( मौखिक )
राज्य उपभोक्ता विवाद प्रतितोष आयोग, उ0प्र0 लखनऊ।
अपील संख्या :1124/2022
(जिला उपभोक्ता आयोग, सुल्तानुपर द्वारा परिवाद संख्या-47/2018 में पारित निर्णय एवं आदेश दिनांक 07-01-2022 के विरूद्ध)
पाण्डेय सोलर सर्विस सेंटर अधिकृत विक्रता जायसवाल बैट्री सर्विसेज द्वारा डीलर सुरेन्द्र कुमार पाण्डेय नजदीक ब्लाक धनपतगंज, पोस्ट धनपतगंज जिला सुल्तानपुर।
अपीलार्थी/विपक्षी संख्या-1
बनाम्
- अरूण कुमार सिंह आयु लगभग 49 वर्ष पुत्र श्री ध्रुव नरायण सिंह ग्राम सेमरौना पोस्ट भीखपुर जिला सुल्तानपुर।
प्रत्यर्थी/परिवादी
- जायसवाल बैट्री सर्विस द्वारा प्रबन्धक 11 चर्च बिल्डिंग हजरतगंज, लखनऊ, उ0प्र0।
प्रत्यर्थी/विपक्षी सं0-2
समक्ष :-
1-मा0 न्यायमूर्ति श्री अशोक कुमार, अध्यक्ष।
उपस्थिति :
अपीलार्थी की ओर से उपस्थित- श्री राम कुशल तिवारी।
प्रत्यर्थी की ओर से उपस्थित- कोई नहीं।
दिनांक : 31-10-2022
मा0 न्यायमूर्ति श्री अशोक कुमार, अध्यक्ष द्वारा उदघोषित निर्णय
परिवाद संख्या-47/2018 अरूण कुमार सिंह बनाम पाण्डेय सोलर सर्विस सेंटर व एक अन्य में जिला उपभोक्ता आयोग, सुल्तानपुर द्वारा पारित निर्णय और आदेश दिनांक 07-01-2022 के विरूद्ध यह अपील
-2-
उपभोक्ता संरक्षण अधिनियम के अन्तर्गत इस न्यायालय के सम्मुख प्रस्तुत की गयी है।
‘’आक्षेपित निर्णय के द्वारा जिला आयोग ने परिवाद स्वीकार करते हुए निम्न आदेश पारित किया है :-
‘’परिवाद, विपक्षीगण के विरूद्ध स्वीकार किया जाता है। विपक्षीगण को निर्देशित किया जाता है कि वह निर्णय की तिथि से एक माह के अंदर परिवादी को मु0 54,000/-रू0 अदा करे। इसके अतिरिक्त शारीरिक, मानसिक कष्ट के लिए तीन हजार रूपये व वाद व्यय के लिए दो हजार रूपये अदा करे। यदि उपरोक्त बैटरी की धनराशि नियत अवधि के अंदर अदा नहीं गयी तो उस पर दावा दाखिल करने की तिथि से अदायगी की तिथि तक सात प्रतिशत वार्षिक साधारण ब्याज देय होगा।‘’
जिला आयोग के आक्षेपित निर्णय व आदेश से क्षुब्ध होकर परिवाद के विपक्षी संख्या-1 की ओर से यह अपील प्रस्तुत की है।
अपील की सुनवाई के समय अपीलार्थी के विद्धान अधिवक्ता श्री राम कुशल तिवारी उपस्थित। प्रत्यर्थी की ओर से कोई उपस्थित नहीं है।
प्रस्तुत अपील में दिनांक 07-01-2022 को निर्णय एवं आदेश पारित किया गया है जिसकी पेड/शुल्क अदा करते हुए सत्यापित प्रति दिनांक 17-10-2022 को प्राप्त की गयी है तदोपरान्त प्रस्तुत अपील दिनांक 21-10-2022 को इस न्यायालय के सम्मुख प्रस्तुत की गयी है। इस प्रकार स्पष्ट है कि जिला आयोग द्वारा पारित निर्णय एवं आदेश की नि:शुल्क प्रति पहले ही प्राप्त की जा चुकी है। इस प्रकार प्रस्तुत अपील काफी विलम्ब से योजित की गयी है।
-3-
अपीलार्थी के विद्धान अधिवक्ता को विलम्ब देरी क्षमा प्रार्थना पत्र पर सुना गया। अपीलार्थी के विद्धान अधिवक्ता द्वारा विलम्ब का जो कारण दर्शित किया गया है वह क्षमा किये जाने योग्य नहीं है तदनुसार अपील विलम्ब से प्रस्तुत किये जाने के आधार पर निरस्त किये जाने योग्य है।
अपीलार्थी के विद्धान अधिवक्ता को गुणदोष पर भी सुना गया।
अपील के निर्णय हेतु संक्षिप्त सुसंगत तथ्य इस प्रकार है कि परिवादी ने जायसवाल बैट्री सर्विसेज के अधिकृत डीलर पाण्डेय सोलर सर्विस ब्लाक धनपतगंज जनपद सुल्तानपुर से दिनांक 11-05-2014 को मु0 54,000/-रू0 में बैट्री, बक्सा एवं बैट्री डी0सी0 लाइट तथा सोलर सिस्टम आदि क्रय किया। विपक्षी संख्या-1 के कर्मचारियों द्वारा परिवादी के घर पर सोलर लाईट मय बैट्री स्थापित किया। विपक्षीगण द्वारा विक्रय की गयी बैट्री में प्रारम्भ से ही बैकप कम था जिसकी सूचना मौखिक रूप से परिवादी ने विपक्षी संख्या-1 को दिया, जिस पर विपक्षी संख्या-1 द्वारा बताया गया बैट्री सूर्य की रोशनी से पूरी चार्ज नहीं हो पा रही है इसलिए बैकप कम दे रही है। बार-बार शिकायत करने पर विपक्षी संख्या-1 द्वारा कोई कार्यवाही नहीं की गयी। लगभग 06 माह बाद बैट्री ने काम करना बंद कर दिया जिससे परिवादी के सभी उपकरण टी0बी0, लाईट, फ्रिज आदि बंद हो गये।
परिवादी का कथन है कि बैट्री में प्रारम्भ से ही निर्माण संबंधी दोष था परन्तु बार-बार शिकायत करने पर भी विपक्षीगण ने कोई कार्यवाही नहीं की। परिवादी ने विपक्षी को दिनांक 28-01-2018 को विधिक नोटिस भेजा। विधिक नोटिस भेजे जाने के बावजूद भी विपक्षीगण द्वारा न तो बैट्री को ठीक किया गया न ही खराब बैट्री के बदले नयी बैट्री ही दी गयी, जो कि
-4-
विपक्षीगण के स्तर से सेवा में कमी है अत: विवश होकर परिवादी ने परिवाद जिला आयोग के समक्ष योजित किया है।
विपक्षीगण पर पर्याप्त तामीला के बावजूद कोई उपस्थित नहीं आया अत: जिला आयोग द्वारा दिनांक 30-08-2018 को विपक्षीगण के विरूद्ध एकपक्षीय कार्यवाही प्रारम्भ की ।
विद्धान जिला आयोग ने परिवादी के विद्धान अधिवक्ता को सुनकर तथा पत्रावली पर उपलब्ध प्रपत्रों का परिशीलन के उपरान्त अपने निष्कर्ष में यह मत अंकित किया है कि परिवादी ने विपक्षी संख्या-1 से दिनांक 11-05-2014 को बैट्री मय बक्सा, बैट्री, ए0सी0 लाईट, सोलर लाईट सिस्टम आदि क्रय किया था। विपक्षीगण द्वारा दी गयी बैट्री में प्रारम्भ से ही बैकप नहीं था और बैट्री ने लगभग 06 माह बाद पूर्णतया काम करना बंद कर दिया। बैट्री में प्रारम्भ से ही निर्माण संबंधी दोष था। विपक्षीगण के यहॉं वारण्टी अवधि में ही बार-बार शिकायत करने पर भी विपक्षीगण द्वारा न तो बैट्री को ठीक किया गया और न ही खराब बैट्री को बदलकर परिवादी को नई बैट्री ही दी गयी जो कि विपक्षीगण के स्तर से सेवा में कमी पाते हुए प्रश्नगत निर्णय एवं आदेश पारित किया गया है जिसका उल्लेख ऊपर किया जा चुका है।
मेरे द्वारा अपीलार्थी के विद्धान अधिवक्ता के तर्क को सुना गया तथा पत्रावली पर उपलब्ध समस्त प्रपत्रों एवं जिला आयोग द्वारा पारित निर्णय एवं आदेश का अवलोकन किया गया।
अपीलार्थी के विद्धान अधिवक्ता का तर्क है कि विद्धान जिला आयोग द्वारा पारित निर्णय एवं आदेश साक्ष्य एवं विधि के विरूद्ध है अत: अपील
-5-
स्वीकार करते हुए जिला आयोग द्वारा पारित निर्णय एवं आदेश निरस्त किया जावे।
अपीलार्थी के विद्धान अधिवक्ता को सुनने तथा पत्रावली पर उपलब्ध समस्त प्रपत्रों एवं जिला आयोग द्वारा पारित निर्णय एवं आदेश का भली-भॉंति परिशीलन एवं परीक्षण करने के उपरान्त मैं इस मत का हूँ कि विद्धान जिला आयोग द्वारा समस्त तथ्यों पर गहनतापूर्वक विचार करने के उपरान्त विधि अनुसार निर्णय पारित किया गया है जिसमें हस्तक्षेप हेतु उचित आधार नहीं है। तदनुसार अपील निरस्त किये जाने योग्य है।
आदेश
अपील निरस्त की जाती है। विद्धान जिला आयोग द्वारा पारित निर्णय एवं आदेश की पुष्टि जाती है।
अपील में उभयपक्ष अपना-अपना वाद व्यय स्वयं वहन करेंगे।
आशुलिपिक से अपेक्षा की जाती है कि वह इस निर्णय/आदेश को आयोग की वेबसाइट पर नियमानुसार यथाशीघ्र अपलोड कर दें।
(न्यायमूर्ति अशोक कुमार)
अध्यक्ष
प्रदीप मिश्रा , आशु0 कोर्ट नं0-1