Rajasthan

Jhunjhunun

CC/147/2015

Ratan lal - Complainant(s)

Versus

AVVNL - Opp.Party(s)

Manoj Kumar Varma

15 Jun 2016

ORDER

Heading1
Heading2
 
Complaint Case No. CC/147/2015
 
1. Ratan lal
Chanan,Chirawa
Jhunjhunu
Rajasthan
...........Complainant(s)
Versus
1. AVVNL
Chanana,Chirawa
Jhunjhunu
Rajasthan
............Opp.Party(s)
 
BEFORE: 
 HON'BLE MR. JUSTICE Sh sukhpalBundel PRESIDENT
 HON'BLE MS. Ms. Sabana Farooqui MEMBER
 HON'BLE MR. Mr. Ajay Kumar Mishra MEMBER
 
For the Complainant:Manoj Kumar Varma, Advocate
For the Opp. Party: Rajes Khedar, Advocate
ORDER

       
तारीख हुक्म
                                                परिवाद संख्या 147/15
                                  हुक्म या कार्यवाही मय इनिषियल्स जज
रतनलाल मील     बनाम   सहायक अभियंता, अ.विवि.नि.लि. जरिये अ.विवि.नि.लि.
                        कार्यालय चनाना तहसील चिड़ावा जिला झुन्झुनू।
                       

                          नम्बर व तारीख अहकाम जो इस हुक्म की तामिल में जारी हुए
  
  15.06.2016             
      परिवाद अंतर्गत धारा 12 उपभोक्ता अधिनियम
परिवादी की ओर से वकील श्री मनोज कुमार वर्मा उपस्थित। विपक्षी की ओर से वकील श्री राजेष खेदड़ उपस्थित। उभयपक्ष की बहस सुनी गई। पत्रावली का ध्यानपूर्वक अवलोकन किया गया।     
         विद्वान् अधिवक्ता परिवादी ने परिवाद पत्र मे अंकित तथ्यों को उजागर करते हुए बहस के दौरान यह कथन किया है कि परिवादी ने घरेलु विधुत कनेक्षन विपक्षी के यहां से ले रखा है। जिसका खाता संख्या 1521-0341 है। परिवादी उक्त विधुत कनेक्षन का उपयोग उपभोग करता आ रहा है तथा समय समय पर विपक्षी को बिल जमा कराता आ रहा है। इसलिए परिवादी विपक्षी का उपभोक्ता है। 
         विद्वान् अधिवक्ता परिवादी ने बहस के दौरान यह भी कथन किया है कि परिवादी को विपक्षी द्वारा माह मार्च,2015 का विद्युत बिल नियत तिथि तक देय राषि 25866/-रूपये तथा अन्य देय/जमा कोड निगम राषि के कालम में 25417/-रूपये अंकित कर भिजवाया गया। परिवादी ने विपक्षी के कार्यालय में जाकर उक्त राषि के बारे में जानकारी चाही तो विपक्षी ने कहा परिवादी के खिलाफ वी.सी.आर. भरी गई है उसकी राषि है। परिवादी ने वी.सी.आर. की प्रति देखकर कहा यह उसके नाम की वी.सी.आर. नहीं है बल्कि किसी भुकाना ग्राम के रतनलाल नाम के व्यक्ति की है। जिसके मीटर नम्बर 230366 है जबकि परिवादी के मीटर नम्बर 273280 हैं।  विपक्षी ने कहा मार्च का महिना चल रहा है आपको यह राषि जमा करवानी पड़ेगी अन्यथा आपका विद्युत सम्बंध विच्छेद कर दिया जावेगा। परिवादी ने दिनांक 23.03.2015 को विपक्षी को विधिक नोटिस भिजवाया जो विपक्षी को प्राप्त हो गया परन्तु विपक्षी द्वारा न तो परिवादी का विद्युत बिल दुरूस्त किया गया न ही विद्युत सम्बंध पुनः स्थापित किया गया है। इस प्रकार विपक्षी का उक्त कृत्य सेवा में कमी है। 
       अन्त में विद्धान अधिवक्ता परिवादी ने परिवादी का परिवाद पत्र मय खर्चा स्वीकार फरमाया जाकर परिवादी के माह मार्च,2015 के विद्युत बिल में दर्ज 


वी.सी.आर. की राषि निरस्त कर वास्तविक उपभोग राषि का बिल जमा लिया जाकर परिवादी का विद्युत कनेक्षन तुरंत पुनः स्थापित करवाया जाने निवेदन किया है। 
       विद्धान अधिवक्ता विपक्षी ने उक्त तर्को का विरोध करते हुए अपने जवाब के अनुसार बहस के दौरान यह कथन किया है कि परिवादी ने विपक्षी के कार्यालय में उपस्थित होकर वी.सी.आर. के संबंध में षिकायत करने पर जांच में पता चला कि उक्त वी.सी.आर. भुकाना की श्रीमती अनिता देवी पत्नी रतनलाल मील के नाम से है जो कि रतनलाल मील की पत्नी बताई, जिसके कारण ग्राम चनाना में रतनलाल मील के नाम से विद्युत कनेक्षन था उसमें नामें दी गई। जब रतनलाल मील ने षिकायत की तो उसके खाते में नामे डाली गई राषि 25417/-रूपये एवं एल.पी.एस. के 1017 खाते में दिनांक 08.04.2015 को हटाकर श्रीमती अनिता पत्नी रतनलाल मील के खाते में डाल दिये गये तथा परिवादी का विद्युत कनेक्षन उसी वक्त चालू कर दिया गया। परिवादी की ओर से भिजवाये गये नोटिस का जवाब विपक्षी द्वारा दिनांक 16.04.2015 को दिया जा चुका है तथा विद्युत सम्बंध उसी दिन पुनः स्थापित कर दिया गया था। विपक्षी द्वारा अपने जवाब में यह भी कथन किया है कि परिवादी का अब किसी प्रकार का कोई विवाद शेष नहीं है।
      अन्त में विद्धान अधिवक्ता विपक्षी ने अब कोई विवाद शेष नहीं रहना कथन करते हुये परिवादी का परिवाद पत्र मय खर्चा खारिज किये जाने का निवेदन किया। 
      उभयपक्ष के तर्को पर विचार किया गया। पत्रावली का ध्यानपूर्वक अवलोकन किया गया।  
      पत्रावली के अवलोकन से स्पष्ट हुआ है कि परिवादी रतनलाल पुत्र श्री सांवलराम मील, जो कि चनाना का निवासी है तथा परिवादी के विद्युत बिल माह मार्च, 2015 में किसी अन्य व्यक्ति श्रीमती अनिता देवी पत्नी रतनलाल मील जो कि भुकाना की निवासी है, के नाम की वी.सी.आर. राषि परिवादी के उक्त विद्युत बिल में गलत जोडकर विपक्षी द्वारा जारी किया गया है। विपक्षी ने भी अपने जवाब में यह स्वीकार किया है कि परिवादी द्वारा षिकायत करने पर परिवादी के नाम गलत वी.सी.आर. की डाली गई राषि 25417/-रूपये एवं एल.पी.एस. के 1017 खाते में सी.सी. एण्ड ए.आर. रजिस्टर 6327105 दिनांक 


08.04.2015 को हटाकर श्रीमती अनिता पत्नी रतनलाल मील निवासी भुकाना के खाते में डाल दिये गये हैं तथा परिवादी का विद्युत कनेक्षन भी उसी वक्त चालू कर दिया गया । विपक्षी द्वारा परिवादी के संबंध में अब किसी प्रकार का केाई विवाद शेष नहीं होना बताया है। विपक्षी विभाग की लापरवाही के कारण दूसरे व्यक्ति की वी.सी.आर. की राषि को परिवादी के विद्युत बिल में अनावष्यक रूप से जोडकर परिवादी का विद्युत सम्बन्ध गलत रूप से विच्छेद कर दिया गया जिसे पुनः विपक्षी द्वारा स्थापित किया जाना बताया है। इससे यह स्पष्ट होता है कि परिवादी का उक्त विवादित बिल माह मार्च,2015 त्रुटिपूर्ण जारी किया गया है, जो निरस्त किए जाने योग्य हैं ।
        अतः प्रकरण के तमाम तथ्य व परिस्थितियों को मध्य नजर रखते हुए विपक्षी को आदेश दिया जाता है कि परिवादी के माह मार्च,2015 के विवादित बिल में अंकित राषि त्रुटिपूर्ण होने से निरस्त की जाती है। स्वंय परिवादी ने जो वास्तविक विद्युत यूनिट का उपभोग किया है, उसके आधार पर माह मार्च, 2015 का संषोधित विद्युत बिल जारी किया जावे। यदि विपक्षी द्वारा परिवादी का विद्युत कनेक्षन स्थापित नहीं किया गया है तो तुरंत प्रभाव से पुनः स्थापित किया जावे।  इस प्रकार से प्रकरण का निस्तारण किया जाता है। 
      आदेश आज दिनांक 15.06.2016 को लिखाया जाकर मंच द्वारा सुनाया गया। 
      पत्रावली फैषल शुमार होकर बाद तकमील दाखिल दफतर हो।

 

 

 

 

 

 

 

 

 

 

 

 

 

 

 

 

 

 

 

 

 

 

 

 

 

    

 

 

 
 
[HON'BLE MR. JUSTICE Sh sukhpalBundel]
PRESIDENT
 
[HON'BLE MS. Ms. Sabana Farooqui]
MEMBER
 
[HON'BLE MR. Mr. Ajay Kumar Mishra]
MEMBER

Consumer Court Lawyer

Best Law Firm for all your Consumer Court related cases.

Bhanu Pratap

Featured Recomended
Highly recommended!
5.0 (615)

Bhanu Pratap

Featured Recomended
Highly recommended!

Experties

Consumer Court | Cheque Bounce | Civil Cases | Criminal Cases | Matrimonial Disputes

Phone Number

7982270319

Dedicated team of best lawyers for all your legal queries. Our lawyers can help you for you Consumer Court related cases at very affordable fee.