Chhattisgarh

Kanker

MA/03/2008

Smt.Mamta Gawde - Complainant(s)

Versus

Chhattisgarh Goverment Collectorate Kanker & Other-1 - Opp.Party(s)

ShriHaripal Dev

16 Jan 2009

ORDER

Heading1
Heading2
 
Miscellaneous Application No. MA/03/2008
In
 
1. Smt.Mamta Gawde
Gram Kandel Tah.Charama Distt.Kanker C.G.
...........Appellant(s)
Versus
1. Chhattisgarh Goverment Collectorate Kanker & Other-1
Kanker C.G.
...........Respondent(s)
 
BEFORE: 
 JUDGES F.L.Unjan PRESIDENT
  Nilam paruthi MEMBER
 
PRESENT:ShriHaripal Dev, Advocate for the Appellant 1
 Shri S.N.Dubey, Advocate for the Respondent 1
ORDER

आवेदिका परिवादिनी सहित श्री हरिबल देव, अधिवक्ता।
 

अना.गण वि.पार्टीगण द्वारा श्री एस.एन.दुबे,अधिवक्ता।
 

उभयपक्ष को आवेदिका द्वारा प्रस्तुत आवेदनपत्र जिसमें पुर्नस्थापना की याचना की गई है पर सुना गया एवं मूल परिवाद प्रकरण क्रमांक 20/2008 श्री मती ममता गावडे वि.छ.ग. शासन एवं डॉ.डी.के.तुर्रे का अवलोकन किया गया।
 

आवेदिका ने अपने आवेदन पत्र में स्वयं की अनु. का यह कारण बताया है कि दिनांक 07/08/2008 ई. को उसकी सास की मत्यु हो गयी अत: वह उपस्थित नहीं हो पाई और उसके अधि. भी उप. नहीं हो पाये अत: अदम पेरवी में 4:00 बजे प्रकरण खारिज हो गया है। आवेदन पत्र के साथ धारा-5 म्याद अधिनियम का आवेदन पत्र भी प्रस्तुत किया गया है और आवेदन पत्र प्रस्तुत करने में जो विलम्ब हुआ है उसे समा करने का निवेदन किया गया है। आवेदन पत्र के समर्थन में आवेदिका ने स्वयं का शपथपत्र प्रस्तुत किया है शपथपत्र के अवलोकन से यह तथ्य प्रकर होता है कि स्वयं की अनुपस्थिति का कोई समुचित व पर्याप्त कारण के संबंध में कथन नहीं किया गया है। बल्कि शपथपत्र में यह कथन किया गया है कि दिनांक 07/08/2008 ई. को खालीस्थान की मत्यु हो गई, अर्थात शपथपत्र में मत्यु होने वाले व्यक्ति का नामोल्लेख न करते हुए खालीस्थान छोड दिया गया है अधि. की अनु. के संबंध में आवेदन पत्र में कोई कारण नहीं बताया गया है। जबकि शपथपत्र में बाहर जाने के कारण अनु. होना कथन किया गया है, लेकिन कहां बाहर गया कब गया क्या इतनी दूर बाहर गया कि पेशी ता. को उप. हो सकने में असमर्थ था के संबंध में कोई कथन नहीं है और आवेदिका के अधि. श्री हरिबल देव का इस संबंध में कोई शपथपत्र भी प्रस्तुत नहीं किया गया है ऐसी स्थिति में दर्शित कारण पर्याप्त एवं संतोषजनक नहीं है धारा-5 म्याद अधि. के समर्थन में भी कोई शपथपत्र प्रस्तुत नहीं किया गया है अत: विलम्ब से प्रस्तुत आवेदन पत्र उक्त कारणों से स्वीकार किये जाने योग्य नहीं है।
 

इस फोरम का यह अंतिम निष्कर्ष है कि पर्याप्त एवं संतोषजन कारण के अभाव में एवं प्रस्तुत आवेदन पत्र म्याद बाधित होने के कारण, अर्थात उक्त दोनों कारणों से स्वीकार किये जाने योग्य नहीं है।
 

अस्तु प्रस्तुत पुर्नस्थापना आवेदन पत्र सव्यय खारिज किया जाता है। प्रकरण समाप्त अभिलेख अभिलेखागार में जमा किया जावे।
 


 

 
 
[JUDGES F.L.Unjan]
PRESIDENT
 
[ Nilam paruthi]
MEMBER

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