DEVENDRA SINGH filed a consumer case on 21 Feb 2018 against BL SHUKLA in the Kanpur Nagar Consumer Court. The case no is CC/556/2015 and the judgment uploaded on 28 Sep 2018.
श्रीमती सुधा यादव ........................................सदस्य
उपभोक्ता वाद संख्या-556/2015.
देवेन्द्र सिंह पुत्र श्री गंगा महेष निवासी-192, ई/2, गंगागंज कालोनी, पनकी, कानपुर नगर।
..........परिवादी
बनाम
.1. बी0एल0 षुक्ला एण्ड कम्पनी षाप नं0-37, सागर मार्केट, करांचीखाना, कानपुर नगर द्वारा प्रोपराइटर।
.2. स्पाईस रिटेल लिमिटेड, 5 ग्लोबल नॉलेज पार्क, 19ए. एण्ड 19 बी. सेक्टर 125, नोएडा-201301 द्वारा प्रबंध निदेषक,
.......विपक्षी
परिवाद दाखिला तिथिः 23.10.2015
निर्णय तिथिः 18.09.2018
श्री आर0एन0 सिंह अध्यक्ष, द्वारा उद्घोशितः-
ःःःनिर्णयःः
1. परिवादी की ओर से प्रस्तुत परिवाद इस आषय से योजित किया गया है कि, परिवादी को डिफेक्टिव/प्रष्नगत मोबाइल के स्थान पर नया त्रुटिरहित मोबाइल सेट विपक्षीगण से दिलाया जावे अथवा मोबाइल सेट की कीमत रू0 7050/-मय 12 प्रतिषत वार्शिक ब्याज की दर से, क्रय करने की तिथि से दिलाया जावे। आर्थिक, मानसिक, षारीरिक व सामाजिक क्षति के लिये रू0 25000/-बतौर क्षतिपूर्ति तथा रू0 7500/- परिवाद व्यय दिलाया जावे।
2. परिवाद पत्र के अनुसार संक्षेप में परिवादी का कथन यह है कि परिवादी ने विपक्षी सं0-1 से एक स्पाईस मोबाइल सेट जिसका मॉडल नं0-549 रू0 7,050/-में दिंनाक 01.05.2015 को क्रय किया था। जिसपर विपक्षी सं0-2 द्वारा एक वर्श की गारण्टी प्रदान की गई थी। परिवादी द्वारा उक्त मोबाइल सेट को क्रय करने करने के कुछ ही दिनों बाद, उक्त मोबाइल सेट को स्टार्ट किये जाने पर उक्त सेट पूरा स्टार्ट नहीं होता था बल्कि स्क्रीन पर केवल कम्पनी का नाम आता था और अन्य कोई कार्य नहीं करता था जिस पर परिवादी द्वारा उक्त सम्बन्ध में विपक्षी सं0-1 से कई बार षिकायत किये जाने पर उक्त सेट विपक्षी सं0-2 के अधिकृत सर्विस सेन्टर द्वारा दिंनाक 09.07.2015 को मरम्मत हेतु लिया गया तथा यह कथन किया गया कि एक सप्ताह में मरम्मत कर वापस कर दिया जायेगा। परिवादी द्वारा एक सप्ताह बाद उक्त सेट वापस लेने जाने पर सर्विस सेन्टर द्वारा पुनः एक सप्ताह बाद आने को कहा गया। तत्पष्चात परिवादी के कई बार जाने के बाद भी उक्त सेट मरम्मत करके वापस नहीं किया जा रहा है। जिससे परिवादी को वार्तालाप सम्बन्धी तथा अन्य गतिविधियॉ जो कि मोबाइल फोन होने से सुलभ होती हैं, नहीं हो पा रही हैं जिसके लिये विपक्षीगण पूर्णतया जिम्मेदार हैं। विपक्षीगण का यह सेवा कार्य था कि वह परिवादी से मोबाइल फोन के बावत सेवा षुल्क प्राप्त करने के उपरान्त उसे त्रुटिरहित मोबाइल फोन उपलब्ध कराते तथा उक्त मोबाइल सेट के गारण्टी अवधि में खराब होने पर उसे अविलम्ब रिपेयर करवाते अथवा बदलकर दूसरा नया त्रुटि रहित फोन उपलब्ध कराते। परिवादी द्वारा जरिये अधिवक्ता दिंनाक 10.09.2015 को उक्त सम्बन्ध में विपक्षीगण को रजिस्टर्ड नोटिस भी प्रेशित किया गया परन्तु उसके उपरान्त भी विपक्षीगण द्वारा तो उक्त नोटिस का जवाब दिया गया और न ही कोई विधि सम्मत कार्यवाही की गई। फलस्वरूप परिवादी को प्रस्तुत परिवाद योजित करना पड़ा।
3 विपक्षी सं0-2 बीमा कम्पनी की ओर से जवाबदावा प्रस्तुत करके परिवादी की ओर से प्रस्तुत किये गये परिवाद पत्र के तथ्यों का खण्डन किया गया है और यह कहा गया है कि परिवादी द्वारा परिवाद पत्र के साथ इनवाइस की प्रति दाखिल नहीं की गई है। अतः परिवादी उपभोक्ता की कोटि में नहीं आता है। प्रत्येक असली हैण्डसेट की निर्धारित एक वर्श की वारण्टी और चार्ज/बैटरी की वारण्टी अवधि 6 माह की निर्माणीं त्रुटि के लिये होती है। क्रेता का यह उत्तरदायित्व होता है कि वह प्रष्नगत मोबाइल सेट निर्माता कम्पनी के अधिकृत सर्विस सेन्टर में मरम्मत हेतु जमा करे और मरम्मत के उपरान्त प्राप्त करे। किसी भी असली हैण्ड सेट को तभी बदला जा सकता है जबकि उसमें कोई ऐसी निर्माणीं त्रुटि हो जिसकी मरम्मत किया जाना सम्भव न हो। परिवादी द्वारा प्रष्नगत हैण्ड सेट का कोई जॉबषीट प्रस्तुत नहीं किया गया है। जिससे परिवादी का कथन झूठा, बनावटी एंव दुर्भावनाग्रस्त मॅंषा से युक्त प्रतीत होता है। परिवादी द्वारा उपभोक्ता संरक्षण अधिनियम के अंतर्गत दिये गये प्राविधान का बेजा इस्तेमाल करके प्रस्तुत परिवाद योजित किया गया है। परिवादी द्वारा विपक्षी उत्तरदाता के विरूद्व सेवा में कोई कमी साबित नहीं की जा सकी है। अतः परिवाद खारिज किया जावे।
परिवादी की ओर से प्रस्तुत किये गये अभिलेखीय साक्ष्यः-
4.परिवादी ने अपने परिवाद पत्र के समर्थन में स्वयं का षपथपत्र दिनांकित 23.10.2015 व अभिलेखीय साक्ष्य के रूप में सूची के माध्यम से प्रष्नगत मोबाइल सेट का कैषमेमों, वारण्टी कार्ड, जॉबषीट व रसीद नोटिस आदि प्रपत्रों की छायाप्रतियॉ दाखिल की हैं तथा साक्ष्य षपथपत्र दिंनाकित 09.03.2016 दाखिल किया है।
विपक्षी की ओर से प्रस्तुत किये गये अभिलेखीय साक्ष्यः-
5.विपक्षी सं0-2 की ओर से जवाबदावा के समर्थन में बी0एम0 अग्रवाल पुत्र एस0के0एस0 अग्रवाल केयर/आफ 19ए. व 19बी. सेक्टर 125 नौएडा उ0प्र0 का षपथपत्र दिंनाकित 22.01.2016 दाखिल किया है।
6.विपक्षी सं0-1 को भेजी गई रजिस्टर्ड नोटिस बिना तामील श्त्मनिमकश् टिप्पणी के साथ वापस प्राप्त हुई। तत्पष्चात फोरम के आदेष दिंनाकित 29.01.2016 के द्वारा विपक्षी सं0-1 के विरूद्व एकपक्षीय कार्यवाही का आदेष पारित किया गया।
7. पक्षकारों की ओर से प्रस्तुत किये गये षपथपत्रीय साक्ष्यों का तथा प्रलेखीय साक्ष्यों का यथा-आवष्यक स्थान पर आगे निर्णय में उल्लेख किया जायेगा।
ख्
निष्कर्श
8. उभय पक्षों को सुनने तथा पत्रावली के सम्यक परिषीलन से विदित होता है कि प्रस्तुत मामले में परिवादी यह कह कर आया है कि परिवादी द्वारा प्रष्नगत मोबाइल विपक्षी सं0-2 (जो कि प्रष्नगत मोबाइल की निर्माता कम्पनी है) के अधिकृत सर्विस सेन्टर में दिंनाक 09.07.2015 को मरम्मत हेतु जमा किया गया। परिवादी द्वारा सूची के साथ जॉबषीट दिंनाकित 09.07.2015 की छायाप्रति प्रस्तुत की गई है। परिवादी का कथन है कि विपक्षी सं0-2 के द्वारा परिवादी से यह कहा गया कि एक सप्ताह बाद प्रष्नगत मोबाइल की मरम्मत करके परिवादी को वापस कर दिया जायेगा। परिवादी एक सप्ताह बाद जब विपक्षी सं0-2 के यहॉ प्रष्नगत मोबाइल सेट वापस लेने के लिये गया तो विपक्षी सं0-2/सर्विस सेन्टर द्वारा पुनः एक सप्ताह बाद आने को कहा गया। किन्तु परिवादी के कई बार जाने के बावजूद विपक्षी सं0-2 के द्वारा प्रष्नगत मोबाइल सेट मरम्मत करके परिवादी को वापस नहीं किया गया। पत्रावली के परिषीलन से विदित होता है कि परिवादी द्वारा प्रष्नगत मोबाइल सेट के विक्रेता को विपक्षी सं0-1 के रूप में योजित किया गया है और प्रष्नगत मोबाइल सेट की निर्माता कम्पनी को विपक्षी सं0-2 के रूप में योजित किया गया है। किन्तु अभिकथित सर्विस सेन्टर को पक्षकार नहीं बनाया गया है। विपक्षी सं0-1 बावजूद तामीला उपस्थित नहीं आया। विपक्षी सं0-2 की ओर से जवाबदावा प्रस्तुत करके परिवादी की ओर से किये गये कथन का खण्डन किया गया है और यह कहा गया है कि प्रष्नगत हैण्डसेट का कोई जॉबषीट प्रस्तुत नहीं किया गया है। इसलिये परिवाद खारिज किया जावे। किन्तु पत्रावली के परिषीलन से स्पश्ट होता है कि परिवादी द्वारा प्रष्नगत मोबाइल सेट की मरम्मत हेतु जॉबषीट दिंनाकित 09.07.2015 की छायाप्रति प्रस्तुत की गई है।
उपरोक्त समस्त परिस्थितियों से स्पश्ट होता है कि परिवादी द्वारा अभिकथित आरोप विपक्षी सं0-2 के सर्विस सेन्टर पर लगाया गया है और सर्विस सेन्टर को पक्षकार नहीं बनाया गया है। इसलिये फोरम का यह मत है कि प्रस्तुत परिवाद पक्षकार/सर्विस सेन्टर को विपक्षी के रूप में योजित न किये जाने के कारण, परिवाद स्वीकार किये जाने योग्य नहीं है। क्योकि प्रस्तुत मामले में में अभिकथित सर्विस सेन्टर आवष्यक पक्षकार है।
उपरोक्तानुसार दिये गये निश्कर्श के आधार पर परिवाद स्वीकार किये जाने योग्य नहीं है।
:ःआदेषःःः
9. परिवादी का प्रस्तुत परिवाद, उपरोक्त कारणों से, खारिज किया जाता है। परिवाद के तथ्यों, परिस्थतियों को द्रश्टिगत रखते हुये पक्षकार अपना-अपना वादव्यय स्वॅय वहन करेगें।
( सुधा यादव ) (डा0 आर0एन0 सिंह)
सदस्या अध्यक्ष
जिला उपभोक्ता विवाद जिला उपभोक्ता विवाद
प्रतितोश फोरम प्रतितोश फोरम
कानपुर नगर। कानपुर नगर।
आज यह निर्णय फोरम के खुले न्याय कक्ष में हस्ताक्षरित व दिनांकित होने के उपरान्त उद्घोशित किया गया।
( सुधा यादव ) (डा0 आर0एन0 सिंह)
सदस्या अध्यक्ष
जिला उपभोक्ता विवाद जिला उपभोक्ता विवाद
प्रतितोश फोरम प्रतितोश फोरम
कानपुर नगर। कानपुर नगर।
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