्रार्थना पत्र कागज संख्या-20 दिनांकित 26.07.2021 के साथ शपथपत्र कागज संख्या-21/1 लगायत 21/3 दिनांकित 23.07.2021 पत्रावली में दाखिल किया है ।

     विपक्षीगण की ओर से विभिन्न दिनांकों में जिला उपभोक्ता आयोग कानपुर देहात को पत्र प्रेषित किये गये हैं जिसमें उनके द्वारा उक्त प्रकरण विधुत वितरण खण्ड-प्रथम गोविन्द नगर, कानपुर नगर से संबन्धित होना कहा गया है । अधिशाषी अभियन्ता, विधुत वितरण खण्ड दक्षिणंचल विधुत वितरण निगम लि0, रनियाँ, कानपुर देहात द्वारा प्रेषित पत्र दिनांकित 24.05.2022 कागज संख्या-27 के साथ प्रकरण से संबन्धित प्रपत्रों कागज संख्या-28/1 लगायत 28/14 को संलग्नक के रूप में दाखिल किया गया है ।

     परिवादी द्वारा, अधिशाषी अभियन्ता विधुत वितरण निगम लि0, रनियाँ, कानपुर देहात द्वारा प्रेषित पत्र दिनांकित 24.05.2022 के प्रति उत्तर में अपनी आपत्ति कागज संख्या-30/1 लगायत 30/04 मय शपथपत्र कागज संख्या-31/1 दाखिल की गयी जिसके साथ परिवादी ने संलग्नकों के रूप में समस्त जमा रसीदों की छायाप्रतियाँ, विपक्षीगण को प्रेषित पत्रों की छायाप्रतियाँ, नक्शा (कागज संख्या-32/1 लगायत 32/7 व प्रकरण से संबन्धित रंगीन फोटोग्राफ (कागज संख्या-32/8 व 32/9 तथा काग़ज़ संख्या- 32/11 लगायत 32/14) साक्ष्य के रूप में पत्रावली पर दाखिल किया गया ।

     विपक्षीगण की ओर से पत्र संख्या-11451 दिनांकित 27.09.2022 कागज संख्या-41/1 के साथ संलग्नकों में प्रपत्र कागज संख्या-42/1 लगायत 42/14 पत्रावली पर दाखिल किये गये ।

     परिवादी की ओर से परिवाद पत्र में वर्णित कथनों के समर्थन में स्वयं परिवादी सत्यनारायन कुशवाहा द्वारा साक्ष्य शपथपत्र दिनांकित 03.05.2023 कागज संख्या- 44/1 लगायत 44/3 पत्रावली पर दाखिल किया गया ।

     विपक्षीगण की ओर से श्री अनिल आहूजा पुत्र श्री टी0सी0 आहूजा अधिशाषी अभियन्ता, दक्षिणंचल विधुत वितरण निगम लि0 रनियाँ कानपुर देहात द्वारा साक्ष्य में शपथपत्र दिनांकित 07.08.2023 मय विधुत बिल मु0 2,62,321/- रुपये दिनांकित 30.01.2021 पत्रावली पर दाखिल किया गया ।

     परिवादी व विपक्षी संख्या-1 व 2 की ओर से उनके अधिवक्तागण द्वारा लिखित बहस पत्रावली पर दाखिल की गयी ।

     बहस के स्तर पर परिवादी के विद्वान अधिवक्ता एवं विपक्षी विधुत विभाग की ओर से पैरोकार उपस्थित आये । मैंने पत्रावली पर उपलब्ध साक्ष्य व लिखित बहस का परिशीलन किया ।

     विपक्षी संख्या-1 व 2 की ओर से दाखिल जवाबदेही के पैरा-2 में इस बात का उल्लेख है कि वर्ष 2002 में अधिशाषी अभियन्ता, विधुत वितरण खण्ड रनियाँ कानपुर देहात बनाये जाने पर वादी के संयोजन की बिलिंग रनियाँ फीडर से सन 2000 से माह जून 2020 तक की गयी जिसके अनुसार लगभग 20 वर्षों तक परिवादी के संयोजन की बिलिंग रनियाँ फीडर से की गयी । विपक्षीगण ने अपनी जवाबदेही के पैरा-3 में यह भी स्वीकार किया है कि उक्त संयोजन वादी के पिता स्व0 शिवरतन के नाम से ऊर्जित है । परिवाद पत्र की धारा-5 के सम्बन्ध में यह स्वीकार किया है कि उपभोक्ता महादेव प्रसाद व रामकिशोर के संयोजन को चेक करने पर 5 हॉर्स पावर का ही लोड पाया गया था जिससे उन लोगों के संयोजन में 5 हॉर्स पावर के भार में कोई बढ़ोत्तरी नहीं की गयी थी । इस सम्बन्ध में परिवादी की ओर से अधिशाषी अभियन्ता, विधुत वितरण खण्ड रनियाँ कानपुर देहात द्वारा प्रेषित पत्र संख्या-4241 दिनांकित 24.05.2022 के विरुद्ध दाखिल आपत्ति कागज संख्या-30/2 के पैरा-6 में यह उल्लेख किया है कि “वादी के द्वारा अपने वाद पत्र में दिनांक 30.03.2010 को एक प्रार्थना पत्र रनियाँ विधुत विभाग को दिया गया कि 10 एच0पी0 की जगह 5 एच0पी0 का विधुत बिल बनाकर निर्गत किया जाये जिस पर एस0डी0ओ0 साहब की स्पष्ट रिपोर्ट अंकित है कि 5 एच0पी0 के लोड के आधार पर ही कार्यवाही करें” (जैसा कि परिवादी की ओर से प्रस्तुत प्रपत्र संलग्नक संख्या-13 कागज संख्या-7/13 से विदित है) ।

     परिवादी ने पत्रावली में दाखिल जवाबुलजवाब कागज संख्या-37/2 के प्रस्तर-5 में यह उल्लेख किया है कि वादी एक छोटा काश्तकार है तथा किसी प्रकार का लोड नहीं बढ़ा है परन्तु विभाग के अधिकारी व कर्मचारियों द्वारा वादी के संयोजन का भार कम किया किया गया और आगे जवाबुलजवाब के प्रस्तर-6 में कहा है कि अभी आप 10 हॉर्सपावर का पैसा जमा कर दें, जिस तरह महादेव प्रसाद व रामकिशोर का 5 हॉर्सपावर का किया गया है, इसी प्रकार आपका भी कर दिया जायेगा । जवाबुलजवाब के प्रस्तर-8 में वादी का कथन है कि वादी रनियाँ क्षेत्र का रहने वाला है, अपनी सुविधा के लिये ही रनियाँ फीडर से नलकूप कनेक्शन लिया था, रनियाँ में ही विधुत बिल जमा करता रहा है इसलिए वादी का नलकूप बिजली कनेक्शन रनियाँ फीडर में ही बने रहने तथा विधुत भार रनियाँ में ही जमा करने में सुविधाजनक है ।

     विपक्षीगण ने अपनी जवाबदेही के पैरा-9 में यह उल्लेख किया है कि उत्तर प्रदेश पावर कार्पोरेशन लिमिटेड के कार्यालय पत्र संख्या 247 दिनांक 04.04.2020 द्वारा पावर कार्पोरेशन द्वारा दिये गये अनुमोदन के अनुपालन में 38 एतद विधुत वितरण उपखंडों का नवसृजन, अनुमोदन में उल्लेखित नियम व शर्तों के अधीन किया गया जिसके अनुपालन में कानपुर क्षेत्र के अन्तर्गत ग्राम देवकली में “कुछ नलकूपों की विधुत आपूर्ति” विधुत वितरण खण्ड-प्रथम कानपुर नगर से की गयी । विपक्षीगण ने इस बात को स्पष्ट नहीं किया कि विपक्षीगण ने क्यों और किस आधार पर परिवादी के 20 वर्षों से अधिक नलकूप कनेक्शन को रनियाँ क्षेत्र से हटाकर कानपुर नगर से सम्बद्ध कर दिया, विपक्षीगण का यह कृत्य मनमाना एवं आधारहीन है । परिवादी ने अपने जवाबुलजवाब में स्पष्ट किया है कि परिवादी के गाँव के दबंग व्यक्तियों ने बिजली विभाग के अधिकारियों से मिलकर तार कटवा दिये और उसी लाइन के नीचे मुर्गी फार्म का निर्माण करवा दिया, अगर परिवादी की लाइन डाइवर्जन करके दूसरी जगह से विधुत कनेक्शन दिया जाता है तो दबंग व्यक्तियों द्वारा फिर से तार कटवाकर निर्माण करा सकते हैं ।

     परिवादी ने सूंची पत्र कागज संख्या-45 के साथ मौके की स्थिति का नक्शा-नज़री संलग्नक-1 (ग्राम देवकली कानपुर देहात) दाखिल किया है जिसके खण्डन में विपक्षी विधुत विभाग की ओर से कोई Sketch Map दाखिल नहीं किया गया है ।

     इसके अतिरिक्त परिवादी ने अपने साक्ष्य शपथपत्र कागज संख्या-31/1 के साथ कागज संख्या-32/1 लगायत 32/12 सम्पूर्ण घटनाक्रम से संबन्धित रंगीन फोटोग्राफ एवं अन्य प्रपत्र दाखिल किये हैं जिसके खण्डन में भी विपक्षीगण की ओर से कोई साक्ष्य नहीं दिया गया है ।

     अतः इन परिस्थितियों में पत्रावली पर उपलब्ध साक्ष्य से प्रतीत होता है कि विपक्षीगण द्वारा परिवादी की सेवा में कमी की गयी है । अतएव परिवादी का परिवाद विपक्षीगण के विरुद्ध आंशिक रूप से स्वीकार किये जाने योग्य है ।

आदेश

     परिवादी का परिवाद विपक्षीगण के विरुद्ध आंशिक रूप से स्वीकार किया जाता है तथा विपक्षीगण को आदेशित किया जाता है कि वादी का कनेक्शन संख्या-010174, बुक संख्या-3407 को 5 हॉर्स पावर के भार पर आदेश के दिनांक से एक माह के अन्दर पुनर्स्थापित करते हुये रनियाँ फीडर से ही सम्बद्ध किया जाये तथा खपत के आधार पर रनियाँ फीडर से ही विधुत बिलिंग करायी जाये । इसके अतिरिक्त परिवादी को हुयी मानसिक, शारीरिक व आर्थिक क्षति व वाद व्यय के एवज में विपक्षीगण द्वारा परिवादी को 5,000/- रुपया भी आदेश के दिनांक से एक माह के अन्दर अदा किया जाये ।

 

                   ( सुश्री कुमकुम सिंह )        ( हरिश चन्द्र गौतम )       ( मुशीर अहमद अब्बासी )

                         म0 सदस्य                            सदस्य                             अध्यक्ष

                जिला उपभोक्ता आयोग      जिला उपभोक्ता आयोग       जिला उपभोक्ता आयोग

                    कानपुर देहात                       कानपुर देहात                कानपुर देहात

प्रस्तुत निर्णय / आदेश हस्ताक्षरित एवं दिनांकित होकर खुले कक्ष में उद्घोषित किया गया ।

 

                  ( सुश्री कुमकुम सिंह )        ( हरिश चन्द्र गौतम )       ( मुशीर अहमद अब्बासी )

                         म0 सदस्य                           सदस्य                             अध्यक्ष

                जिला उपभोक्ता आयोग      जिला उपभोक्ता आयोग       जिला उपभोक्ता आयोग

                     कानपुर देहात                     कानपुर देहात                   कानपुर देहात

दिनांक:- 31.01.2024

 

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