Uttar Pradesh

Kanpur Nagar

cc/96/2012

Deepak - Complainant(s)

Versus

Bharti Exa Life Insurence - Opp.Party(s)

06 May 2016

ORDER

CONSUMER FORUM KANPUR NAGAR
TREASURY COMPOUND
 
Complaint Case No. cc/96/2012
 
1. Deepak
MIG 12 Barra 3 kanpur nagar
...........Complainant(s)
Versus
1. Bharti Exa Life Insurence
Mall Road kanpur
............Opp.Party(s)
 
BEFORE: 
 HON'BLE MR. RN. SINGH PRESIDENT
 HON'BLE MRS. Sudha Yadav MEMBER
 HON'BLE MR. PURUSHOTTAM SINGH MEMBER
 
For the Complainant:
For the Opp. Party:
Dated : 06 May 2016
Final Order / Judgement


                                                           जिला उपभोक्ता विवाद प्रतितोश फोरम, कानपुर नगर।

                                                          अध्यासीनः      डा0 आर0एन0 सिंह........................................अध्यक्ष    
                                                                               श्रीमती सुधा यादव........................................सदस्या    
                
    

                                                                           उपभोक्ता वाद संख्या-96/2012
दीपक कुमार गुप्ता पुत्र जगदीष प्रसाद गुप्ता निवासी एम.आई.जी.-12 बर्रा-3 कानपुर नगर।
                                  ................परिवादी
बनाम
भारतीय एक्सा जनरल इंष्योरेन्स कंपनी लि0 द्वारा षाखा प्रबन्धक कार्यालय शश्ठम तल मेगा मॉल, माल रोड, कानपुर नगर।
                           ...........विपक्षी
परिवाद दाखिला तिथिः 10.02.2012
निर्णय तिथिः 22.03.2017
डा0 आर0एन0 सिंह अध्यक्ष द्वारा उद्घोशितः-
ःःःनिर्णयःःः
1.      परिवादी की ओर से प्रस्तुत परिवाद इस आषय से योजित किया गया है कि परिवादी को विपक्षी से क्लेम की धनराषि रू0 51,125.00, षारीरिक, आर्थिक, सामाजिक क्षति के रूप में रू0 40,000.00  तथा कानूनी कार्यवाही हेतु रू0 8000.00 कुल रू0 99,125.00 दिलाया जाये।
2.     परिवाद पत्र के अनुसार संक्षेप में परिवादी का कथन यह है कि परिवादी वाहन सं0-यू0पी0-77 एन-4833 टाटा ऐस (ए.सी.ई.) का पंजीकृत स्वामी है, जो कि विपक्षी कंपनी से बीमित था, जिसकी पॉलिसी नं0-एफ.सी.वी./19369032/यू2/10 डी1यू212 है, जो दिनांक 14.10.10 से 13.10.11 तक वैध था। परिवादी का उक्त वाहन दिनांक 22.01.11 को दुर्घटनाग्रस्त हो गया और उक्त वाहन के सम्बन्ध में रू0 51,125.00 का क्लेम किया था, जिसकी क्लेम सं0-सी00082957 है। क्लेम दर्ज होने के बाद दिनांक 27.03.11 को अन्वेशक द्वारा कतिपय प्रपत्रों की मूल प्रतियां मांगी गयी थीं, जिसका स्पश्टीकरण विपक्षी को कर दिया गया था। इसके बावजूद विपक्षी द्वारा परिवादी का क्लेम अवैधानिक ढंग से खारिज कर दिया गया। फलस्वरूप परिवादी को प्रस्तुत परिवाद योजित करना पड़ा।
.............2
...2...

3.    विपक्षी की ओर से जवाब दावा प्रस्तुत करके, परिवादी की ओर से प्रस्तुत किये गये परिवाद पत्र का प्रस्तरवार खण्डन किया गया है और अतिरिक्त कथन में यह कहा गया है कि विपक्षी द्वारा परिवादी का दावा खारिज करके, कोई सेवा में कमी नहीं की गयी है। परिवादी द्वारा वांछित औपचारिकतायें/स्पश्टीकरण पूर्ण न किये जाने की स्थिति में विपक्षी का दावा खारिज किया गया है। क्लेम फार्म में परिवादी ने उल्लेख किया कि परिवादी का वाहन खड़ा था तथा अन्य वाहन ने टक्कर मार दी, जबकि परिवादी का प्रष्नगत वाहन में हुई क्षति से प्रतीत होता है कि प्रष्नगत वाहन इस प्रकार से क्षतिग्रस्त नहीं हुआ है। बल्कि अन्य प्रकार से क्षतिग्रस्त हुआ है। इस सम्बन्ध में स्पश्टीकरण मांगे जाने पर भी वाहन स्वामी ने स्पश्टीकरण नहीं दिया। सर्वे रिपोर्ट के अनुसार वास्तवित क्षति रू0 38,480.00 आंकलित की गयी है। परिवादी द्वारा फाइनल बिल आदि प्रपत्र प्रस्तुत नहीं किये गये हैं। इसलिए भी परिवाद पोशणीय नहीं है। परिवादी द्वारा इस्टीमेट में अंकित धनराषि का क्लेम मांगा गया। जबकि वास्तविक मरम्मत में हुए क्लेम का व्यय दिया जाता है। परिवादी का परिवाद असत्य/मनगढंत आधारों पर आधारित है। अतः परिवाद खारिज किया जाये।
परिवादी की ओर से प्रस्तुत किये गये अभिलेखीय साक्ष्यः-
4.    परिवादी ने अपने कथन के समर्थन में स्वयं का षपथपत्र दिनांकित 27.01.12 एवं 14.03.14 तथा अभिलेखीय साक्ष्य के रूप में सूची के साथ संलग्न कागज सं0-1/1 लगायत् 1/16 तथा लिखित बहस दाखिल किया है।
विपक्षी की ओर से प्रस्तुत किये गये अभिलेखीय साक्ष्यः-
5.    विपक्षी ने अपने कथन के समर्थन में षिवाली षर्मा, प्रबन्धक विधि का षपथपत्र दिनांकित 30.10.14 दाखिल किया है।
निष्कर्श
6.    फोरम द्वारा उभयपक्षों के विद्वान अधिवक्तागण की बहस सुनी गयी तथा पत्रावली में उपलब्ध साक्ष्यों एवं परिवादी द्वारा प्रस्तुत लिखित बहस का सम्यक परिषीलन किया गया।
...3...

    उभयपक्षों को सुनने तथा पत्रावली के सम्यक परिषीलन से विदित होता है कि उभयपक्षों द्वारा अपने-अपने कथन के समर्थन में षपथपत्र प्रस्तुत किये गये हैं। स्वयं विपक्षी के सर्वेयर द्वारा प्रष्नगत वाहन में आयी हुई क्षति की धनराषि रू0 38,480.00 आंकलित की गयी है। परिवादी द्वारा अपने कथन के समर्थन में उपरोक्त प्रस्तर-4 में वर्णित अभिलेखीय साक्ष्य भी दाखिल किये गये हैं। किन्तु विपक्षी का यह कथन सत्य प्रतीत होता है कि परिवादी द्वारा मरम्मत पर आये फाइनल व्यय बिल प्रस्तुत नहीं किये गये हैं। परिवादी द्वारा इस्टीमेट की छायाप्रति प्रस्तुत की गयी है। ऐसी दषा में फोरम इस मत का है कि विपक्षी के सर्वेयर द्वारा आंकलित क्षति रू0 38,480.00 के लिए तथा रू0 5000.00 परिवाद व्यय के लिए स्वीकार किये जाने योग्य है। जहां तक परिवादी की ओर से याचित अन्य उपषम का सम्बन्ध  है- उक्त याचित उपषम के लिए परिवादी द्वारा कोई सारवान तथ्य अथवा सारवान साक्ष्य प्रस्तुत न किये जाने के कारण परिवादी द्वारा याचित अन्य उपषम के लिए परिवाद स्वीकार किये जाने योग्य नहीं है।
ःःआदेषःःः
7.     परिवादी का प्रस्तुत परिवाद विपक्षी के विरूद्ध आंषिक रूप         से इस आषय से स्वीकार किया जाता है कि प्रस्तुत निर्णय पारित करने के 30 दिन के अंदर विपक्षी, परिवादी को, 38,480.00 (अड़तीस हजार चार सौ अस्सी रूपये) तथा रू0 5000.00 परिवाद व्यय अदा करे।

       ( सुधा यादव )                   (डा0 आर0एन0 सिंह)
           सदस्या                             अध्यक्ष
  जिला उपभोक्ता विवाद प्रतितोश              जिला उपभोक्ता विवाद प्रतितोश       
       फोरम कानपुर नगर                         फोरम कानपुर नगर।
            
    आज यह निर्णय फोरम के खुले न्याय कक्ष में हस्ताक्षरित व दिनांकित होने के उपरान्त उद्घोशित किया गया।


        ( सुधा यादव )                   (डा0 आर0एन0 सिंह)
           सदस्या                             अध्यक्ष
  जिला उपभोक्ता विवाद प्रतितोश              जिला उपभोक्ता विवाद प्रतितोश       
       फोरम कानपुर नगर                         फोरम कानपुर नगर।
परिवाद संख्या-96/2012

21.03.2017
        पत्रावली आज वास्ते निर्णय नियत है। किन्तु आज सदस्या महोदया के अवकाष पर होने के कारण पत्रावली में निर्णय पारित किया जाना संभव नहीं है। 
        अतः पत्रावली वास्ते निर्णय दिनांक 22.03.2017 को पेष हो।

           सदस्य                               अध्यक्ष


 

 
 
[HON'BLE MR. RN. SINGH]
PRESIDENT
 
[HON'BLE MRS. Sudha Yadav]
MEMBER
 
[HON'BLE MR. PURUSHOTTAM SINGH]
MEMBER

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