Uttar Pradesh

Azamgarh

CC/54/2012

CHANDRA DEV - Complainant(s)

Versus

B.S.A. - Opp.Party(s)

RAJA RAM PANDEY

17 Jan 2022

ORDER

 

जिला उपभोक्ता विवाद प्रतितोष आयोग- आजमगढ़।

परिवाद संख्या 54 सन् 2012

प्रस्तुति दिनांक 15.06.2012

                                                                                              निर्णय दिनांक 17.01.2022

चन्द्रदेव राम सेवा निवृत्त सo अध्यापक पुत्र स्वo बालकिशुन साकिन कूँवा देवचन्द पट्टी, परगना व तहसील- सगड़ी, जिला- आजमगढ़।      

     .........................................................................................परिवादी।

बनाम

  1. जिला बेसिक शिक्षा अधिकारी आजमगढ़।
  2. वित्त एवं लेखाधिकारी बेसिक शिक्षा आजमगढ़।
  3. मुन्नी लाल यादव पुत्र स्वo दुर्जन यादव (वर्तमान प्रबन्धक) जनता जूनियर हाई स्कूल खाझेपुर शिक्षा क्षेत्र रानी की सराय जनपद आजमगढ़ निवासी ग्राम चक नोनिया पोस्ट- शिबली रसीदगंज जिला- आजमगढ़।
  4. प्रधानाध्यापक श्यामलाल जनता जूनियर हाई स्कूल खाजेपुर शिक्षा क्षेत्र रानी की सराय, आजमगढ़, निवासी ग्राम कस्बा निजामाबाद पोस्ट व तहसील- निजामाबाद, जिला- आजमगढ़।
  5. उत्तर प्रदेश सरकार बजरिए जिलाधिकारी आजमगढ़।
  6. जनता जूनियर हाई स्कूल खाझेपुर शिक्षा क्षेत्र रानी की सराय आजमगढ़ द्वारा प्रबन्धक।    
  7. विपक्षीगण।

उपस्थितिः- कृष्ण कुमार सिंह “अध्यक्ष” तथा गगन कुमार गुप्ता “सदस्य”

  •  

कृष्ण कुमार सिंह “अध्यक्ष”

याची ने अपने याचना पत्र में यह कहा है कि वह राज्य अनुदानित संस्था जनता जूनियर हाई स्कूल खाझेपुर, शिक्षा क्षेत्र रानी की सराय, जिला आजमगढ़ में विधि मान्य सहायक अध्यापक के पद पर दिनांक 08.08.1977 से 30.06.2011 तक नियुक्त रहा तथा अपनी सेवावधि में विद्यालय प्रशासन एवं प्रबन्धन द्वारा निर्देशों तथा आदेशों का पालन करता रहा तथा पूरे सेवा काल में अनुशासन अन्तर्गत रहकर विद्यालय की निष्ठा के साथ रहकर सेवा करता रहा तथा वेतन का भुगतान प्राप्त करता रहा और दिनांक 30.06.2011 को सेवानिवृत्त हुआ। इस प्रकार परिवादी उपभोक्ता है। दिनांक 30.06.2011 के सेवानिवृत्त होने के उपरान्त याची को दिनांक 30.06.2011 को अदेय प्रमाण पत्र प्राप्त हुआ तथा पेंशन व जी.पी.एफ. के अन्तिम भुगतान हेतु कार्यवाही वित्त एवं लेखाधिकारी बेसिक शिक्षा आजमगढ़ द्वारा प्रारम्भ हुई तथा दिनांक 01.07.2011 को पेंशन पत्रावली कार्यालय में प्रस्तुत कर दी गयी। याची के सेवानिवृत्त के उपरान्त संस्था जनता जूनियर हाई स्कूल खाझेपुर शिक्षा क्षेत्र रानी की सराय आजमगढ़ द्वारा जी.पी.एफ. अन्तिम भुगतान धनराशि प्रपत्र 5 के अनुसार मुo 7,18,584/- रुपया तथा तत्काल भुगतान हेतु वित्त एवं लेखाधिकारी बेसिक शिक्षा आजमगढ़ को प्रस्तुत की गयी। जी.पी.एफ. के भुगतान हेतु विपक्षीगण 01ता05 द्वारा याची को काफी हैरान व परेशान किया गया तथा आर्थिक तंगी के चलते हुए भी याची को मानसिक आर्थिक व शारीरिक उत्पीड़न कर परेशान किया गया। जी.पी.एफ. के भुगतान हेतु याची द्वारा जिलाधिकारी आजमगढ़ मण्डलीय सहायक शिक्षा निर्देशक (बेसिक) आजमगढ़ जिला बेसिक शिक्षा अधिकारी आजमगढ़, वित्त लेखाधिकारी बेसिक शिक्षा आजमगढ़ को रजिस्टर्ड सूचना दी गयी तथा सूचना के अधिकार अधिनियम के तहत सूचना मांगी गयी कि याची का जी.पी.एफ. भुगतान नियमानुसार 8% ब्याज के साथ अदा करें तथा जिला बेसिक शिक्षा अधिकारी आजमगढ़ ने दिनांक 23.08.2011 को पत्रांक संख्या 4069/70 द्वारा जी.पी.एफ. भुगतान हेतु आदेशित किया परन्तु विपक्षीगण पर कोई असर नहीं पड़ा। अन्ततोगत्वा दिनांक 06.03.2012 को सेवानिवृत्त के लगभग साढ़े आठ माह बाद मात्र 7,18,584/- का चेक बिना ब्याज विपक्षीगण द्वारा तैयार किया गया जो याची को दिनांक 14.03.2012 को प्राप्त हुआ। संस्था के नियमानुसार जी.पी.एफ. का भुगतान ब्याज के साथ होना चाहिए था परन्तु विपक्षीगण द्वारा ऐसा नहीं किया गया। अतः याची के पक्ष में विपक्षीगण के विरुद्ध इस आशय का आदेश पारित किया जाए कि जी.पी.एफ. का ब्याज मुo 40,720/- तथा मानसिक, शारीरिक व आर्थिक क्षित हेतु मुo 59,280/- रुपया कुल मुo 1,00,000/- रुपया मय ब्याज अदा करे और खर्चा मुकदमा भी दे।

परिवादी द्वारा अपने परिवाद पत्र के समर्थन में शपथ पत्र प्रस्तुत किया गया है।

प्रलेखीय साक्ष्य में परिवादी ने कागज संख्या 7/1 अदेय प्रमाण पत्र की छायाप्रति, कागज संख्या 7/2 याची द्वारा पेंशन प्रकरण के निस्तारण के सम्बन्ध में वित्त एवं लेखाधिकारी कार्यालय बेसिक शिक्षा, आजमगढ़ को लिखे गए पत्र की छायाप्रति, कागज संख्या 7/3 याची द्वारा जिला बेसिक शिक्षा अधिकारी, आजमगढ़ से मांगी गयी सूचना का अधिकार अधिनियम 2005 पत्र की छायाप्रति, कागज संख्या 7/4 याची द्वारा जनता जूoहाoस्कूल खाझेपुर के प्रधानाध्यापक को भविष्य निधि रजिस्टर के सत्यापन के सम्बन्ध में लिखे गए पत्र की छायाप्रति, कागज संख्या 7/5 याची द्वारा जिलाधिकारी, आजमगढ़ से मांगी गयी सूचना का अधिकार अधिनियम 2005 पत्र की छायाप्रति, कागज संख्या 7/6व7 परिवादी द्वारा जिला बेसिक शिक्षा अधिकारी को लिखे गए पत्र की छायाप्रति, कागज संख्या 7/8 सामान्य भविष्य निधि प्रपत्र 5 की छायाप्रति, कागज संख्या 7/9 वित्त एवं लेखाधिकारी बेसिक शिक्षा आजमगढ़ द्वारा जिला बेसिक शिक्षा अधिकारी आजमगढ़ को जी.पी.एफ. अन्तिम भुगतान के सम्बन्ध में लिखे गए पत्र की छायाप्रति, कागज संख्या 7/10व11 भविष्य निर्वाह निधियों से अन्तिम निष्कासन के लिए आवेदन पत्र की छायाप्रति, कागज संख्या 7/12 भविष्य निधि लेखे का वार्षिक विवरण की छायाप्रति, कागज संख्या 7/13 सामान्य भविष्य निधि से अस्थाई/स्थाई अग्रिम/अन्तिम भुगतान सम्बन्धी प्रपत्र की छायाप्रति, कागज संख्या 7/14 पर्सनल लेजर/लोकल फण्ड एकाउन्ट चेक की छायाप्रति, कागज संख्या 7/15 परिवादी द्वारा जिला बेसिक शिक्षा अधिकारी को भेजा गया अनुस्मारक पत्र की छायाप्रति, कागज संख्या 26/1 वित्त एवं लेखाधिकारी बेसिक शिक्षा आजमगढ़ को लिखे गए पत्र की छायाप्रति, कागज संख्या 26/2 शाखा प्रबन्धक भारतीय स्टेट बैंक आजमगढ़ को लिखे गए पत्र की छायाप्रति, कागज संख्या 26/3ता26/06 सामान्य भविष्य निधि (उoप्रo) नियमावली 1985 की छायाप्रति तथा कागज संख्या 26/7 वित्त अनुभाग-4 शासनादेश की छायाप्रति प्रस्तुत किया है।   

कागज संख्या 19क² विपक्षी संख्या 03व04 द्वारा जवाबदावा प्रस्तुत किया गया है, जिसमें उसने परिवाद पत्र के कथनों से इन्कार किया है। अतिरिक्त कथन में उसने यह कहा है कि याची ने अपना परिवाद गलत, बेबुनियाद व मिथ्या आरोप के साथ प्रस्तुत किया है। याची उपभोक्ता की श्रेणी में नहीं आता है। याची दिनांक 30.06.2011 को सेवा निवृत्त हुआ। उस समय एक परिचालन के अन्तर्गत विपक्षी संख्या 04 ने याची का अदेय प्रमाण पत्र निर्गत किया तथा पेन्शन भुगतान हेतु सेवा पुस्तिका एवं पेन्शन प्रपत्र दिनांक 01.07.2011 को प्रस्तुत किया। याची अपनी सेवा के दौरान विद्यालय के सभी अभिलेखों, अध्यापकों का वेतन, कर्मचारियों का जी.पी.एफ. प्रपत्र 5, प्रपत्र 6 वेतन रजिस्टर, जी.पी.एफ. कटौती रजिस्टर आदि में अंकन व उसका रख-रखाव का कार्य लिपिक बाबूराम यादव की सहायता से करता रहा। याची ने अपना जी.पी.एफ. लेजर खुद तैयार करके वित्त एवं लेखाधिकारी कार्यालय में प्रस्तुत किया। चूंकि याची उपभोक्ता नहीं है। अतः परिवाद खारिज किया जाए।

विपक्षी संख्या 03व04 द्वारा अपने जवाबदावा के समर्थन में शपथ पत्र प्रस्तुत किया गया है।

कागज संख्या 15क² विपक्षी संख्या 01व02 द्वारा जवाबदावा प्रस्तुत किया गया है, जिसमें उसने परिवाद पत्र के कथनों से इन्कार किया है तथा अतिरिक्त कथन में उसने यह कहा है कि परिवादी उपभोक्ता की श्रेणी में नहीं आता है। अतः उसका परिवाद खारिज किया जाए।

विपक्षी संख्या 01व02 द्वारा अपने जवाबदावा के समर्थन में शपथ पत्र प्रस्तुत किया गया है।

कागज संख्या 22क² विपक्षी संख्या 05 द्वारा जवाबदावा प्रस्तुत किया गया है, जिसमें उसने परिवाद पत्र के कथनों से इन्कार किया है तथा अतिरिक्त कथन में उसने यह कहा है कि परिवादी उपभोक्ता की श्रेणी में नहीं आता है। अतः उसका परिवाद खारिज किया जाए।

विपक्षी संख्या 05 द्वारा अपने जवाबदावा के समर्थन में शपथ पत्र प्रस्तुत किया गया है।

बहस के दौरान पुकार कराए जाने पर परिवादी अनुपस्थित पाया गया, विपक्षी संख्या 03 के विद्वान अधिवक्ता उपस्थित आए। विपक्षी संख्या 03 के विद्वान अधिवक्ता ने अपना बहस सुनाया। बहस सुना तथा पत्रावली का अवलोकन किया। यह याचना नियोक्ता व कार्मिक के मध्य का शासकीय सेवाओं से सम्बन्धित विवाद है। याची ने प्रश्नगत सेवाओं के विरुद्ध न तो कोई प्रतिफल का भुगतान किया है न तो कोई प्रतिफल देने का वादा किया है। अतः याची उपभोक्ता की श्रेणी में नहीं आता है। ऐसी स्थिति में याची याचित अनुतोष पाने के लिए अधिकृत नहीं है।

आदेश

                                                           परिवाद पत्र खारिज किया जाता है। पत्रावली दाखिल दफ्तर हो।

     

 

 

 

                                                                         गगन कुमार गुप्ता                कृष्ण कुमार सिंह  

                                                      (सदस्य)                             (अध्यक्ष)

 

    दिनांक 17.01.2022

                                           यह निर्णय आज दिनांकित व हस्ताक्षरित करके खुले न्यायालय में सुनाया गया।

 

 

 

                                             गगन कुमार गुप्ता                कृष्ण कुमार सिंह

                                                              (सदस्य)                             (अध्यक्ष)

 

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